के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील · फार्मेसी · Hello Swasthya
क्रिएटिनिन क्लियरेंस टेस्ट (Creatinine Clearance) से किडनी के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी का पता चलता है।
क्रिएटिनिन एक रासायनिक बेकार उत्पाद है जो आपकी मांसपेशियों के मेटाबोलिज्म और मांस खाने से कुछ हद तक बनता है।
हेल्थी किडनी आपके ब्लड से क्रिएटिनिन और अन्य बेकार उत्पादों को फ़िल्टर करती हैं और बेकार पदार्थ को पेशाब के रास्ते शरीर से बाहर निकाल देती है।
किडनी द्वारा क्रिएटिनिन को हैंडल की इस क्षमता को क्रिएटिनिन क्लीयरेंस रेट कहा जाता है,जो ग्लोमेरुलर फिल्टरेशन रेट (जीएफआर) का अनुमान लगाने में मदद करता है – किडनी के माध्यम से ब्लड फ्लो की रेट या दर।
यदि आपकी किडनी ठीक से काम नहीं कर रही है, तो क्रिएटिनिन का बढ़ा हुआ लेवल आपके ब्लड में जमा हो सकता है। एक सीरम क्रिएटिनिन टेस्ट आपके ब्लड में क्रिएटिनिन के लेवल को मापता है और आपको यह बताता है कि आपकी किडनी की ग्लोमेरुलर फिल्टरेशन दर कितनी अच्छी है। क्रिएटिनिन यूरिन टेस्ट आपके यूरिन में क्रिएटिनिन को माप सकता है।
किडनी के कार्य को मापने के लिए डॉक्टर मुख्य रूप से दो क्रिएटिनिन टेस्ट का उपयोग करते हैं:
24 घंटे या अधिक देर तक, एकत्र किए गए यूरिन के सैंपल में क्रिएटिनिन की मात्रा को मापकर क्रिएटिनिन क्लीयरेंस को ठीक से निर्धारित किया जा सकता है।
इस मेथड में एक व्यक्ति को दिनभर में प्लास्टिक के जग में पेशाब करने की जरूरत होती है, फिर इसे टेस्ट के लिए लाया जाता है हालांकि ये थोड़ा असुविधाजनक है लेकिन कुछ किडनी समस्याओं की डाइग्नोस या निदान के लिए ये बेहद जरूरी है।
जिएफआर मेथड में डॉक्टर एक फार्मूले की मदद से ब्लड में क्रिएटिनिन के लेवल को निर्धारित करता है, ऐसे कई फार्मूले उपलब्ध हैं, जो उम्र, लिंग और कभी-कभी वजन और जातीयता का भी हिसाब रखते है ।
ब्लड क्रिएटिनिन लेवल जितना अधिक होगा, अनुमानित तौर पे जीएफआर और क्रिएटिनिन क्लीयरेंस उतनी कम होगी।
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एक सीरम क्रिएटिनिन टेस्ट – जो आपके ब्लड में क्रिएटिनिन के लेवल को मापता है – यह संकेत दे सकता है कि आपकी किडनी ठीक से काम कर रही हैं या नहीं।
आपको कितनी बार क्रिएटिनिन टेस्ट की जरूरत होती है, नीचे दी गई स्थितियों और किडनी डैमेज के जोखिम पर निर्भर करता है।
उदाहरण के लिए:
डॉक्टर आपको कुछ दवाएं लेने से रोक सकता है जो टेस्ट को प्रभावित कर सकती हैं। दवाओं में शामिल हैं:
हेल्थ प्रोफेशनल की मदद से
एक इलास्टिक बैंड आपके ऊपरी बांह के चारों ओर लपेटा जाता है। यह आपकी बांह को टाइट कर सकता है। हो सकता है कि आपको सुई से कुछ भी महसूस ना हो या हल्की सी चुभन महसूस हो सकती है ।
20 से 30 मिनट बाद आप टेप और कॉटन को निकाल सकते हैं। आपको अपने टेस्ट के परिणाम प्राप्त करने के लिए डेट दी जाएगी। डॉक्टर आपको समझाएगा कि आपके परीक्षा परिणाम आपके के क्या मायने है। आपको डॉक्टर के निर्देशों का पालन करना चाहिए।
यदि आपके मन में क्रिएटिनिन क्लीयरेंस को लेकर कोई प्रश्न हैं, तो कृपया निर्देशों को बेहतर ढंग से समझने के लिए अपने चिकित्सक से परामर्श करें।
एक नार्मल परिणाम पुरुषों के लिए 0.7 से 1.3 मिलीग्राम / डीएल और महिलाओं के लिए 0.6 से 1.1 मिलीग्राम / डीएल है।
किडनी की वर्किंग कैपिसिटी और क्रिएटिनिन क्लीयरेंस में स्वाभाविक रूप से उम्र के साथ गिरावट आती है।
दिए गए उदाहरण इन टेस्ट के रिजल्ट के लिए नार्मल माप हैं। कई प्रयोगशालाओं में नार्मल वैल्यू रेंज थोड़ी भिन्न हो सकती हैं। कुछ लैब विभिन्न मापों का उपयोग करते हैं या विभिन्न सैंपल का टेस्ट करते हैं। अपने टेस्ट रिजल्ट को समझने के लिए अपने डॉक्टर से बात करें।
आम तौर पर, एक हाई सीरम क्रिएटिनिन लेवल का मतलब है कि आपकी किडनी अच्छी तरह से काम नहीं कर रहे हैं। यदि आप डिहाइड्रेड या प्यासे हैं, तो आपका क्रिएटिनिन लेवल अस्थायी रूप से बढ़ सकता है ,ब्लड की मात्रा कम हो सकती है, बड़ी मात्रा में मांस खा खाते हैं या कुछ दवाएं ले रहे हैं। डाइट्री सप्पलीमेंट क्रिएटिन भी ऐसा ही प्रभाव डाल सकता है।
यदि आपका सीरम क्रिएटिनिन लेवल नार्मल से अधिक है, तो आपका डॉक्टर किसी अन्य ब्लड या यूरिन टेस्ट करा के रिजल्ट की पुष्टि करना चाह सकता है। यदि किडनी की क्षति एक चिंता है, तो किसी भी स्थिति को नियंत्रित करना महत्वपूर्ण है जो खतरा बन सकती है। यह आपके ब्लड प्रेशर को मैनेज करने के अक्सर दवा की जरूरत होती है। आप हमेशा के लिए किडनी को डैमेज होने से नहीं रोक सकते , लेकिन उचित उपचार के साथ आप आगे होने वाले नुकसान को जरूर रोक सकते हैं।
यदि आप जिएफआर या क्रिएटिनिन क्लीयरेंस (Creatinine Clearance) टेस्ट कराते है, तो आपका डॉक्टर समस्या का समाधान करने के लिए आपके साथ एक वर्क प्लान तैयार करेगा। क्रोनिक किडनी रोग के मुख्य कारण हाई ब्लड प्रेशरऔर डायबिटीज हैं। यदि आपके पास ये स्थितियां हैं, तो पहला कदम उन्हें बेहतर आहार, व्यायाम और दवाओं के साथ नियंत्रण में लाना है। यदि ये बीमारी नहीं है, तो किडनी की बीमारी के कारणों की पहचान करने के लिए टेस्ट की जरूरत हो सकती है।
प्रयोगशाला और अस्पताल के आधार पर, क्रिएटिनिन क्लीयरेंस (Creatinine Clearance) के लिए नार्मल सीमा भिन्न हो सकती है। कृपया अपने चिकित्सक से टेस्ट रिजल्ट से जुड़े सवालों पे चर्चा करें।
डिस्क्लेमर
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