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Myomectomy: मायोमेक्टमी क्या है?

के द्वारा मेडिकली रिव्यूड Dr Sharayu Maknikar


Shayali Rekha द्वारा लिखित · अपडेटेड 13/12/2019

Myomectomy: मायोमेक्टमी क्या है?

परिचय

मायोमेक्टमी क्या है?

मायोमेक्टमी गर्भाशय से संबंधित सर्जरी है। जिसमें गर्भाशय के फाइब्रॉइड्स जिसे लियोमायोमा  भी कहते हैं, उसे निकाल दिया जाता है। मायोमेक्टमी महिलाओं को किसी भी उम्र में हो सकता है। मायोमेक्टमी का मुख्य उद्देश्य गर्भाशय से फाइब्रॉइड्स को निकालना है। गर्भाशय में फाइब्रॉइड्स कैंसर बना सकते हैं। 

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मायोमेक्टमी सर्जरी की जरूरत कब होती है?

जब आपके गर्भाशय में फाइब्रॉइड्स के लक्षण सामने आते हैं तो डॉक्टर मायोमेक्टमी सर्जरी कराने की सलाह देते हैं। क्योंकि गर्भाशय में बढ़ रहे फाइब्रॉइड्स से गर्भाशय का कैंसर होने का खतरा रहता है। 

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जोखिम

मायोमेक्टमी सर्जरी करवाने से पहले मुझे क्या पता होना चाहिए?

मायोमेक्टमी सर्जरी उन महिलाओं की होती है जिन्हें फाइब्रॉइड्स की समस्या होती है और वे भविष्य में मां बनना चाहती हैं, तो डॉक्टर मायोमेक्टमी सर्जरी की सलाह देते हैं। लेकिन मायोमेक्टमी हर किसी के लिए नहीं होता है। कुछ मामलों में मायोमेक्टमी नहीं कराया जाता है। जैसे- अगर महिला को भविष्य में मां नहीं बनना है तो ये सर्जरी नहीं की जाती है। यूटेराइन सार्कोमा या एंडोमेट्रीयल कैंसर होने पर भी मायोमेक्टमी सर्जरी नहीं की जाती है। मायोमेक्टमी सर्जरी उन मरीजों में तो कतई नहीं कर सकते है जिनमें फाइब्रॉइड्स बढ़ने के पूरे लक्षण नहीं दिखाई दे रहे हैं। 

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मायोमेक्टमी  सर्जरी के क्या साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं?

मायोमेक्टमी सर्जरी कराने के बाद आपको दर्द महसूस हो सकता है। आपके वजायना से लगभग छह हफ्ते तक हल्की स्पॉटिंग भी हो सकती है। इसके अलावा अन्य समस्याएं सामने आती हैं,जैसे कि-

  • संक्रमण
  • ज्यादा ब्लीडिंग होना
  • गर्भाशय के आसपास के अंग डैमेज हो सकते हैं
  • स्कार टिश्यू फैलोपियन ट्यूब को ब्लॉक कर सकते है, जिससे मां बनने में समस्या हो सकती है

निम्न समस्या होने पर डॉक्टर से मिलें :

जरूरी नहीं है कि ये समस्याएं सभी को हो, लेकिन फिर भी ये जानना जरूरी है कि इससे क्या समस्या हो सकती है। किसी तरह की परेशानी होने पर डॉक्टर से तुरंत मिलें। 

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प्रक्रिया

मायोमेक्टमी सर्जरी के लिए मुझे खुद को कैसे तैयार करना चाहिए?

  • इस सर्जरी को कराने से पहले आपको अपने डॉक्टर से मिलना चाहिए। डॉक्टर से मिल कर अपनी दवाओं (जो आप पहले से ले रहे हो), एलर्जी और हेल्थ कंडीशन के बारे में बात करनी चाहिए। 
  • आप अपने डॉक्टर से जान लें कि आपको सर्जरी से पहले क्या खाना पीना चाहिए। इसके अलावा आप  ये भी पूछ लें कि सर्जरी से कितने घंटे पहले से खाना पीना बंद करना है। 
  • परिवार के लोगों को भी आप डॉक्टर द्वारा दिए गए निर्देशों के बारे में अच्छे से बता  दें। ज्यादातर मामलों में सर्जरी कराने से छह घंटे पहले से कुछ भी नहीं खाना होता है। ऐसे में डॉक्टर द्वारा बताए गए तरल पदार्थ या ड्रिंक्स ही लें।
  • आप अपने एनेस्थेटिस्ट से भी मिलें और सर्जरी के दौरान बेहोश या सुन्न करने की प्रक्रिया प्लान करें। 
  • खून को पतला करने वाली दवाएं जैसे एस्पिरीन अगर आप ले रहे हैं तो डॉक्टर को जरूर बताएं। ताकि जरूरत के अनुसार डॉक्टर आपकी दवाओं को बंद कर सकें। 
  • सर्जरी के लिए आने से पहले नहा लें। लेकिन किसी भी तरह का कोई लोशन, परफ्यूम, डियोडरेंट या नेल पॉलिश नहीं लगाएं।
  • मायोमेक्टमी सर्जरी की दो प्रक्रियाएं हैं। ओपन मायोमेक्टमी सर्जरी में तो आपको दो या तीन दिन हॉस्पिटल में रुकना पड़ सकता है। लेकिन लैप्रोस्कोपिक या रोबोटिक मायोमेक्टमी सर्जरी में आप उसी दिन घर जा सकती हैं। 
  • हॉस्पिटल से घर जाने के लिए आपको वाहन का बंदोबस्त पहले से कर के रखना होगा।

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मायोमेक्टमी सर्जरी में होने वाली प्रक्रिया क्या है?

मायोमेक्टमी सर्जरी में लगने वाला समय प्रक्रिया पर निर्भर करता है। मायोमेक्टमी सर्जरी तीन तरह से की जाती है :

एब्डॉमिनल मायोमेक्टमी (Abdominal Myomectomy)

इस सर्जरी में पहले एनेस्थेटिस्ट आपको बेहोश या सुन्न करते हैं। फिर बिकनी लाइन और प्यूबिक बोन के ऊपर सर्जन ढाई सेंटीमीटर लंबा चीरा क्षैतिज चीरा लगाते हैं। इसके बाद गर्भाशय में चीरा लगाते हैं और फाइब्रॉइड्स को निकालते हैं। फिर सर्जन गर्भाशय में खुद से घुलने वाला टांका और बाहर त्वचा पर टांका लगाते हैं। 

लैप्रोस्कोपिक या रोबोटिक मायोमेक्टमी सर्जरी (Laparoscopic or robotic myomectomy)

  • लैप्रोस्कोपिक मायोमेक्टमी सर्जरी में सर्जन नाभी के पास एक छोटा चीरा लगाते हैं। इसके जरिए गर्भाशय में लैप्रोस्कोप डालते हैं, जिसमें लाइट और कैमरा लगा रहता है। इसकी मदद से सर्जन फाइब्रॉइड्स को निकाल लेते हैं और चीरे पर टांका लगा देते हैं।
  • रोबोटिक मायोमेक्टमी सर्जरी में सर्जरी एक रोबोट द्वारा किया जाता है। ये प्रक्रिया लैप्रोस्कोपिक मायोमेक्टमी सर्जरी से मिलती जुलती है। लेकिन, इसमें चीरा बहुत छोटा सा लगता है। 

कभी-कभी फाइब्रॉइड्स पेट की दीवार पर लगे रह जाते हैं, जिसके बाद ओपन सर्जरी करनी पड़ सकती है। वहीं, लैप्रोस्कोपिक और रोबोटिक मायोमेक्टमी सर्जरी एब्डॉमिनल सर्जरी की तुलना में आरामदायक और कम कष्ट देना वाला होता है। 

हिस्टेरोस्कोपिक मायोमेक्टमी सर्जरी (Hysteroscopic myomectomy)

अगर आपके गर्भाशय के अंदर से फाइब्रॉइड्स को निकालना होता है तो सर्जन हिस्टेरोस्कोपिक मायोमेक्टमी सर्जरी के लिए कहते हैं। इसमें योनि के द्वारा ही फाइब्रॉइड्स को निकाला जाता है। रेसेक्टोस्कोप नामक एक छोटा और हल्का उपकरण सर्जन मरीज के योनि में डालते हैं। रेसेक्टोस्कोप से लेजर बीम निकलती है, जिससे फाइब्रॉइड्स को छील कर निकाला जाता है। 

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मायोमेक्टमी सर्जरी के बाद क्या होता है?

  • ओपन सर्जरी के बाद आप दो या तीन दिन बाद घर जा सकती हैं। लेकिन अन्य तरह की सर्जरी में आप उसी दिन या अगले दिन घर जा सकती हैं। 
  • दर्द को कम करने के लिए डॉक्टर द्वारा दिए गए पेनकीलर का सेवन करें। 
  • डॉक्टर द्वारा बताए गए डायट प्लान का पालन करें। 
  • इन सभी बातों के अलावा अगर आपको किसी भी तरह की समस्या आती है तो अपने सर्जन और डॉक्टर से जरूर मिलें और परामर्श लें।
  • रिकवरी

    मायोमेक्टमी सर्जरी के बाद मुझे खुद का ख्याल कैसे रखना चाहिए?

    • मायोमेक्टमी सर्जरी होने के बाद कोई भारी चीज लगभग तीन महीने तक न उठाएं। किसी तरह की भारी एक्सरसाइज से परहेज करें।
    • यूं तो सर्जरी के छह हफ्ते तक आपको सेक्स नहीं करना चाहिए। लेकिन, फिर भी अपने डॉक्टर से पूछ लें कि आपके लिए सेक्स कब से सुरक्षित हो सकता है।
    • अगर आप सर्जरी के बाद गर्भवती होना चाहती हैं तो एक बार अपने डॉक्टर से जरूर परामर्श ले लें। कम से कम सर्जरी के छह महीने बाद तक आपको प्रेगनेंसी के बारे में नहीं सोचना चाहिए। क्योंकि गर्भाशय को पूरी तरह ठीक होने में लगभग छह महीने लगेंगे। 

    हैलो स्वास्थ्य किसी भी तरह की मेडिकल सलाह नहीं दे रहा है। अगर आपको किसी भी तरह की समस्या हो तो आप अपने सर्जन से जरूर पूछ लें। 

    डिस्क्लेमर

    हैलो हेल्थ ग्रुप हेल्थ सलाह, निदान और इलाज इत्यादि सेवाएं नहीं देता।

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