बेबी केयर टिप्स: शिशु को गोद में लेने का सही तरीका
शिशु का शरीर बहुत नाजुक होता है। उन्हें अचानक से झटका देकर नहीं उठाना चाहिए। जब भी शिशु को गोद में लें, तो ये हमेशा ध्यान में रखें कि हाथों को एंटी-सेप्टिक सेनेटाइजर से साफ कर लें। बच्चों की रोग प्रतिरोधक क्षमता उतनी मजबूत नहीं होती है और वे बहुत जल्दी संक्रमण का शिकार हो जाते हैं। इसके अलावा, बच्चे को उठाते समय उसके सिर और गर्दन को ठीक से पकड़े ताकि बच्चे को सही से सपोर्ट मिल सके। बेबी केयर करते समय ध्यान में रखें कि बच्चों को सही ढंग से न उठाने पर बाद में शारीरिक और मानसिक समस्या हो सकती है।
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बेबी केयर टिप्स (Baby care tips): शिशु को सुलाने का सही तरीका
शिशु को सुलाने के लिए पेरेंट्स को सबसे पहले यह जानना चाहिए कि शिशु को पीठ के बल ज्यादा अच्छी नींद आती है। शिशु को हमेशा पीठ के बल सुलाना चाहिए। डॉ गीता कहती हैं कि शिशु को पेट के बल सुलाने से उन्हें सांस लेने में दिक्कत आ सकती है। इसलिए उन्हें सुलाने के सही तरीकों और समय की सही जानकारी हर मां के लिए बहुत जरूरी है। मां के लिए ध्यान देना बहुत आवश्यक है कि नवजात शिशु को 24 घंटे में स्वास्थ्य के लिहाज से कितनी देर सोना चाहिए?
बेबी केयर टिप्स (Baby care tips): इन बातों का रखें ध्यान
- नवजात शिशु के जन्म के बाद पहले तीन महीने में दिन भर में कम-से-कम 16-18 घंटे की नींद जरूरी होती है।
- शिशु के जन्म के तीन महीने के बाद कम-से-कम आठ से दस घंटे की नींद सेहत के लिए जरूरी है।
- यह भी ध्यान रखें कि रात के समय शिशु जब नींद में हो तो दो-तीन घंटे पर दूध जरूर पिलाते रहना चाहिए।
दूध पिलाने का सही तरीका
ननवजात शिशु के जन्म के बाद पहले छह महीनों तक मां को दूध (स्तनपान) ही पिलाना चाहिए। लेकिन, विशेष परिस्थितियों जैसे – मां के स्तन में पर्याप्त दूध नहीं आ रहा हो, जैसी परिस्थितियों में ही शिशु को दूध पिलाने के लिए बोतल का सहारा लेना चाहिए। शिशु को बोतल से दूध पिलाने से पहले यह सुनिश्चित कर लें कि, उसमें बबल न हों क्योंकि इससे शिशु के पेट मे गैस की समस्या हो सकती है।
इन बातों का रखें ध्यान