एक्स-रे (X-ray)
निदान की पुष्टि के लिए डॉक्टर पेल्विस, हिप और जांघ का एक्स-रे (X-Ray) करेगा, ताकि अलग-अलग एंगल से निदान की पुष्टि की जा सके और मरीज की सही स्थिति का पता चल सके। एससीएफई होने पर एक्स-रे (X-ray) में साफ दिखेगा कि जांघ की हड्डी (Bone) का सिरा हिप बोन के जोड़ से खिसक गया है।
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उपचार
स्लिप्ड कैपिटल फेमोरियल एपिफिसिस का उपचार (Treatment for Slipped Capital Femoral Epiphysis)
सर्जरी के जरिए अपनी जगह से खिसक चुकी ग्रोथ प्लेट को दोबारा उसी स्थान पर लाया जाता है, लेकिन सर्जरी से पहले डॉक्टर प्लेट और अधिक खिसकने से रोकने के लिए मरीज को आराम करने और चलने के लिए बैसाखी का इस्तेमाल करने को कहता है ताकि प्रभावित पैर पर भार न पड़े। एससीएफई (Slipped Capital Femoral Epiphysis) की स्थिति में आमतौर पर डॉक्टर मरीज को तुरंत अस्पताल में भर्ती होने की सलाह देते हैं ताकि वह आराम कर सके और सर्जरी जल्दी से जल्दी की जा सके।
एससीएफई (Slipped Capital Femoral Epiphysis) के लिए की जाने वाली सर्जरी में मरीज को पहले बेहोश किया जाता है। फिर एक खास एक्स-रे (X-ray) मशीन जिसे फ्लोरोस्कोप (Fluoroscopy) कहते की मदद से टीवी स्क्रीन पर हिप की रियल इमेज दिखाई देती है जिसे देखकर डॉक्टर हिप में छोटा सा चीरा लगाकर हड्डी के जरिए एक मेटल स्क्रू अंदर डालकर ग्रोथ प्लेट को हड्डी से जोड़ दिया जाता है। स्क्रू हड्डी में इतना गहरा डाला जाता है कि मरीज को सर्जरी के बाद कुछ महसूस नहीं होता।
स्थिति की गंभीरता के आधार पर सर्जरी के बाद डॉक्टर मरीज को बताता है कि वह प्रभावित पैर पर कितना वजन ले सकता है। आमतौर पर सर्जरी के बाद मरीज को बैसाखी लेकर चलने को कहा जाता है, यदि किसी के दोनों हिप की सर्जरी हुई है तो उसे कुछ दिनों तक व्हीलचेयर (Wheelchair) का इस्तेमाल करना होता है।
सर्जरी के बाद आमतौर पर स्लिप्ड कैपिटल फेमोरियल एपिफिसिस की समस्या पूरी तरह ठीक हो जाती है। स्थिति की निगरानी के लिए डॉक्टर फॉलोअप एक्स-रे (X-Ray) के लिए कहता है।
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