4. एलोवेरा टी
एलोवेरा के तो कई फायदे होते हैं, लेकिन इसके नुकसान भी हैं। दरअसल, इसमें मौजूद लैक्सेटिव स्किन से जुड़ी समस्या शुरू हो सकता है। यही नहीं डिलिवरी के दौरान भी इससे परेशानी हो सकती है।
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5. बरबेरी टी
बरबेरी टी (Barberry tea) के सेवन से डायरिया, उल्टी, कमजोरी, ब्लड प्रेशर कम होना, हार्ट रेट बढ़ना या सांस संबंधी परेशानी हो सकती है। गर्भावस्था के दौरान वैसे भी गर्भवती महिला उल्टी जैसी अन्य परेशानियों से पीड़ित होती हैं। इसलिए प्रेग्नेंसी के दौरान इसका सेवन नहीं करना चाहिए।
6. कैममाइल टी
कैममाइल (Chamomile tea) हर्बल टी के नुकसान को समझना बेहद जरूरी है क्योंकि इसका सेवन डायरिया और नींद न आने की स्थिति में किया जाता है। दरअसल कैममाइल के एक्सट्रेक्ट से यूट्रस पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। इसलिए इसका सेवन नहीं करना चाहिए।
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7. जिनसेग टी
प्रेग्नेंसी में हर्बल टी से नुकसान होता है। जिसमें जिनसेंग रिसर्च के अनुसार इसके सेवन से नींद न आना, सिरदर्द होना, स्तन में दर्द होना और यहां तक कि इसके सेवन से वजायनल ब्लीडिंग भी हो सकती है।
8. हिबिस्कस टी
हिबिस्कस टी (Hibiscus tea) के सेवन से प्रेग्नेंसी में नुकसान पहुंच सकता है। इसके सेवन से हॉर्मोन के स्तर में बहुत ज्यादा गड़बड़ी होती है, जो गर्भावस्था के लिए ठीक नहीं है।
9. कावा टी
गर्भावस्था में कावा टी (Kava tea) के सेवन से यूट्रस को नुकसान पहुंचता है। एक्सपर्ट्स के अनुसार कावा टी ब्रेस्ट फीडिंग के दौरान में भी नहीं पीना चाहिए।
10. लेमनग्रास टी
लेमनग्रास टी (Lemongrass tea) गर्भावस्था के दौरान पीने की सख्त मनाही होती है। इससे मिसकैरिज का खतरा बढ़ सकता है।
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प्रेग्नेंसी में हर्बल टी जिनका सेवन किया जा सकता है
- नेटल टी पोषक तत्वों से भरपूर हर्बल टी है। इसमें विटामिन, कैल्शियम, पोटैशियम, आयरन और मैग्नीशियम पाया जाता है। इसके सेवन से ब्रेस्ट मिल्क अच्छे से बनता है और प्रसव के बाद भी शरीर में ऊर्जा बनाए रखने में मदद मिलती है। प्रेग्नेंसी में हर्बल चाय का इस्तेमाल किया जा सकता है।
- जिंजर टी के सेवन से गर्भावस्था में होने वाली मॉर्निंग सिकनेस से निपटा जा सकता है। इसके लिए अदरक के कुछ टुकड़ों को गर्म पानी में बॉइल करके इसमें शहद डालकर उपयोग कर सकती हैं।
- रास्पबेरी की पत्ती वाली चाय आयरन, कैल्शियम और मैग्नीशियम से भरपूर होती है। इसमें मौजूद मिनरल गर्भाशय की मांसपेशियों को टोन करते हैं, जिसे प्रसव के लिए अच्छा माना जाता है। प्रेग्नेंसी में हर्बल टी (रास्पबेरी टी) का सेवन किया जा सकता है।
- डंडेलियन के पत्तों यानी सिंहपर्णी से बनी हर्बल टी में कैल्शियम, आयरन और पोटैशियम की हाई क्वांटिटी होती है। यह गर्भावस्था के आखिरी समय में बॉडी में वॉटर रिटेंशन को रोकने में मददगार साबित हो सकती है।
- मिंट की चाय गर्भवतियों को होने वाली बेचैनी, वॉमिट और जी-मिचलाने जैसी समस्या को कम कर सकती है। इसकी सीमित मात्रा के उपयोग से डाइजेशन से जुड़ी समस्याओं से भी निजात मिलती है।
- लेमन बाम टी को पीने की सलाह प्रेग्नेंसी में दी जाती हैं। इसके सेवन से गर्भावस्था में होने वाली मूड संबंधी समस्याएं जैसे चिड़चिड़ापन और घबराहट में आराम मिलती है। इसके साथ ही लेमन बाम टी अनिद्रा की समस्या को भी दूर करने में हेल्पफुल मानी जाती है ।
गर्भावस्था के दौरान आपको कितनी चाय पीनी चाहिए?
प्रेग्नेंसी के दौरान सीमित मात्रा में चाय पीना ठीक है। एक गर्भवती महिला हर दिन 200 मिलीग्राम से कम ही कैफीन ले सकती हैं। गर्भावस्था में चाय का सेवन करते समय ध्यान रखें कि ज्यादा मात्रा में कैफीन का सेवन मिसकैरिज का खतरा बढ़ा सकता है।
ऊपर दी गई सभी टी औषधीय गुण से भरपूर है, लेकिन इन औषधीय और आयुर्वेदिक हर्बल टी से नुकसान भी गर्भवस्था के दौरान हो सकता है। इसलिए इसका सेवन न ही करें तो बेहतर होगा।
बेशक, गर्म-गर्म चाय की प्याली आपको बेहद पसंद होगी, लेकिन गर्भधारण करने के बाद आपको चाय को लेकर सावधानियां बरतने की जरूरत है। प्रेग्नेंसी में हर्बल टी कौन सी सुरक्षित और कौन सी असुरक्षित हैं। हम इस लेख में आपको बता चुके हैं। इसके अलावा, अगर प्रेग्नेंसी में हर्बल टी से संबंधित कोई भी सवाल आपके मन में है, तो आप कमेंट बॉक्स के माध्यम से हमसे जुड़ सकते हैं। साथ ही किसी भी चीज को उपयोग में लाने से पहले एक बार डॉक्टर से सलाह जरूर लें।