ठंड का मौसम आते ही स्किन या त्वचा सूखने लगती है। त्वचा के सूखने के कारण उसमें खुजली की समस्या भी हो जाती है। स्किन में सूखापन त्वचा में नमी खत्म होने के कारण पैदा होता है। शरीर के अन्य हिस्सों की तरह ही निप्पल में नमी की कमी हो जाती है, जिस कारण से मॉस्चरॉइजर की जरूरत पड़ती है। इस कारण से निप्पल क्रीम (Nipple Creams) बहुत जरूरी हो जाता है। ब्रेस्टफीडिंग के दौरान महिलाओं में निप्पल में दर्द, सूखापन, निप्पल में टेंडरनेस आदि का एहसास होता है। जो महिलाएं पहली बार दूध पिलाना शुरू करती हैं, उन्हें स्तनों में हल्का दर्द भी हो सकता है। वहीं कुछ महिलाओं में तो निप्पल से खून भी निकलने लगता है। इस स्थिति से निपटने के लिए निप्पल क्रीम (Nipple Creams) बहुत जरूरी हो जाता है। आज इस आर्टिकल के माध्यम से हम आपको निप्पल क्रीम (Nipple Creams) के बारे में जानकारी देंगे।
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निप्पल क्रीम (Nipple Creams) की क्यों पड़ती है जरूरत?
अगर आप बच्चे को ब्रेस्टफीडिंग करा रहे हैं, तो आपको निप्पल क्रीम (Nipple Creams) की जरूरत पड़ सकती है। निप्पल क्रीम (Nipple Creams) का इस्तेमाल करने से निप्पल हाइड्रेटेड रहते हैं और उन में नमी की कमी नहीं होती है। निप्पल क्रीम बाजार में आपको आसानी से मिल जाएंगी। आप चाहे तो डॉक्टर से परामर्श करने के बाद भी निप्पल क्रीम (Nipple Creams) का चयन कर सकते हैं। जब भी निप्पल क्रीम का चयन करें, उसके इंग्रिडिएंट्स के बारे में जरूर जानकारी लें। साथ ही यह भी पता करें कि वह आपके बेबी के लिए सुरक्षित है या फिर नहीं। इसका मेन रीजन सिर्फ यह होता है कि निप्पल क्रीम का इस्तेमाल आप जिस स्थान में कर रही हैं, वहीं से बच्चा फीडिंग भी करता है, तो कुछ मात्रा में वह क्रीम उसके शरीर में भी जा सकती है। इस कारण से निप्पल क्रीम (Nipple Creams) के बारे में जानकारी लेना बहुत जरूरी हो जाता है। आइए जानते हैं निप्पल क्रीम के कुछ ब्रांड्स के बारे में।
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नैचुरल निप्पल बटर (NATURAL NIPPLE BUTTER)
नैचुरल निप्पल बटर (NATURAL NIPPLE BUTTER) में नैचुरल इंग्रिडिएंट्स का इस्तेमाल किया जाता है। इस निप्पल क्रीम (Nipple Creams) में लैनोलिन का इस्तेमाल नहीं किया जाता है साथ ही यह फ्रेगरेंस फ्री होता है और इसमें कोई भी आर्टिफिशियल इंग्रीएंट्स नहीं होता है। इसे इस्तेमाल करने से निप्पल क्रेक की समस्या से छुटकारा मिलता है। यह बच्चों के लिए पूर्ण रूप से सुरक्षित है। अगर आप इसको लगाने के बाद बच्चे को ब्रेस्टफीडिंग (Breastfeeding) कराती हैं, तो आपको चिंता करने की जरूरत नहीं है।बच्चों को इस क्रीम के स्वाद से भी कोई दिक्कत नहीं होती है। इस क्रीम की 25 ग्राम का पैक आपको ₹270 में उपलब्ध हो जाएगा। आप ऐसे ऑनलाइन भी खरीद सकते हैं।
क्लोविया बोटानिकस निप्पल बटर क्रीम (Clovia Botaniqa)
नैचुरल प्रोडक्ट से बनी क्लोविया बोटानिका निप्पल बटर क्रीम का इस्तेमाल भी आप कर सकते हैं। इसमें किसी भी तरह के टॉक्सिन या फिर सल्फेट का इस्तेमाल नहीं किया जाता है। यह मां और बच्चे दोनों के लिए सुरक्षित है। इसमें जैतून का तेल, विटामिन ई जैसे नैचुरल इंग्रिडिएंट्स का इस्तेमाल किया जाता है। यह निप्पल को नमी प्रदान करने का काम करता है। यह उन सभी मदर्स के लिए है, जो निप्पल ब्रेक की समस्या से जूझ रही हैं या फिर निप्पल से सूखेपन के कारण खून निकलता है। इस क्रीम का इस्तेमाल करने के कुछ समय बाद आप बच्चे को ब्रेस्टफीडिंग भी आसानी से करा सकते हैं। आपको ब्रेस्ट साफ करने की भी जरूरत नहीं है। इस क्रीम की 30 ग्राम का पैक आपको ₹229 में उपलब्ध हो जाएगा।
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स्तनपान के लिए लैंसिनोह लैनोलिन निप्पल क्रीम (Lansinoh Lanolin Nipple Cream for Breastfeeding)
100% प्राकृतिक और बच्चे के लिए सुरक्षित यह निप्पल क्रीम लैनोलिन हाइपोएलर्जेनिक ( lanolin hypoallergenic) है। इस क्रीम में किसी पेट्रोलियम या पैराबेंस का इस्तेमाल नहीं किया जाता है, इसलिए स्तनपान कराने से पहले इस निप्पल क्रीम को हटाने की कोई आवश्यकता नहीं होती है। लैनोलिन निप्पल क्रीम नाजुक त्वचा को प्रोटक्ट करने का काम करता है। इसमें किसी भी तरह के आर्टिफिशियल प्रोडक्ट या फिर फ्रेगरेंस का इस्तेमाल नहीं किया जाता है। आप चाहे तो इसे इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर की राय भी ले सकते हैं।
सुविनेक्स निप्पल क्रीम (Suavinex Nipple Cream)
ये क्रीम गर्भवती या स्तनपान कराने वाली महिलाओं के निपल्स के लिए बहुत राहत और सहायता प्रदान करता है। प्रेग्नेंसी के दौरान भी महिलाओं को निप्पल में सूखेपन की समस्या या फिर निप्पल में बदलाव होता है। ऐसे में प्रसव से पहले और प्रसव के बाद सुविनेक्स निप्पल क्रीम (Suavinex Nipple Cream) का इस्तेमाल किया जा सकता है। निप्पल में होने वाला बदलाव हॉर्मोन में बदलाव के कारण होता है। बच्चे को स्तनपान कराने के दौरान भी महिलाओं को निप्पल संबंधित कई परेशानियों से गुजरना पड़ता है, ऐसे में क्रीम महत्वपूर्ण रोल अदा करती है।
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अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स मेडिकल-ग्रेड प्योर लैनोलिन (medical-grade purified lanolin) इस्तेमाल करने की सलाह देते हैं। अगर आपको लैनोलिन एलर्जी की समस्या है, तो ऐसे में आपको इसका इस्तेमाल करने से बचना चाहिए। आप चाहे तो इसके स्थान में जैतून का तेल, नारियल, कोको या शीया बटर से बने प्रोडक्ट का इस्तेमाल भी कर सकते हैं। आपको निप्पल की नमी को बनाएं रखने के लिए पेट्रोलियम जेली से बने प्रोडक्ट से बचना चाहिए क्योंकि बच्चे निप्पल से ही फीड करते हैं। आपको विटामिन ई (vitamin E) युक्त क्रीम से भी बचना चाहिए, क्योंकि विशेषज्ञ यह नहीं जानते हैं कि शिशुओं के लिए कितना सुरक्षित होती है या फिर नहीं।
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प्रीगर्स सूथिंग निप्पल क्रीम (Preggers Soothing Nipple Cream)
ब्रेस्टफीडिंग कराने के बाद कई महिलाओं को निप्पल में ड्राइनेस का सामना करना पड़ जाता है, जिसके कारण दर्द भी पैदा हो सकता है। ऐसे में निप्पल क्रीम का इस्तेमाल बेहतर उपाय होता है। आप इस समस्या से निजात पाने के लिए प्रीगर्स सूथिंग निप्पल क्रीम (Preggers Soothing Nipple Cream) का इस्तेमाल कर सकते हैं। क्रीम में प्राकृतिक तेल होते हैं और इसमें प्राकृतिक सुगंध होती है, जो बच्चे के लिए पूरी तरह से सुरक्षित होती है। वर्जिन कोकोनट ऑयल एक प्राकृतिक मॉइस्चराइजर की तरह काम करता है और एंटिफंगल गुण से भरपूर होता है। इससे सूखे निपल्स को नमी मिलती है और आपके निपल्स को संक्रमण से सुरक्षित भी मिलती है।
अगर आपको निप्पल में किसी भी प्रकार की परेशानी हो रही है, तो बेहतर होगा कि अपने डॉक्टर से संपर्क करें। डॉक्टर ने आपको जो भी निप्पल क्रीम लगाने की सलाह दी है, उसका इस्तेमाल करें। यहां हमने आपको निप्पल क्रीम के कुछ ब्रांड्स के बारे में जानकारी दी है लेकिन बेहतर होगा कि आप डॉक्टर से परामर्श करने के बाद ही निप्पल क्रीम का चयन करें। अगर आपको निप्पल में किसी अन्य प्रकार की परेशानी महसूस हो रही है, तो डॉक्टर को जरूर बताएं और घर में ट्रीटमेंट ना करें।
इस आर्टिकल में हमने निप्पल क्रीम (Nipple Creams) आपको को लेकर जानकारी दी है। उम्मीद है आपको हैलो हेल्थ की ओर से दी हुई जानकारियां पसंद आई होंगी। अगर आपको इस संबंध में अधिक जानकारी चाहिए, तो हमसे जरूर पूछें। हम आपके सवालों के जवाब मेडिकल एक्स्पर्ट्स द्वारा दिलाने की कोशिश करेंगे।
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