कहते हैं गलती करने से ही तो हम सीखते हैं, लेकिन कभी-कभी अनजाने में कुछ गलती भी हो जाती है जिसके वजह से गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex) होने लगता है। वैसे गलती महसूस करना कोई बुरी बात नहीं है, लेकिन कभी-कभी कुछ चीजों को लेकर कई बार गलती के बारे में बार-बार सोचना मेंटल हेल्थ के लिए नुकसानदायक भी हो सकता है। इसलिए आज इस आर्टिकल में गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex), गिल्ट कॉम्प्लेक्स से बचाव एवं इससे जुड़े महत्वपूर्ण सवालों का जवाब जानेंगे।
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- गिल्ट कॉम्प्लेक्स क्या है?
- क्या गिल्ट कॉम्प्लेक्स अलग-अलग तरह का होता है?
- गिल्ट कॉम्प्लेक्स के कारण क्या हो सकते हैं?
- गिल्ट कॉम्प्लेक्स से बचाव कैसे संभव है?
चलिए अब गलती महसूस करना (Feel at fault) एवं इससे जुड़े सवालों का जवाब जानते हैं, जिससे ऐसी स्थितियों से बचने या खुद को दूर रखने में मदद मिल सके।
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गिल्ट कॉम्प्लेक्स क्या है? (About Guilt Complex)
गिल्ट कॉम्प्लेक्स अगर इसे साधारण शब्दों में समझें तो गलती महसूस करना एक तरह का गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex) है। गिल्ट महसूस करना या किसी बारे में सोचना सामान्य है, लेकिन अगर ऐसी स्थिति लगातार बनी रहे तो इसकी वजह से शर्म (Shame) और चिंता (Anxiety) जैसी मेंटल इलनेस (Mental illness) व्यक्ति को अपना शिकार बना सकती है। गिल्ट कॉम्प्लेक्स अलग-अलग तरह के होते हैं जिनके बारे में आगे समझेंगे।
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क्या गिल्ट कॉम्प्लेक्स अलग-अलग तरह का होता है? (Types of Guilt Complex)
गलती महसूस करने के कई अलग-अलग प्रकार हैं। जैसे:
- नैचुरल गिल्ट (Natural guilt)- यदि आपने वास्तव में कोई गलती की है और आपने जो किया है उसके लिए आप बुरा महसूस करते हैं, तो अपराधबोध एक सामान्य प्रतिक्रिया है। दरअसल गिल्ट महसूस (Guilt feel) करने से आप आपने आप में बदलाव ला सकते हैं। उदाहरण के लिए आप किसी कार्रवाई के लिए माफी मांगकर या समस्याग्रस्त व्यवहार को बदलकर अपने अपराध बोध से छुटकारा पा सकते हैं। वहीं अगर गलती करने पर भी बुरा महसूस ना होना भविष्य में करने वाली गलतियों को बढ़ावा दे सकता है।
- मैलाडैप्टिव गिल्ट (Maladaptive guilt)- जब आप किसी ऐसी गलती के बारे में सोचने लगते हैं जिसपर आपका कंट्रोल ही ना हो तो ऐसी स्थिति मैलाडैप्टिव गिल्ट कहलाती है। इसे अगर आसान शब्दों में समझें तो किसी की चाहते हुए भी मदद ना कर पाना।
- गिल्टी थॉट्स (Guilty thoughts)- समय-समय पर हर किसी के मन में नकारात्मक या अनुचित विचार आ सकते हैं। कुछ लोगों में ऐसे विचार अपराध बोध की भावना पैदा कर सकती है। भले ही वे उन पर कार्रवाई न करें, उन्हें डर (Fear) हो सकता है कि इसका मतलब है कि वे करेंगे या डरते हैं कि दूसरों को उनके बुरे विचारों के बारे में पता चल जाएगा।
- एग्जिस्टेंशियल गिल्ट (Existential guilt)- एग्जिस्टेंशियल गिल्ट को जटिल माना गया है और अक्सर अन्याय पर अपराधबोध या किसी के सिद्धांतों के अनुसार न जीने के लिए अपराधबोध जैसी चीजों पर केंद्रित होता है।
अलग-अलग तरह के गिल्ट कॉम्प्लेक्स। चलिए अब गिल्ट कॉम्प्लेक्स के कारण को समझने की कोशिश करते हैं।
गिल्ट कॉम्प्लेक्स के कारण क्या हो सकते हैं? (Causes of Guilt Complex)
गिल्ट कॉम्प्लेक्स के कारण अलग-अलग हैं, जो इस प्रकार हैं-
- एंग्जाइटी (Anxiety)- अगर आप बहुत ज्यादा चिंता करते हैं, तो आप अपने आपको खुद ही नेगेटिविटी की ओर भेज रहें हैं और ऐसी स्थिति गिल्ट कॉम्प्लेक्स का कारण (Guilt Complex cause) भी बन सकती है।
- बचपन के अनुभव (Childhood experiences)- कुछ घरों में बच्चों को हमेशा उनकी गलती बताई जाती है और उन्हें किसी और से ना कहने की भी सलाह दी जाती है। ऐसी स्थिति भी गलती महसूस करना सामान्य है।
- संस्कृति (Culture)- अपनी संस्कृति के विपरीत काम करने पर भी मन में गलती महसूस हो सकती है या फिर किसी दबाव में आकार कोई काम करना भी आपको गिल्ट में डाल सकता है।
- धर्म (Religion)- कुछ धार्मिक कार्यों की वजह से भी गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex) की समस्या शुरू हो सकती है।
- सोशल प्रेशर (Social pressure)- कभी-कभी जब आपके काम के लिए या आपके द्वारा किये गए काम को नकारात्मक तरीके से जज किया जाए तो मन संकोच पैदा होने के साथ-साथ आप लोगों से अपने आपको अलग भी महसूस कर सकते हैं। ऐसी स्थिति भी गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex) का कारण बन सकती है।
ये हैं गिल्ट कॉम्प्लेक्स के अलग-अलग कारण। हालांकि यह इतनी बड़ी तकलीफ नहीं है, क्योंकि गिल्ट कॉम्प्लेक्स से बचाव किया जा सकता है।
गिल्ट कॉम्प्लेक्स से बचाव कैसे संभव है? (Tips to overcome feelings of Guilt)
गिल्ट कॉम्प्लेक्स से बचाव संभव है, लेकिन इसके लिए कुछ बातों को ध्यान रखना और फॉलो करना जरूरी है। जैसे:
- अगर आपको ऐसा लगता है कि आपने गलती की है, तो सॉरी या माफी (Sorry) मांगने से संकोच ना करें। ऐसा करने से आप दोबारा उस गलती को करने से बच सकते हैं।
- खुद को माफ करना भी सीखें।
- नेगेटिव थॉट्स (Negative thoughts) को दूर करें।
- अगर कोई गलती हो गई है, तो खुद को अन्य लोगों से अलग ना करें।
- अगर किसी गलती की सजा आपको दी जा रही है, तो उसे स्वीकार करें।
गिल्ट कॉम्प्लेक्स से बचाव के लिए इन पांच टिप्स को फॉलो किया जा सकता है। इसके साथ ही अपने द्वारा की गई गलती से उलट कुछ ऐसे कार्य करें जो जिससे आपकी पहचान अच्छी हो।
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वैसे अगर गिल्टी फील (Guilt feel) की वजह से व्यक्ति में नेगेटिव थॉट्स ज्यादा आ रहें हैं, तो मेंटल हेल्थ एक्सपर्ट से भी कंसल्ट करना जरूरी है। व्यक्ति की मनोदशा को समझते हुए डॉक्टर दवाएं (Medicine) प्रिस्क्राइब कर सकते हैं और जरूरत के अनुसार साइकोथेरिपी (Psychotherapy) की भी मदद ली जा सकती है।
नोट: अगर इलाज के दौरान डॉक्टर दवा प्रिस्क्राइब करते हैं, तो उसे डॉक्टर द्वारा बताये अनुसार ही लें और ध्यान रखें कि दवा की डोज भी उतनी ही होनी चाहिए जितनी डॉक्टर द्वारा बताई गई हो। अपनी मर्जी से दवा का सेवन कम, ज्यादा या बंद ना करें।
उम्मीद करते हैं कि आपको इस आर्टिकल में दी गई जानकारी महत्वपूर्ण लगी होगी और आपको गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex) से जुड़ी सभी जरूरी जानकारियां मिल गई होंगी। अगर आपके मन में गिल्ट कॉम्प्लेक्स (Guilt Complex) से जुड़े कोई अन्य सवाल हैं, तो आप हमारे फेसबुक पेज पर पूछ सकते हैं। हम आपके सभी सवालों के जवाब आपको कमेंट बॉक्स में देने की पूरी कोशिश करेंगे।
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