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फाइब्रॉएड असल में साधारण सी गांठ है, लेकिन ये कैंसर को भी शरीर में शरण दे सकता है। फाइब्रॉएड की कोशिका (cell) क्लोन बना लेती है, और शरीर में आकार में वृद्धि कर अनियंत्रित हो जाती है। विभाजित कोशिकाएं माइटोसिस नाम की एक प्रक्रिया से गुजरती हैं। माइटोटिक कोशिकाओं के नाभिक सामान्य कोशिकाओं की तुलना में अलग-अलग दिखाई देते हैं। पैथोलॉजिस्ट एक माइक्रोस्कोप के जरिये इन फाइब्रॉएड को देखते हैं और विभाजित कोशिकाओं की गिनती करते हैं, जिसे माइटोटिक आंकड़े भी कहा जाता है। तकनीकि भाषा में कहें तो जब हाई पावर लेंस के नीचे कम से कम दस माइटोटिक आंकड़ों की गिनती की जाती है, तो फाइब्रॉएड को कैंसर कहा जाता है।
यदि आपकी फाइब्रॉएड में कोई कैंसर की कोशिका छुपी है तो खतरे की बात है। गर्भाशय के फाइब्रॉएड का इलाज जरूरी है, इसे दवाओं के जरिये या सर्जरी के जरिये निकालना जरूरी है। फाइब्रॉएड में छुपे कैंसर की कोशिका को सर्जरी के जरिये ही निकाला जाता है, छोटा से छोटा कण भी दोबारा कैंसर को उभरने में मदद करता है। यदि फाइब्रॉएड सामान्य है तो डरने की जरूरत नहीं होती, लेकिन इसके लिए भी नियमित तौर पर परिक्षण और इलाज जरूरी होता है।