परिचय
एलेकेंपेन (Elecampane) क्या है?
एलेकेंपेन एक पौधा है। इसकी जड़ों का इस्तेमाल दवाइयां बनाने में होता है। यह पौधा चीन, मध्य और दक्षिणी यूरोप, हिमालय के पश्चिम में एशिया के ठंडे इलाकों और उत्तरी अमेरिका के पूर्वी और मध्य क्षेत्रों में पाया जाता है। यह Asteraceae फैमिली से है, जिसका साइंटिफिक नाम Inula Helenium है। यह नमी वाले घास के मैदानों, गीले चरागाहों, पुराने खेतों और जंगलों में भी पाया जाता है। इसका पेड़ 3 से 6 फीट तक लंबा हो सकता है। इसके तने नीचे से मोटे होते हैं और ऊपर सबसे पतले होते हैं। इसका फूल सूरजमुखी की तरह दिखाई देता है। जो पीले रंग के होते हैं और गर्मियों के मध्य में खिलते हैं। इसकी जड़ का इस्तेमाल खासतौर पर औषधि के तौर पर किया जाता है। इसका स्वाद कड़वा होता है।
उपयोग
एलेकेंपेन (Elecampane) का इस्तेमाल किस लिए होता है?
एलेकेंपेन में इनुलिन, म्यूसिलेज, वाष्पशील तेल (हेलेनिन, कैम्फर, एलांटोल), अलैंटोइक एसिड,थाइमोल, सेस्क्वाइटेरेन लैक्टोन (एलिसोलैक्टोन, आइसोएलेन्टोलैक्टोन) और ट्राइपटेनॉइड सैपोनिन की मात्रा पाई जाती है। जिसके गुणों की वजह से एलेकेंपेन (Elecampane) का इस्तेमाल निम्नलिखित परिस्थितियों में किया जाता है:
- पेट के कार्य में सुधारः प्राचीन यूनान में इसका इस्तेमाल पाचन संबंधी समस्याओं और मासिक धर्म संबंधी विकार के लिए किया जाता था।
- फेफड़ों की बीमारी जैसे अस्थमा की समस्या, ब्रोंकाइटिस और काली खांसी के इलाज मेंः इसकी जड़ें खांसी और अस्थमा के इलाज में उपयोग की जाती हैं। खांसी के दौरान होने वाली बलगम की समस्या को यह आसाली से दूर करता है।
- इसका इस्तेमाल श्वसन प्रणाली से जुड़ी समस्याओं के लिए भी किया जाता है। यह एक टॉनिक की तरह काम करता है।
- प्राचीन यूनान में इसका उपयोग परंपरागत रूप से क्रोनिक ब्रोंकाइटिस और ब्रोन्कियल अस्थमा के लिए एक विशिष्ट उपाय के रूप में किया जाता था।
- खांसी रोकने, विशेषकर टीबी की खांसी में बलगम की समस्या से राहत पाने के लिएः इसका इस्तेमाल काली खांसी और तपेदिक खांसी के इलाज के लिए किया जाता है।
- शोधों के मुताबिक यह टीबी के उपचार में भी लाभकारी हो सकता है।
- उबकाई और डायरिया के इलाज में।
- आंत में रहने वाले कीड़े जैसे हुकवर्म, राउंडवॉर्म, थ्रेडवर्म और व्हिपवॉर्म को मारने के लिए।
- पसीना लाने के लिए।
- एलेकेंपेन को अन्य स्थितियों में इस्तेमाल की सलाह दी जा सकती है। इसकी अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर या फार्मासिस्ट से सलाह लें।
यह कैसे कार्य करता है?
यह औषधि कैसे कार्य करती है, इस संबंध में पर्याप्त अध्ययन उपलब्ध नही हैं। हालांकि, ऐसे कई शोध उपलब्ध हैं, जो बताते हैं कि एलेंकेपेन में हेलेनिन नामक केमिकल होता है। यह आंत के कीड़ों को मारने में भी मदद करते हैं।
सावधानियां और चेतावनी
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एलेकेंपेन (Elecampane) का इस्तेमाल करने से पहले मुझे क्या पता होना चाहिए?
निम्नलिखित परिस्थितियों में इसका इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर या हर्बलिस्ट से सलाह लें:
- यदि आप प्रेग्नेंट या ब्रेस्टफीडिंग करा रही हैं। दोनों ही स्थितियों में सिर्फ डॉक्टर की सलाह पर ही दवा खानी चाहिए।
- यदि आप अन्य दवाइयां ले रही हैं। इसमें डॉक्टर की लिखी हुई और गैर लिखी हुई दवाइयां शामिल हैं, जो मार्केट में बिना डॉक्टर के प्रिस्क्रिप्शन के खरीद के लिए उपलब्ध हैं।
- यदि आपको एलेकेंपेन के किसी पदार्थ से एलर्जी है या अन्य दवा या औषधि से एलर्जी है। उदाहरण के लिए एलेकेंपेन उन लोगों में एलर्जिक रिएक्शन दिखा सकता है, जिन्हें एस्टरेसिआ/कंपोजिट (Asteraceae/Compositae) पौधों की प्रजाति से एलर्जी है। इस प्रजाति में रेगवीड (ragweed), गुलदाउदी (chrysanthemums), गेंदा (marigolds), डेसिज और अन्य पौधे शामिल हैं।
- यदि आपको कोई बीमारी, डिसऑर्डर या कोई अन्य मेडिकल कंडिशन जैसे डायबिटीज की बीमारी, हाई ब्लड प्रेशर या लो ब्लड प्रेशर है।
- यदि आपको फूड, डाई, प्रिजर्वेटिव्स या जानवरों से अन्य प्रकार की एलर्जी है।
अन्य दवाइयों के मुकाबले औषधियों के संबंध में रेग्युलेटरी नियम अधिक सख्त नही हैं। इनकी सुरक्षा का आंकलन करने के लिए अतिरिक्त अध्ययनों की आवश्यकता है। एलेकेंपेन का इस्तेमाल करने से पहले इसके खतरों की तुलना इसके फायदों से जरूर की जानी चाहिए। इसकी अधिक जानकारी के लिए अपने हर्बलिस्ट या डॉक्टर से सलाह लें।
एलेकेंपेन (Elecampane) कितना सुरक्षित है?
प्रेग्नेंसी और ब्रेस्टफीडिंग : गर्भावस्था या स्तनपान के दौरान एलेकेंपेन का सेवन कितना सुरक्षित है, इस संबंध में पर्याप्त विश्वसनीय जानकारी उपलब्ध नहीं है।
सर्जरी: तय सर्जरी से दो सप्ताह पहले एलेकेंपेन का सेवन बंद कर दें।
साइड इफेक्ट्स
एलेकेंपेन (Elecampane) से मुझे क्या साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं?
एलेकेंपेन से निम्नलिखित साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं:
- उल्टी
- डायरिया
- मरोड़
- लकवा
हालांकि, हर व्यक्ति को यह साइड इफेक्ट्स नहीं होता है। उपरोक्त दुष्प्रभाव के अलावा भी एलेकेंपेन के कुछ साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं, जिन्हें ऊपर सूचीबद्ध नहीं किया गया है। यदि आप इसके साइड इफेक्ट्स को लेकर चिंतित हैं तो अपने डॉक्टर या हर्बलिस्ट से सलाह लें।
रिएक्शन
एलेकेंपेन (Elecampane) से मुझे क्या रिएक्शन हो सकते हैं?
यह औषधि आपकी मौजूदा दवाइयों के साथ रिएक्शन कर सकती है या दवा का कार्य करने का तरीका परिवर्तित हो सकता है। इसका इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर या हर्बलिस्ट से संपर्क करें।
शामक दवाइयों (CNS को कम करने वालीं) के साथ एलेकेंपेन रिएक्शन कर सकती है। इन दवाइयों के साथ एलेकेंपेन का सेवन करने से आपको अधिक नींद आयेगी।
यह दवाइयां निम्नलिखित हैं:
- क्लोनाजेपम (क्लोनोपिन) clonazepam (Klonopin)
- लोराजेपम (एटिवान) lorazepam (Ativan)
- फेनोबारटिल (डोननाटल) phenobarbital (Donnatal)
- जोल्पिडेम (एम्बिएन) zolpidem (Ambien)
- अन्य दवाइयां
डोसेज
उपरोक्त जानकारी चिकित्सा सलाह का विकल्प नहीं हो सकती। इसका इस्तेमाल करने से पहले हमेशा अपने डॉक्टर या हर्बालिस्ट से सलाह लें।
एलेकेंपेन (Elecampane) का सामान्य डोज क्या है?
हर्बालिस्ट अक्सर निम्नलिखित डोज की सलाह देते हैं:
- सूखी जड़: 1.5 – 3 ग्राम या काढ़े के रूप में दिन में तीन बार।
- लिक्विड एक्स्ट्रैक्ट: 1:1 रेशियो के साथ 25% एल्कोहॉल में 1-2 ml दिन में तीन बार।
- घोल: 1:5 रोशियो 25% एल्कोहॉल में 3-5 ml दिन में 3 बार प्रतिदिन।
- खांसी के लिए सीरप: 10-20 ml डोज प्रतिदिन।
हर मरीज के मामले में औषधियों का डोज अलग हो सकता है। जो डोज आप ले रहे हैं वो आपकी उम्र, हेल्थ और दूसरे अन्य कारकों पर निर्भर करता है। औषधियां हमेशा ही सुरक्षित नहीं होती हैं। एलेकेंपेन के उपयुक्त डोज के लिए अपने डॉक्टर या हर्बलिस्ट से सलाह लें।
एलेकेंपेन (Elecampane) किन रूपों में आता है?
यह औषधि निम्नलिखित रूपों में उपलब्ध हो सकती है:
- सूखी जड़ें
- लिक्विड एक्स्ट्रैक्ट
- घोल
- सीरप
हम आशा करते हैं कि आपको इस आर्टिकल की जानकारी पसंद आई होगी और आपको एलेकेंपेन (Elecampane) से जुड़ी सभी जरूरी जानकारियां मिल गई होंगी। अगर आपके मन में अन्य कोई सवाल हैं तो आप हमारे फेसबुक पेज पर पूछ सकते हैं। आप हर्बल और जड़ी बूटी से संबंधित अधिक आर्टिकल पढ़ने के लिए आप हैलो स्वास्थ्य की वेबसाइट में विजिट कर सकते हैं। आप हैलो स्वास्थ्य के फेसबुक पेज में प्रश्न भी पूछ सकते हैं। हम आपको उत्तर देने की पूरी कोशिश करेंगे। बिना जानकारी या फिर सलाह किए जड़ी बूटी या हर्बल दवाओं का सेवन न करें, वरना आपके शरीर में दुष्प्रभाव भी हो सकते हैं।
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