दिल की धड़कन किन कारणों से तेज हो सकती हैं?
दिल की धड़कन तेज होने के कारण 1: तनाव
तनाव वाली स्थिति होने पर सिंपेथेटिक नर्वस सिस्टम और एड्रिनल ग्लैंड्स एपिनेफ्रीन हार्मोंस रिलीज करता है। इसके कारण दिल में मौजूद रिसेप्टर्स इस हार्मोन का रिस्पॉन्स करते हैं, जो दिल की धड़कन को बढ़ा देते हैं। तनाव शरीर के लिए बेहत हानिकारक होता है।
दिल की धड़कन तेज होने के कारण 2: एनीमिया
शरीर में आयरन की कमी के कारण एनीमिया की समस्या होना सबसे आम होती है। एनीमिया होने पर शरीर में लाल रक्क कोशिकाओं का निर्माण प्रभावित होता है। जिसके कारण दिल की धड़कन भी बढ़ने लगती है। आयरन की कमी शरीर में अन्य रोगों की भी वजह बन सकता है।
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दिल की धड़कन तेज होने के कारण 3: एरिथमिया
जब दिल की धड़कन को नियंत्रित करने वाले इलेक्ट्रिक वेव्स अपना काम ठीक से काम नहीं करते हैं, तो एरिथमिया की समस्या हो सकती है। इसकी वजह से दिल की धड़कन अनियमित हो जाती है। साथ ही, सीने, गले और गर्दन में दर्द का भी महसूस हो सकती है।
दिल की धड़कन तेज होने के कारण 4: एल्कोहॉल
कैफीन का उपयोग या एल्कोहॉल जैसी नशीली चीजों के सेवन से भी दिल की धड़कन बढ़ जाती है। अगर एल्कोहॉल का सेवन लगातार जारी रखा जाए तो हार्ट बीट तेज होने के साथ ही शरीर में अन्य बीमारियां होने का भी खतरा रहता है। वहीं कैफीन भी शरीर में लिए तब हानिकारक हो जाती है, जब अधिक मात्रा में ली जाती है।
दिल की धड़कन तेज होने के कारण 5: नाइट्रेट-सोडियम युक्त भोजन
कार्बोहाइड्रेट, वसायुक्त और अधिक शुगर वाले आहार अधिक खाने के कारण भी दिल की धड़कन बढ़ जाती है, क्योंकि इस तरह का आहार में नाइट्रेट और सोडियम की मात्रा अधिक होती है, जो दिल के लिए खतरे की घंटी बजा सकती है।
शरीर के अंदर बदलाव
जैसे उम्र बढ़ने पर होने वाले बदलाव चेहरे और त्वचा पर साफ देखे जा सकते हैं। वैसे ही शारीरिक में आंतरिक होने वाले बदलाव भी शरीर के अंदर कुछ परिवर्तन करते हैं। इसकी समस्या महिलाओं में अधिक होती है। जैसे, हार्मोंस में बदलाव, पीरियड्स में बदलाव और प्रेग्नेंसी की अवस्था। इसके अलावा, अगर प्रेग्नेंसी के दौरान पल्पिटेशन हो, तो यह एनीमिया की भी वजह हो सकती है।
तो बस अब अगर अगली बार आपके दिल की धड़कन तेजी से धड़के, तो सबसे पहले इसके पीछे की वजह को समझें। क्योंकि, आपकी एक भूल आपके स्वास्थ्य के लिए जोखिम साबित हो सकती है।