के द्वारा मेडिकली रिव्यूड Dr Sharayu Maknikar
उफोरेक्टमी (Oophorectomy) की सर्जरी की मदद से महिलाओं के एक या दोनों अंडाशय (ovaries) को हटाया जाता है। अंडाशय बादाम के आकार में होता है, जो कोख (pelvis) में गर्भाशय (uterus) के दोनों तरफ फालोपियन ट्यूब से जुडे होते हैं। अंडाशय में अंडे होते हैं और हार्मोन उत्पन्न करते हैं जो महिलाओं के मासिक धर्म के चक्र को नियंत्रित करने का कार्य करते हैं।
अगर उफोरेक्टमी सर्जरी के दौरान दोनों अंडाशय को निकाला जाता है, तो इसे बाइलैटरल उफोरेक्टमी (bilateral oophorectomy) कहा जाता है। लेकिन, अगर सर्जरी में केवल एक ही अंडाशय निकाला जाता है, तो उसे यूनिलैटरल उफोरेक्टमी (unilateral oophorectomy) कहा जाता है।
उफोरेक्टमी की मदद से अंडाशय के कैंसर (ovarian cancer) या एंडोमेट्रियोसिस (endometriosis) जैसी स्थितियों के उपचार करने में मददगार होता है।
निम्नलिखित स्वास्थ्य स्थितियों में उफोरेक्टमी या ओवरी रिमूवल सर्जरी के उपचार की आवश्यकता हो सकती हैः
और पढ़ेंः Ankle Fracture Surgery : एंकल फ्रैक्चर सर्जरी क्या है?
उफोरेक्टमी की प्रक्रिया हर किसी के लिए पूरी तरह से सुरक्षित नहीं हो सकती है। इसके जोखिम और सफल इलाज व्यक्ति के स्वास्थ्य स्थिति और सामान्य स्वास्थ्य जैसे कई अन्य स्थितियों पर भी निर्भर कर सकता है। इसके बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने चिकित्सक से परामर्श करें।
कुछ सामान्य साइड इफेक्ट्स में दर्द और खून बहने की समस्या हो सकती है।
ज्यादातर मामलों में उफोरेक्टमी की प्रक्रिया सुरक्षित और सफल देखी गई है। हालांकि, किसी भी तरह के सर्जिकल प्रक्रिया में कई जोखिम भी शामिल हो सकते हैं।
निम्नलिखित स्थितियां उफोरेक्टमी के जोखिमों में शामिल हो सकती हैंः
अगर आप मेनोपॉज से नहीं गुजरे हैं, तो दोनों अंडाशय निकाल दिए जाने पर आपको समय से पहले ही इसका अनुभव हो सकता है। यह अंडाशय में उत्पादित होने वाले एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन जैसे हार्मोन्स को शरीर में संचालित होने से रोकता है, जिसकी वजह से निम्न स्थितियों की समस्या हो सकती हैः
इन समस्याओं के जोखिमों को कम करने के लिए सर्जरी के बाद और 50 साल की उम्र तक हार्मोन रिप्लेसमेंट दवाओं की कम से कम खुराक लेनी चाहिए। लेकिन हार्मोन रिप्लेसमेंट थेरिपी के भी कुछ जोखिम हो सकते हैं। इसके बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से बात करें।
उफोरेक्टमी की प्रक्रिया से गुजरने से पहले इससे जुड़े सभी जोखिमों और लाभों के बारे में अपने डॉक्टर से बात करें।
उफोरेक्टमी की तैयारी के लिए, आपका डॉक्टर आपको कुछ जरूरी निर्देश दे सकता है, जैसे:
उफोरेक्टमी सर्जरी के बाद आपको कुछ दिनों के लिए अस्पताल में रहने की जरूरत हो सकती है। आपको इस उपचार के लिए कितने समय तक अस्पताल में रहना पड़ सकता है यह आपकी सर्जरी के कारण और प्रक्रिया पर निर्भर करता है।
अस्पताल जाने से पहले इन वस्तुओं की भी पैकिंग करनी जरूरी हो सकती हैः
अगर आप इस सर्जरी के बाद मां बनने का विचार करना चाहती हैं तो सर्जरी से पहले ही इसके बारे में अपने डॉक्टर से इसके बारे में बात करें। क्योंकि, अगर आप इसके बाद भी मां बनना चाहती हैं तो एक अंडाशय का रहना बेहद जरूरी होता है। क्योंकि, सिर्फ एक अंडाशय की मदद से भी आप अपने मासिक धर्म चक्र को बरकरार रख सकती हैं और प्रेग्नेंट भी हो सकती हैं।
अगर आपके दोनों अंडाशय इस प्रक्रिया में हटा दिए जाते हैं लेकिन आपका गर्भाशय बना रहता है, तो ऐसी स्थिति में भी आप कुछ प्रजनन तकनीकों की मदद से गर्भ धारण कर सकती हैं। इसके बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने चिकित्सक से बात करें।
इस ऑपरेशन सर्जरी के दौरान बहुत ही बारीकियों का ध्यान रखना होता है। जो एक घंटे से लेकर चार घंटों में पूरा हो सकता है।
सर्जरी करने के लिए पेट पर एक सीधा और एक आड़ा चीरा लगाया जाता है। सीधे चीरे की मदद से सर्जन को देखने में आसानी होती है।
सर्जरी के दौरान सर्जन सबसे पहले अंडाशय को देखने के लिए पेट की मांसपेशियों को अलग करेंगे। इसके बाद, खून की नसों से खून के बहाव को रोकने के लिए इसे बांधते हैं। फिर गर्भाशय से अंडाशय निकालने के बाद, पेट पर लगाए गए चीरों को स्टेपल या स्टिच की मदद से सिल देते हैं।
यह सर्जरी लैप्रोस्कोप के साथ भी किया जा सकता है। आपके अंगो की देखरेख करने के लिए सर्जन एक छोटे कैमरे की मदद से ले सकते हैं।
इस प्रक्रिया में, लेप्रोस्कोप को नाभि के पास एक छोटे चीरे के अंदर में डाला जाता है। आपका सर्जन खून की नसों को बंद करने के लिए कुछ और छोटे-छोटे चीरे लगा सकता है। वे आपके अंडाशय को आपकी योनि के मार्ग से या पेट के ऊपर छोटे चीरे की मदद से बाहर निकालते हैं। यह प्रक्रिया पूरी होने के बाद वे चीरों की सिलाई कर देंगे।
पेट की सर्जरी के लिए, आपका डॉकट्र आपको लोकल एनेस्थिया की खुराक देंगे।
और पढ़ेंः Fissure treatment: बिना सर्जरी के फिशर ट्रीटमेंट कैसे होता है?
इस प्रक्रिया के बाद, आपको एक या दो घंटों तक रिकवरी रूम में रखा जाएगा। जब एनेस्थिया के खुराक का असर खत्म हो जाएगा, तब आपको सामान्य कमरे में शिफ्ट कर दिया जाएगा।
सर्जरी वाले दिन ही आपको बैठने, खड़े होने और थोड़ा टहलने के लिए कहा जाएगा। सर्जरी के बाद आपको कुछ समय के लिए आपको कैथेटर दिया जाएगा। अगर सारी स्थिति सामान्य और बेहतर रहती है तो आपकी नसों में लगे IV को अगले दिन हटाया जा सकता है।
हालांकि, आपको अगले एक या दो दिनों के लिए अस्पताल में ही रहना होगा। लेप्रोस्कोप सर्जरी के कारण आपको अगले कुछ दिनों तक कभी-कभी दर्द भी हो सकता है।
अगर इससे जुड़ा आपका कोई सवाल है तो आपके डॉक्टर या सर्जन से इस बारे में बात करें।
[mc4wp_form id=’183492″]
अस्पताल से डिसचार्ज करने से पहले आपको अपना ख्याल कैसे रखना है इसके लिए आपको पोस्ट ऑपरेटिव निर्देश दिए जाएंगे। साथ ही, इस सर्जरी के बाद आपको कब तक अपने साथी के साथ शारीरिक तौर पर संबंध नहीं बनाना चाहिए इसके बारे में भी जरूरी निर्देश दे सकता है।
और पढ़ेंः Rhinoplasty: नाक की सर्जरी क्या है?
अपने डॉक्टर को तुरंत बताएं अगर आपकोः
रिकवरी के समय के दौरान अपने चिकित्सक द्वारा के दिए गए जरूरी निर्देशों का पालन करें। अपने शरीर का ख्याल रखें और भरपूर आराम करें। आपको किस तरह के भाजन खाने चाहिए इसके बारे में अपने डॉक्टर से जानकारी लें। हर दिन थोड़ी-थोड़ी देर के लिए घूमे-फिरे, इससे शरीर में खून के थक्कों नहीं जमेंगे।
डिस्क्लेमर
हैलो हेल्थ ग्रुप हेल्थ सलाह, निदान और इलाज इत्यादि सेवाएं नहीं देता।
के द्वारा मेडिकली रिव्यूड
Dr Sharayu Maknikar