के द्वारा एक्स्पर्टली रिव्यूड डॉ. पूजा दाफळ · Hello Swasthya
ओसवेगो चाय एक पौधे से बनाई जाती है। इसका दूसरा नाम मोनार्डा भी है। यह पेड़ नॉर्थ अमेरिका में पाया जाता है। इसमें लाल और गुलाबी रंग के फूल उगते हैं। इसमें मिंट जैसा स्वाद होता है। इससे बनी चाय का इस्तेमाल लोग दवाई के रूप में करते हैं। यह चाय कई बीमारियों को ठीक करने में कारगर है। यह पेट की बीमारी, बुखार, और ऐंठन जैसी बीमारियों का इलाज कर सकती हैं। महिलाएं इस चाय का इस्तेमाल उस समय भी करती हैं जब वे पीरियड को समय से पहले चाहती हैं। ओसवेगो चाय जैसी ही है एक और चाय होती है जिसका नाम लेमन बाम होता है। अक्सर लोग इन दोनों चाय में कंफ्यूज हो जाते हैं। क्योंकि ओसवेगो चाय का दूसरा नाम बी बाम “bee balm” भी है।
इसका उपयोग निम्नलिखित शारीरिक परेशानी को दूर करने के लिए किया जा सकता है। जैसे:-
इन ऊपर बताई गई शारीरिक परेशानियों को दूर करने के लिए इस चाय का सेवन किया जा सकता है लेकिन, बेहतर होगा अगर किसी एक्सपर्ट से इसके सेवन से पहले एक बार सलाह ले ली जाए।
और पढ़ें: Buchu: बुचु क्या है?
ओसवागो चाय का उपयोग करना सुरक्षित है या फिर नहीं, इस बारे में अधिक जानकारी उपबल्ध नहीं है। साथ ही इस विषय में अधिक शोध भी नहीं किया गया है। हर्बल टी का उपयोग करने से पहले आपको पहले इससे संबंधित सभी जानकारियों को जान लेना चाहिए।
और पढ़ें: Green Coffee: ग्रीन कॉफी क्या है?
इस चाय के सेवन से निम्नलिखित साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं। जैसे:-
ओसवेगो चाय का इस्तेमाल पीरियडस के लिए किया जाता है। जड़ी-बूटी से जुड़े जानकारों की मानें तो इसके सेवन से मासिक धर्म समय पर आता है।
गर्भवती महिलाओं को इसका सेवन नहीं करना चाहिए। दरअसल रिसर्च के अनुसार इसके सेवन से पीरियड्स आने की संभावना बनी रहती है। पीरियड्स आने की वजह से मिसकैरिज का खतरा हो सकता है। इसलिए अगर आप बेबी प्लानिंग कर रहीं हैं या गर्भधारण कर चुकी हैं तो ओसवेगो चाय का सेवन न करें।
स्तनपान करवाने वाली महिलाओं को भी इस चाय के सेवन से परहेज करना चाहिए। इससे नवजात की सेहत पर बुरा प्रभाव पड़ सकता है।
जिन बीमारियों के लिए ओसवेगो चाय का इस्तेमाल होता है, उससे पता चलता है कि इसकी तासीर गर्म होती है।
ज्यादा मात्रा में लेने पर इससे शरीर में छाले निकल सकते हैं।
वैसे इसके सेवन से पहले एक बार हेल्थ एक्सपर्ट से सलाह लेना अच्छे स्वास्थ्य के लिए लाभकारी होगा।
[mc4wp_form id=’183492″]
और पढ़ें: Oolong Tea: ओलोंग चाय क्या है?
ओसवेगो चाय के सेवन से पहले किसी भी डॉक्टर से इसकी डोसेज की जानकारी लें। क्योंकि हर व्यक्ति के शरीर की बनावट अलग होती है और बॉडी स्ट्रक्चर के अनुसार ही इसका सेवन करना लाभकारी माना जाता है।
और पढ़ें: Rooibos tea: रूइबोस चाय क्या है?
यह निम्नलिखित रूपों में उपलब्ध है। जैसे:-
इस चाय के पौधे से जुड़ी कुछ खास जानकारी:
इस पौधे से फूल जून से अगस्त महीने तक आते हैं
इसमें लाल रंग के फूल होते हैं
36 से 48 इंच इस पौधे की लंबाई होती है
यह पौधा 26 से 36 इंच तक फैलता है
हल्की धूंप और छांव में यह पौधा होता है
हर्बल टी की श्रेणी में आने वाली चाय का सेवन समझदारी के साथ करना चाहिए। हेल्थ एक्सपर्ट्स के अनुसार किसी भी हर्बल टी का सेवन संतुलित करना चाहिए। इसलिए एक दिन में दो या तीन कप से ज्यादा चाय का सेवन न करें। यह भी ध्यान रखना चाहिए की हर्बल टी अब चाहे ग्रीन टी हो या चाय हो या कॉफी इनमें से किसी का भी सेवन देर शाम करना सेहत के लिए नुकसानदायक माना जाता है।
इसलिए बेहतर होगा की शाम 4 से 5 बजे तक ही इनका सेवन करें। कुछ रिसर्च के अनुसार देर शाम किसी भी तरह के चाय का सेवन करने से नींद आने में परेशानी हो सकती है और हेल्दी हेल्थ के लिए साउंड स्लीप की भी अहम भूमिका होती है। इसलिए इन सभी बातों को ध्यान में रखकर ही इसका सेवन करें।
उपरोक्त दी गई जानकारी चिकित्सा सलाह का विकल्प नहीं है। अगर आप ओसवेगो चाय से जुड़े किसी तरह के कोई सवाल का जवाब जानना चाहते हैं तो विशेषज्ञों से समझना बेहतर होगा।हैलो हेल्थ ग्रुप किसी भी तरह की मेडिकल एडवाइस, इलाज और जांच की सलाह नहीं देता है।
डिस्क्लेमर
हैलो हेल्थ ग्रुप हेल्थ सलाह, निदान और इलाज इत्यादि सेवाएं नहीं देता।