सिर और मस्तिष्क भी हमारे शरीर का बहुत महत्वपूर्ण अंगों में से एक है। इसमें लगने वाली चोट हमारे पूरे शरीर को प्रभावित कर सकती है, यहां तक कि बात हमारे जान पर भी आ सकती है। डॉक्टर्स की मानें तो सिर पर लगने वाली चोट काफी खतरनाक होती है। कई बार इससे इंसान अपाहिज हो सकता है। यहां तक कि उसे आंखों की रोशनी भी जा सकती है। आज हम यहां बात करेंगे। स्कल फ्रैक्चर की यानि की सिर की हड्डी में होने वाला फ्रैक्चर। जिसे हम ब्रेन इज्यूरी भी कहते हैं।
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स्कल फ्रैक्चर (Skull Fractures) क्या है?
खोपड़ी की हड्डी के फ्रैक्चर को स्कल फ्रैक्चर (Skull Fractures) भी कहते हैं। यह कई प्रकार के हो सकते हैं, जैसे कि लाइनर फ्रैक्चर,ओपन फ्रैक्चर और क्लोज्ड फ्रैक्चर। वैसे स्कल फ्रैक्चर होना इतना आसान नहीं, बहुत ही गंभीर स्थितियों में, जैसे कि गंभीर चोट या एक्सीडेंट के दौरान ऐसा होता है।
स्कल फ्रैक्चर के दौरान निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना आवश्यक है, जैसे कि:
- फ्रैक्चर कितना गहरा हुआ है
- अगर ब्लीडिंग हो रही हो
- सिर की त्वचा फट जाने पर
- नाक या कान से खून आने पर
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स्कल फ्रैक्चर के लक्षण (Symptoms of skull fractures)
स्कल फ्रैक्चर यानि कि सिर की चोट होने पर मरीज में कई तरह के लक्षण दिखाई दे सकते हैं। लेकिन यह जरूरी नहीं है कि सभी लक्षण स्कल फ्रैक्चर के ही हों, और भी किसी समस्या के हो सकते हैं। लेकिन सिर में चोट लगने पर इन लक्षणों को भी अनदेखा नहीं किया जा सकता है, जैसे कि:
- ब्लीडिंग (Bleeding) होना
- कान, नाक या आंखों से खून आना
- नाक या कान से फ्लूइड आना
- कान के पीछे या आंखों के नीचे चोट लगना
- उलझन या चिड़चिड़ाहट महसूस करना
- बोलने यानि कि बातचीत में कठनाई होना
- बैलेंस बनाए रखने में दिक्कत होना
- खाने को निगलने में कठनाई होना
- धुंदला दिखायी देना
- उल्टी जैसा महसूस होना
- सूजन
- सांस लेने में तकलीफ
- अनकॉनश्यिस महसूस करना
- प्रभावित जगह में सूजन होना
- पल्स का धीमा होना
- चेहरे से कमजोरी महसूस होना
- लॉस ऑफ बाउल सिंड्रोम
इस तरह के लक्षण महसूस होने पर जरूरी है कि आप डॉक्टर से मिलें। सिर की चोट काे कभी भी हल्के में नहीं लेना चाहिए।
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स्कल फ्रैक्चर के कारण (What are the causes)?
स्क्ल फ्रैक्चर बहुत ही गंभीर मामालों में हो सकता है। खोपड़ी के फ्रैक्चर का कारण बनने वाली चोटों में शामिल हैं:
बहुत तेजी से गिरने पर (heavy falls)
कार से एक्सिडेंट होने पर (car accidents)
स्पोर्ट इंज्यूरी होने पर (sports injuries)
कोई अन्य फिजिकल कारण (physical assault)
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स्कल फ्रैक्चर के प्रकार (Types of skull fractures)
स्क्ल फैक्चर अलग-अलग कारणों के चलते कई प्रकार के हो सकते हैं। सभी प्रकार के फ्रैक्चर इस बात पर निर्भर करता है कि यह इंज्यूरी हुई कैसे है।
क्लोज्ड फ्रैक्चर (Closed fracture):सिंपल फ्रैक्चर को क्लोज्ड फ्रैक्चर कहा जाता है । इसमें सिर की त्वचा कटती या फटती नहीं है। इसमें त्वचा सुरक्षा कवच का काम करती है।
ओपन फ्रैक्चर (Open fracture): ओपन फ्रैक्चर को कंपाउंड फ्रैक्चर भी कहते हैं। इसमें त्वचा फट जाती है और हड्डी बाहर की तरफ निकली हुई होती है।
लाइनर फ्रैक्चर (Linear fracture): यह फ्रैक्चर तब होता है, जब सिर की हड्डी में फ्रैक्चर की हल्की से लाइनिंग आयी होती है। फ्रैक्चर ज्यादा गहरा नहीं होता है।
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स्कल फ्रैक्चर का निदान कैसे किया जाता है?
चूंकि स्क्ल के फ्रैक्चर काफी गंभीर होते हैं, इसलिए इलाज के लिए डॉक्टर के पास जाना जरूरी होता है।
- डॉक्टर आपको पुतलियों की जाँच करके उनमें लाइट से चैक कर के यह भी देखेंगे कि क्या पुतली में सिकुड़न तो नहीं है। उसमें सिकुड़न होना, गभीर फ्रैक्चर का संकेत हो सकता है।
- इसी के साथ ही डॉक्टर कॉर्डिएक और प्लोमनरी फंक्शन की जांच से शुरू करेंगे। न्यूरोलॉजिकल तौर पर डॉक्टर आपके पूरे शरीर का परिक्षण करेंगे। इसी के साथ वो यह भी चैक करेेगे कि फ्रैक्चर कितना गहरा है।
- डॉक्टर सिर की चोट की जांच के लिए ग्लासगो कोमा स्केल (जीसीएस) का इस्तेमाल कर सकते हैं। यह मरीज की मानसिक स्थिति का परीक्षण करने में साहयक है। जीसीएस स्कोर ज्यादा है, तो उस स्थिति मतें चोट ज्यादा गंभीर नहीं है।
- आपको एक न्यूरोलॉजिकल परीक्षण भी करवाने की जरूरत पड़ सकती है। इसमें आपका डॉक्टर आपकी शरीरिक क्षमता, आंखों की गति और अन्य टेस्ट होंगे।
- खोपड़ी के फ्रैक्चर की जांच के लिए अन्य परीक्षणों में सीटी स्कैन, एक्स-रे या एमआरआई स्कैन शामिल हो सकते हैं। सीटी स्कैन की सहायता से आपके डॉक्टर को फ्रैक्चर, रक्तस्राव, क्लॉटेज, ब्रेन में सूजन और अन्य चोटों की जांच करने में मदद मिलेंगी।
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स्कल फ्रैक्चर का इलाज कैसे होता है?
स्कल फ्रैक्चर के इलाज चोट की गंभीरता पर निर्भर करता है। अक्सर इसके कोई गंभीर लक्षण नजर नहीं आते हैं। इन मामलों में, आपको दर्द के लिए एसिटामिनोफेन (टाइलेनॉल) टैबलेट की सलाह डॉक्टर को दे सकते हैं। डॉक्टर ऐसे मामालों में कुछ चीजें कर सकते हैं।
- यह देखने के लिए जाँच करें कि क्या व्यक्ति सांस ले रहा है और यदि नहीं, तो सीपीआर शुरू करेंगे। यह मरीज की जान बचाने के लिए जरूरी है।
- ऐसे में व्यक्ति को ज्यादा बार-बार हिलाने से बचाव, खासतौर पर उसकी सिर और गर्दन
- अगर ब्लीडिंग हो रही है, तो उसे रोकने के लिए पहले जरूरी ट्र्रीटमेंट देंगे। नहीं तो पेशेंट की जान काे खतरा हो सकता है।
- यदि आपकी चोट बहुत गंभीर है तो आपको कोमा से बचाने के लिए दवा दी जा सकती है। कुछ मामलाें में मेडिकेशन से काफी आराम मिल सकता है।
- जब आप कोमा में होते हैं, तो आपके मस्तिष्क को उतनी ऑक्सीजन और पोषक तत्वों की आवश्यकता नहीं होती जितनी कि आम इलाज में होती है।
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ट्रीटमेंट (Treatment)
- इसके अलावा स्क्ल फ्रैक्चर का इलाज इस बात पर निर्भर करता है कि फ्रैक्चर कितना गहरा है। इसका इलाज बहुत सारे फैक्टर्स पर निर्भर करता है, जैसे कि डॉक्टर पहले मरीज की उम्र, उनकी हेल्थ, पहले से चल रही मेडिकेशन, पहले किसी प्रकार का हो चुका फ्रैक्चर या कोई ब्रेन डिजीज या इंज्यूरी। इस बात की जांच करेंगे।
- अगर मैेजर स्कल फ्रैक्चर नहीं है, तो बहुत ज्यादा दर्द और दिक्कत नहीं होती है। समय के साथ चोट भरती रहती है। बस डॉक्टर द्वारा दिए गए निर्देशों का पालन करना जरूरी है। गंभीरमामालों में डॉक्टर पेन किलर के अलावा अन्य कई और कई मेडिसन चला सकते हैं।
- अगर फ्रैक्चर बहुत गहरा है, यानि के आंख या बैक बोन के हिस्से के पास तक पहुंच गया है, तो डॉक्टर सर्जरी की सलाह देंगे। इसका अपने आप ठीक होना मुश्किल है।
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स्क्ल फ्रैक्चर होने पर फस्ट एड
- सबसे पहले यह चैक करें कि पीडित व्यक्ति की सांस चल रही है।
- मरीज को बार-बार हिलाने से बचें। नहीं तो उनका दर्द और बढ़ेंगा।
- ब्लीडिंग के बहाब को राेकने के लिए किसी साफ कपड़े या कॉटन का इस्तेमाल करें। हायजीन का पूरा ध्यान रखें, नहीं तो इंफेक्शन का खतरा ज्यादा होगा।
- चाेट की जगह निकली हुड्डी को छुने से बचें।
- उस समय उल्टी महसूस होने पर उसे झुककर उल्टी न करने दें।
- उन्हें कुछ खिलाएं या पानी न पिलाएं।
- जल्द से जल्द डॉकटर के पास पहुंचने की कोशिश करें।
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स्क्ल फ्रैक्चर होने पर आपको तुरंत डॉक्टर से मिलना चाहिए, इसके किसी प्रकार की देरी नहीं करनी चाहिए। इसका एस्ड एड इलाज भी ध्यानपूवर्क करें, ताकि ब्लीडिंग को रोका जा सके। अधिक जानकारी के लिए अपने डाॅक्टर से मिलें। स्कल फ्रैक्चर में आराम और सही समय पर दवा बहुत जरूरी है। इसमें बिल्कुल भी लापरवाही नहीं करनी चाहिए। इसके अलावा डॉक्टर ने जितना आराम करने के लिए बोला है। उसे पूरा करना चाहिए। जैसा कि अधिकतर स्क्ल फ्रैक्चर की रिकवरी धीरे-धीरे समय के साथ होती है। इसलिए आराम और डॉक्टर के निर्देशों का पालन बहुत जरूरी है। अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से बात करें।