के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील · फार्मेसी · Hello Swasthya
बढ़ती उम्र के साथ पुरुषों में भी कई तरह की हेल्थ प्रॉब्लम बढ़ जाती हैं, जिसमें से एक है, प्रोस्टेट की प्रॉब्लम। इसके शिकार हर सात में से एक पुरुष जरुर देखने को मिलते हैं। प्रोस्टेट प्रॉब्लम पुरुषाें की सेक्स लाइफ और यूरिन प्रॉब्लम दोनों से जुड़ी हुई है। जिसका समय रहते इलाज बहुत जरूरी है। पुरुषों में बढ़ता हुआ प्रोस्टेट, उनमें प्रोस्टेट कैंसर का कारण भी बन सकता है। ये जरूरी नहीं है कि लार्ज प्रोस्टेट का मलतब प्रोस्टेट कैंसर से ही हो। यह उनमें बीपीएच यानि कि बिनाइन प्रोस्टेटिक हाइपरप्लेसिया (benign prostatic hyperplasia) की समस्या का संकेत भी हो सकता है। यह डॉक्टर द्वारा ही पता चल सकता है कि आपको दोनों में से क्या समस्या हुई है। वैसे प्रोस्टेट कैंसर की शुरुआत में पता नहीं चलता है, इसका पता अक्सर एडवांस स्टेज में ही जाकर ही चलता है। इसलिए दोनों समस्याओं में अंतर पहचान पाना जरूरी है। आइए, जानते हैं बीपीएच और प्रोस्टेट कैंसर में क्या अंतर है।
प्रोस्टेट पुरुषों में पायी जाने वाली एक ग्रंथि है, जो कि अखरोट के आकार की होती है और पुरुषों में सीमेन का निमार्ण करती है। यह ग्रंथि उनके मूत्रमार्ग के पास होती है। पुरुषों को प्रोस्टेट ग्लैंड में तीन तरह की समस्याएं हो सकती है, प्रोस्टेट कैंसर (prostate cancer), बिनाइन प्रोस्टेटिक हाइपरप्लेसिया (benign prostatic hyperplasia) और प्रोस्टेटिटिस (prostatitis)। प्रोस्टेट पुरुषों में पायी जाने वाली एक ग्रंथि है, जो कि अन्य कई छोटी ग्रन्थियों से मिलकर बनती हैं। प्रोस्टेट प्रॉब्ल्म होने पर सबसे ज्यादा यूरिन की समस्या होती है। आज हम यहां बात कर रहे हैं, प्रोस्टेट कैंसर और बीपीएच की, ये समस्या हर 7 पुरुषों में से एक में देखी जाती है।
इन दोनों में सबसे बड़ा अंतर यह है कि प्रोस्टेट कैंसर में कैंसर होता है, लेकिन बीपीएच में कैंसर नहीं होता है। प्रोस्टेट कैंसर में ग्लैंड का आकार धीरे-धीरे बढ़ने लगता है और इसके ट्रीटमेंट के लिए सर्जरी की आवश्यकता होती है, पर बीपीएच में ऐसा नहीं है। किसी पुरुष में प्रोस्टेट की प्रॉब्लम को पता लगाने के लिए डॉक्टर सबसे पहले पीएसए ब्लड टेस्ट की सलाह देते हैं।
बीपीएच और प्रोस्टेट कैंसर के लक्षण लगभग मिलते जुलते हैं, कई बार उन्हें अलग-अलग पहचाना मुश्किल होता है। पुरुषों में कई कारणों से प्रोस्टेट बढ़ जाते है। इसके बढ़ने का सबसे बड़ा कारण पुरुषों की बढ़ती उम्र है। इसके अलावा उनकी लाइफ स्टाइल भी। बढ़ता प्रोस्टेट मूत्रमार्ग को प्रभावित करता है। इसका प्रेशर यूरिन की नली में प्रेशर पड़ता है। इसके अलावा इन कुछ लक्ष्णों के तरफ भी गौर करना चाहिए।
पुरुषों में होने वाले बिनाइन प्रोस्टेटिक हाइपरप्लेसिया (benign prostatic hyperplasia) के लक्षण कुछ इस प्रकार हैं:
यदि आपको प्रोस्टेट कैंसर है, तो आपमें इस तरह के लक्षण नजर आ सकते हैं, जैसे कि:
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बढ़ती उम्र के साथ पुरुषों में यह समस्या हो जाना आम है। डॉक्टर को भी इसका असल तथ्य नहीं पता है कि यह बढ़ती उम्र के साथ क्यों होता है। इसे पुरुषों के शरीर में बढ़ने वाले हॉर्मोन से जोड़ा गया है। इसमें कैंसर की शुरुआत तब होती है। जब कोशिकाओं का आसामान्य निमार्ण होता है और यह कैंसर डीएनए में परिवर्तन के कारण होता है।
इन दोनो के ही रिस्क फैक्टर पुरुषों की बढ़ती उम्र है। इसके अलावा कुछ और चीजें भी इसके रिस्क को बढ़ा देती हैं,जानें क्या
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प्रोस्टेट कैंसर की जांच के लिए डॉक्टर आपको सलाह दे सकते हैं:
बीपीएच की जांच (diagnose BPH) की जांच के लिए डॉक्टर यह सलाह दे सकते हैं:
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डॉक्टर सर्जरी की भी सलाह दे सकते हैं
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प्रोस्टेट कैंसर का इलाज
डॉक्टर प्रोस्टेट कैंसर के इलाज के लिए निम्नलिखत उपचार अपना सकते हैं, जैसे कि:
पुरुषों में बढ़ता हुआ प्रोस्टेट आगे चलकर प्रोस्टेट कैंसर का कारण न बन जाए इसलिए इसका समय रहते इलाज बहुत जरूरी है। ऊपर दिए गए लक्षणों के अलावा और बहुत से लक्षण भी पुरुषों में दिख सकते हैं। इसकी अधिक जानकारी के लिए आपको डॉक्टर से मिलना चाहिए और समय रहते इसका इलाज करवाना चाहिए।
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