नताशा शर्मा का 3 साल का बेटा बहुत चंचल और बातूनी था। लेकिन पहले दिन स्कूल से आने के बाद अचानक अयान ने बात करना बंद कर दिया। उसे बहुत तेज़ बुखार हो गया और वह कुछ खा भी नहीं रहा था। अयान की मां का कहना है कि, ‘जब भी कोई उससे मिलने आता वह चिढ़ जाता और उन्हें वहां से जाने के लिए कहता।’ वह अपने पंसदीदा खाना भी नहीं खा रहा था। वह नॉर्मल पानी भी नहीं पी रहा था, लेकिन मीठा और फ्लेवर वाला पानी पी रहा था। उसकी मां को लगा कि यह सामान्य है, इसलिए उन्होंने ज्यादा ध्यान नहीं दिया।
जब भी नताशा उससे बात करने या कुछ खिलाने की कोशिश करती वह शर्माकर अपना मुंह ढंक लेता था। वह स्कूल नहीं जाना चाहता था और पूरे दिन बस सोते रहता था। अगले दिन स्कूल जाने पर नताशा को एक पैरेंट से पता चला कि अयान के क्लास के दो बच्चों ने उसके साथ लड़ाई की और उसे धक्का दिया। इस बारे में नताशा ने प्रिंसिपल से बात की और प्रिंसिपल ने मामले को देखने की बात कही। घर आने पर इस बारे में नताशा ने अयान से बात कि लेकिन वह चुप रहा। बहुत पूछने पर जब इतना कहा कि वह उन लड़कों को पसंद नहीं करता जिसने उसके साथ लड़ाई की। फिर उसने अपनी जीभ दिखाई और दर्द व जलन होने की बात कही। अयान की जीभ पर अल्सर देखकर नताशा घबरा गई और उसे तुरंत डॉक्टर के पास ले गई।
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बच्चों में एपथस अल्सर क्या है?
जब नताशा ने अयान की स्थिति के बारे में बताया तो उससे पता चला कि यह एपथस अल्सर है। बच्चों में एपथस अल्सर माउथ अल्सर को ही कहते हैं। बच्चों में एपथस अल्सर छोटे, नरम घाव जैसे होते हैं जो मुंह के सॉफ्ट टिशू या मसूड़ों के बेस पर दिखाई देते हैं। बच्चों में एपथस अल्सर संक्रामक नहीं होते, लेकिन बहुत दर्दनाक होता है जिस वजह से खाने और बात करने में तकलीफ होती है। अयान को होम्योपैथी दवा दी गई जिससे वह 2 दिन में ठीक हो गया और सामान्य रूप से खाने, बोलने और खेलने लगा।
बच्चों में एपथस अल्सर (मुंह के छाले) का कारण
हालांकि बच्चों में एपथस अल्सर यानी मुंह के छालों का सही कारण पता नहीं चल पाया है, लेकिन निम्न वजहों से छाले हो सकते हैं, जिनमें शामिल हैंः
ट्रॉमा (Troma)
डेंटल ट्रीटमेंट के दौरान किसी तरह की चोट, जोर से ब्रश करना, खेल के दौरान चोट लगना और गाल पर दांत के काटने से भी बच्चों में एपथस अल्सर (माउथ अल्सर) की समस्या हो सकती है।
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फूड सेंसिटिविटी (Food sensitivity)
कुछ खाद्य पदार्थ, जैसे- चॉकलेट, कॉफी, स्ट्रॉवबेरी, अंडा, नट्स, चीज, ब्रेड, मसालेदार और गरम भोजन आदि इरिटेंट के रूप में काम करते हैं, जिससे भी बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या हो सकती है।
ईमोशनल स्ट्रेस (Emotional stress)
स्ट्रेस हर रूप में शरीर के लिए नुकसानदायक होता है। इसका एक हानिकारक प्रभाव बच्चों में एपथस अल्सर के रूप में भी दिखाई दे सकता है।
अपर्याप्त पोषण (Deficiency of nutrition)
बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या दूर करने के लिए उन्हें आहार और डायट में विटामिन बी12, जिक, फोलेट, आयरन आदि की भरपूर मात्रा शामिल करें। इनकी कमी के कारण भी बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या हो सकती है।
हेलिकोबैक्टर पाइलोरी (Helicobacter pylori)
हेलिकोबैक्टर पाइलोरी (Helicobacter pylori) वही बैक्टीरिया है जो पेट के अल्सर के लिए जिम्मेदार है। यह बैक्टीरिया आपके ओरल म्यूकोसा (मुंह की लाइनिंग) में मौजूद रहता है और माउथ अल्सर का कारण बनता है।
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बच्चों में एपथस अल्सर के लिए घरेलू उपाय
बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या हो दूर करने के लिए आप निम्न घरेलू उपाय कर सकते हैं, जिसमें शामिल हो सकते हैंः
शहद (Honey)
बच्चों में माउथ अल्सर की समस्या दूर करने के लिए कुछ घंटों के अंतराल पर अपने बच्चे के मुंह के छालों पर सादा शहद लगा सकते हैं। शहद में एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं और इसमें घाव को ठीक करने के गुण भी मौजूद होते हैं। जिससे कुद्रती रूप से बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या का उपचार हो सकता है। शहद लगाने से मुंह में जलन और सूजन की समस्या से भी राहत मिल सकती है।
नारियल का दूध (Coconut milk)
बच्चों में मुंह के छालों से छुटकारा पाने के लिए कुछ मिनट तक नारियल के दूध से अपने बच्चे को गार्गल करें और फिर साफ पानी से बच्चे का मुंह धो दें। ऐसा दिन में 3 से 4 बार करें। ताजा नारियल का दूध अल्सर के लिए बहुत असरदायक माना जाता है और इससे दर्द से राहत मिल सकती है। दर्द कम होने पर आपका बच्चा सामान्य रूप से पहले की ही तरह खा-पी सकता है।
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टी बैग्स (Tea bag)
बच्चों में मुंह के अल्सर की समस्या को दूर करने में टी बैग्स भी काफी लाभकारी साबित हो सकते हैं। चाय की प्रकृति अल्कलाइन होती है, जो अल्सर के लिए जिम्मेदार ओरल म्यूकोसा में जलन पैदा करने वाले एसिड को बेअसर करने में असरदार हो सकता है। चाय से मुंह के छाले में होने वाले दर्द से भी राहत मिल सकती है। बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या से तुरंत राहत पाने के लिए गीले टी बैग को अल्सर के ऊपर 5 मिनट तक रखें।
एलोवेरा (Aloe Vera)
बच्चों में मुंह के अल्सर से रहात दिलाने में एलोवेरा भी उपचारी साबित हो सकता है। एलोवेरा में एंटी-इन्फ्लमेट्री गुण पाए जाते हैं जिसके कारण इसे फर्स्ट एड प्लांट भी कहा जाता है। एलोवेरा जेल लगाने से बच्चों में एपथस अल्सर की समस्या जल्दी ठीक हो सकता है और दर्द से राहत भी मिल सकता है। बच्चों में मुंह के अल्सर के उपचार के लिए दिन में 4 से 5 बार प्रभावित स्थान पर इसका जेल लगाना चाहिए।
पोषण (Nutrition)
पोषक तत्वों में कमी के कारण भी माउथ अल्सर होता है। इसलिए दही, बेरीज़, अंडे, दूध, नट्स, सीड्स, साबूत अनाज, हरी पत्तेदार सब्ज़ियों जैसे खाद्य पदार्थ का सेवन ज़्यादा करें, यह पोषक तत्वों की कमी को दूर करेगा।
बच्चों में मुंह के अल्सर के लिए इन बातों का भी रखें ध्यान
- हमेशा बच्चे को साफ पानी पीने के लिए दें।
- घर में खाने-पीने की चीजों को ढक कर रखें।
- दूषित भोजन या पानी बच्चों को न दें।
हैलो स्वास्थ्य किसी भी तरह की मेडिकली सलाह या उपचार की सिफारिश नहीं करता है। अगर इससे जुड़ा आपका कोई सवाल है, तो कृपया इसके बारे में अधिक जानकारी के लिए आपको अपने डॉक्टर से परामर्श करना चाहिए।
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