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विटामिन-के (Vitamin K)
विटामिन के प्रोथ्रोम्बिन का उत्पादन करने के लिए जाना जाता है, जो रक्त के थक्के को रोकने में मदद करता है। इसके अलावा यह ग्लाइकोजन बनाता है, जो लिवर के कार्य और रक्त के थक्के को बेहतर बनाने में मदद कर सकता है। विटामिन के से भरपूर भोजन का सेवन अत्यधिक रक्तस्राव को नियंत्रित करने के लिए भी अच्छा है। विटामिन-के के लिए डायट में पालक, ब्रोकली, शलजम, गोभी, सलाद, ओट्स, अल्फाल्फा, कैनोला, जैतून का तेल, ग्रीन टी आदि को ले सकते हैं।
विटामिन-सी (Vitamin C)
विटामिन-सी युक्त चीजों का सेवन करने से ब्लड क्लोटिंग में सुधार होता है। इसके साथ ही शरीर में कोलेजन का उत्पादन होता है। यदि शरीर में कोलेजन का उत्पादन अच्छी मात्रा में हो तो इससे हेमोफीलिया में होने वाले नील होने का खतरा कम होता है। विटामिन-सी के लिए आप स्प्राउट्स, स्ट्रॉबेरी, पपीता, संतरा, सेब, कीवी, पालक, ब्लूबेरी, अनानास का सेवन करें।
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हीमोफीलिया डायट (Hemophilia diet) में शामिल ना करें ये चीजें
आमतौर पर आपको वसा और शुगर युक्त चीजों को एवॉइड करना चाहिए। तला हुआ खाना, कैंडी और सोडा का सेवन न करें। हफ्ते में एक बार केक का एक टुकड़ा या एक चॉकलेट खा सकते हैं लेकिन रोजाना इनका सेवन न करें। इनके अलावा नीचे बताई चीजों का सेवन कम करें:
- जूस का बड़ा गिलास (Large glasses of juice)
- सॉफ्ट ड्रिंक (Soft drinks)
- एनर्जी ड्रिंक (Energy drinks)
- मीठी चाय (Sweetened tea)
- ग्रेवी और सॉसेज (Gravies and sauces)
- मक्खन (Butter)
- वसा युक्त डेरी प्रोडक्ट्स (Full-fat dairy products)
- ट्रांस फैट युक्त खाना जैसे पेस्ट्री, पिज्जा, पाई, कूकी आदि (Foods containing trans fats)