के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील · फार्मेसी · Hello Swasthya
कार्पल टनल सिंड्रोम (सीटीएस) हाथ और कलाई को प्रभावित करने वाली एक बीमारी है। कार्पल टनल (कलाई से बांह तक जाने वाली एक नलिका) में किसी नस के दबने से कार्पल टनल सिंड्रोम होता है, जिसकी वजह से आपके हाथ और कलाई में झुनझुनी, सुन्नता हो सकती है या कलाई के मध्य भाग से लेकर आपकी बांह तक में तेज दर्द भी हो सकता है।
यह सिंड्रोम आम है, खासतौर पर जो लोग ट्रांसक्रिप्शन, कैशियर, कसाई और चौकीदारी का काम करते हैं, उनके लिए ये विकार सामान्य है। इसके कारणों को नियंत्रित कर के विकार से निपटा जा सकता है। अधिक जानकारी के लिए कृपया अपने डॉक्टर से सलाह लें।
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दर्द, झुनझुनी, सुन्नता और हाथों में कमजोरी महसूस कार्पल टनल सिंड्रोम के संकेत और लक्षण हैं। कुछ लोगों को ऊपरी बांह और कंधे में असुविधा महसूस होती है। हालत अक्सर रात में ज्यादा खराब हो जाती है और आपकी नींद भी प्रभावित होती है।
प्रारंभिक निदान और उपचार इस स्थिति को बिगड़ने से रोक सकते हैं। इसलिए जल्द से जल्द अपने डॉक्टर से बात करें। यदि आपको निम्न में से कोई भी संकेत हैं, तो आपको अपने डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए। हर किसी का शरीर अलग तरीके से कार्य करता है। अपनी स्थिति के बारे में अपने डॉक्टर से परामर्श करना सबसे अच्छा होता है।
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कलाई में झनझनाहट के लिए कई जोखिम कारक हैं, जैसे:
यहां ही गई जानकारी किसी भी चिकित्सा सलाह का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से परामर्श करें।
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इसके कारणों को जानने के लिए डॉक्टर आपकी कलाई की जांच कर सकते हैं। कलाई की नसों और मांसपेशियों की जांच के लिए विशेष परीक्षण (ईएमजी) भी किया जा सकता है।
कार्पल टनल सिंड्रोम सर्जरी तंत्रिका पर दबाव को कम करने का सबसे अच्छा तरीका है। आमतौर पर सर्जरी के द्वारा आप जल्दी ठीक हो जाते हैं, लेकिन नए लक्षणों से बचने के लिए अपनी कलाई को कम से कम 6 सप्ताह तक आराम देना चाहिए। कार्पल टनल सिंड्रोम सर्जरी को करने में लगभग 15 से 30 मिनट लगते हैं। जैसा की पहले ही बताया जा चुका है कि कार्पल टनल सिंड्रोम सर्जरी दो प्रकार की है- ओपन कार्पल टनल सर्जरी और एंडोस्कोपी कार्पल टनल सर्जरी। दोनों सर्जरी में सबसे पहले एनेसेथेटिस्ट आपकी कलाई को सुन्न करते हैं। ओपन सर्जरी में सर्जन कलाई पर एक लंबा चीरा या कट लगाते हैं। इसके बाद कलाई के अंदर से फ्लेक्सर रेटिनाक्यूलम को काट कर निकाल देते हैं।
वहीं, एंडोस्कोपी कार्पल टनल सर्जरी में सर्जन कलाई में एक छोटा सा चीरा लगाते हैं। इसमें एंडोस्कोप (Endoscope) डालते हैं। एंडोस्कोप में एक छोटा कैमरा लगा होता है जो मॉनिटर में तस्वीरों को भेजता है। इसके जरिए ही सर्जन फ्लेक्सर रेटिनाक्यूलम को काट कर निकाल देते हैं। फिर एंडोस्कोप को बाहर निकाल कर चीरे पर टांका लगा देते हैं। इसके बाद टांके पर ड्रेसिंग कर देते हैं।
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कार्पल टनल सिंड्रोम (Carpal Tunnel Syndrome) की समस्या से बचने के लिए कुछ खास योगासन को नियमित किये जा सकते हैं। जैसे:
इन योगासनों को नियमित करने से जल्द लाभ मिल सकता है।
फिट रहने के लिए नियमित योगासन करें और कैसे योग को अपने दिनचर्या में शामिल करें? जानने के लिए नीचे दिए इस वीडियो पर क्लिक करें:
उपरोक्त जानकारी चिकित्सा सलाह का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए डॉक्टर से संपर्क करें।
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