परिचय
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला क्या है?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला घुटने की समस्या है। जिसमें घुटने का कैप, जिसे नीकैप कहते हैं, उसमें अंदर की तरफ के कार्टिलेज में असामान्य सा मुलायमपन हो जाता है। जिससे घुटनों में आगे (दर्द घुटने के साथ-साथ सामने की ओर भी होता है) की तरफ दर्द होता है। कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला घुटने में पुराने दर्द के बड़े कारणों में से एक है। कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के कारण घुटने का कैप (Kneecap) फीमर यानी कि जांघ की हड्डी के ऊपर चढ़ जाता है। इस स्थिति को पटेलाफिमोरल सिंड्रोम (patellofemoral syndrome) और रनर्स नी कहते हैं।
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कितना सामान्य है कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला होना?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला युवाओं, एथलेटिक में होना सामान्य है। लेकिन, यह समस्या सबसे ज्यादा अधेड़ लोगों को होती है। जिन्हें पहले से गठिया है, उन्हें भी हो सकता है। ज्यादा जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से बात कर लें।
लक्षण
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के क्या लक्षण हैं?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के लक्षण इस प्रकार हैं :
- घुटने के सामने वाले या साइड वाले हिस्से में दर्द होना। ये दर्द इतना ज्यादा होना कि न तो आप सही से बैठ पाएंगे और न ही सीढ़ी चढ़ पाएंगे। घुटनों को मोड़ने में भी काफी तकलीफ होती है।
- घुटने को हिलाने डुलाने पर अजीब सी आवाजें आना
- घुटने और जोड़ों पर सूजन बने रहना।
इसके अलावा कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के ज्यादा लक्षणों की जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से बात करें।
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मुझे डॉक्टर को कब दिखाना चाहिए?
अगर आप में ऊपर बताए गए लक्षण सामने आ रहे हैं तो डॉक्टर को दिखाएं। साथ ही कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला से संबंधित किसी भी तरह के सवाल या दुविधा को डॉक्टर से जरूर पूछ लें। क्योंकि हर किसी का शरीर कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के लिए अलग-अलग रिएक्ट करता है।
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कारण
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला होने के कारण क्या हैं?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला में घुटने के सामने और साइफ की तरफ दर्द होता है। जब आप घुटने को मोड़ते हैं तो आपके घुटने की कैप फीमर के कार्टिलेज पर फिसलती है। इसके साथ ही टेंडॉन्स और लिगामेंट्स नीकैप को पैर के ऊपरी और निचले हिस्से से जोड़ता है। जब ये सभी चीजें सही तरह से मूव नहीं कर पाती हैं तो नीकैप जांघ की हड्डी पर घिसने लगती है। जिसके कारण कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला या रनर्स नी हो जाता है।
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नीकैप के सही तरीके से मूव न करने के कारण हैं :
- आनुवंशिकता के आधार पर सही तरीके से घुटनों में जुड़ाव न होना
- हैमस्ट्रींग और क्वॉडसेप्स नामक जांघों की मांसपेशियों का कमजोर होना
- पैरों को बाहर और अंदर की तरफ घुमाने के लिए जिम्मेदार मांसपेशियों में असंतुलन हो जाना
- दौड़ने, कूदने आदि के कारण घुटने के जोड़ों में बार-बार तनाव हो जाना
- नीकैप में ट्रामा हो जाना
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जोखिम
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के साथ मुझे क्या समस्याएं हो सकती हैं?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला होने का रिस्क फैक्टर कई बातों पर निर्भर करता है :
- उम्र : किशोरों और युवाओं में कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला होने का रिस्क सबसे ज्यादा होता है। जब बच्चों की लंबाई बढ़ती है तो उस समय मांसपेशियों में असंतुलन के कारण कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला हो सकता है।
- लिंग : कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला से पुरुषों की तुलना में महिलाएं ज्यादा परेशान रहती हैं। क्योंकि पुरुषों की तुलना में महिलाओं में मांसपेशियां कम होती हैं और घुटने पर अतिरिक्त दबाव पड़ने के कारण भी ज्यादा समस्या होती है।
- समतल पैर : जिनके पैरों के तलवे समतल होते हैं उनके घुटनों पर ज्यादा तनाव होता है। जिससे घुटने की यह समस्या हो जाती है।
- घुटने पर लगे चोट के कारण : जीवन में कभी नीकैप पर घाव लगने से वह अपनी जगह से हट जाती है तो कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला होने का खतरा बढ़ जाता है।
- ज्यादा एक्सरसाइज करने के कारण : अगर आप लगातार और ज्यादा एक्सरसाइज कर रहे हैं तो भी घुटने से संबंधित समस्या से आपको रूबरू होना पड़ सकता है।
- अर्थराइटिस : रनर्स नी अर्थराइटिस के कारण भी हो सकता है। इस स्थिति में जोड़ों और टिश्यू में जलन और दर्द होता है। ये दर्द नीकैप को सुचारू रूप से काम करने से रोकता है।
उपचार
यहां प्रदान की गई जानकारी को किसी भी मेडिकल सलाह के रूप ना समझें। अधिक जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से परामर्श करें।
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला का निदान कैसे किया जाता है?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला का पता लगाने के लिए डॉक्टर आपके घुटनों का एक्स-रे या एमआरआई (MRI) करते हैं। साथ ही मांसपेशियों की भी जांच करते हैं। ताकि ये पता लगाया जा सके कि कौन सी मांसपेशियों के कारण कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला हुआ है।
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला का इलाज कैसे होता है?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला में घुटनों पर कम दबाव डालने से आराम मिलता है। घुटने का दर्द जब पहली बार हो अगर तभी से ध्यान दिया जाए तो बहुत हद तक कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला से आराम मिल सकता है। घुटनों पर बर्फ से सेंकाई करने से भी आराम मिलता है। इसके अलावा डॉक्टर आपको पेनकीलर और सूजन आदि को कम करने के लिए दवा देंगे।
फिजिकल थेरिपी
फिजिकल थेरिपी का मुख्य उद्देश्य क्वॉड्रीसेप्स, हैमस्ट्रींग, अबडक्टर और अडक्टर मांसपेशियों की मजबूती और संतुलन को बढ़ाया जा सके। इससे अगर नीकैप अपनी जगह से हट गया है तो वह भी धीरे-धीरे ठीक हो जाता है।
इसके अलावा आपको साधारण एक्सरसाइज करनी चाहिए, जिसमें वजन न उठाना हो। जैसे – स्वीमिंग, साइकलिंग आदि करना चाहिए। इससे पैरों की मांसपेशियां मजबूत होंगी।
घरेलू उपाय
जीवनशैली में बदलाव या घरेलू उपचार क्या हैं, जो मुझे कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला को ठीक करने में मदद कर सकते हैं?
कॉन्ड्रोमलेशिया पटेला के लिए लाइफस्टाइल में बदलाव कर के सामान्य जीवन जी सकते हैं :
- घुटनों पर भार देने से बचें। हमेशा नीपैड्स का प्रयोग करें।
- अगर आपके पैरों का तलवा चपटा है तो ऐसे जूते पहनें जिससे आपके घुटनों पर कम भार या दबाव पड़े।
- अगर आपका वजन ज्यादा होता है तो खान-पान में बदलाव कर के आप अपना वजन कम करें ताकि घुटने पर अतिरिक्त दबाव न पड़े।
इसके अलावा इस संबंध में आप अपने डॉक्टर से संपर्क करें। क्योंकि आपके स्वास्थ्य की स्थिति देख कर ही डॉक्टर आपको उपचार बता सकते हैं। अगर आपको किसी भी तरह की समस्या हो तो आप अपने डॉक्टर से जरूर पूछ लें।