एक्यूपंक्चर दर्द से छुटकारा दिलाने की नैचुरल पेन रिलीफ टेक्नीक है। इस विधि के दौरान शरीर के कुछ खास पॉइंट में सुई चुभाई जाती है। जिस जगह पर सुई चुभाई जाती हैं, उन्हें प्रेशर पॉइंट कहते हैं। इसकी पॉपुलैरिटी को देखते हुए लेबर के लिए एक्यूपंक्चर का उपयोग भी किया जा रहा है। स्टडी में ये बात सामने आई है कि जिन महिलाओं ने प्रेग्नेंसी के समय में एक्यूपंक्चर विधि का प्रयोग किया था, उन्हें प्राकृतिक रूप से सही समय पर लेबर पेन शुरू हो जाता है। इस विधि का प्रयोग सी-सेक्शन के चांसेस को कम करने के लिए किया जाता है। लेबर के लिए एक्यूपंक्चर उपयोग करना तब सही होता है जब किसी प्रोफेशनल से इसे कराया जाए।
लेबर के लिए एक्यूपंक्चर कैसे काम करता है?
लेबर के लिए एक्यूपंक्चर का उपयोग इसलिए किया जाता है क्योंकि एक्यूपंचर प्रेग्नेंट लेडी की बॉडी को लेबर के लिए स्टीमुलेट करता है। निडिल्स को शरीर में इजेक्ट करने से प्रोस्टाग्लैडिंस रिलीज होता है जो कि ग्रीवा को परिपक्व करता है और संकुचन को प्रेरित करने का काम करता है। इस दौरान हार्मोन प्राकृतिक रूप से निकलते हैं। कुछ डॉक्टर्स लेबर के लिए एक्यूपंचर को ‘लेबर प्रिपरेशन’ भी कहते हैं। एक्यूपंचर की हेल्प से प्रेग्नेंट लेडी को रिलैक्स फील होता है। एक्यूपंक्चर उन लोगों के लिए उपयोगी साबित हो सकता है जिन्हें मेडिसिन से साइडइफेक्ट का खतरा रहता है।
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क्या लेबर के लिए एक्यूपंक्चर सही है?
लेबर के लिए एक्यूपंक्चर सही है या नहीं, इस बारे में रिसर्च हो चुकी हैं, लेकिन अभी तक एक्यूपंक्चर से किसी भी तरह के नुकसान के बारे में जानकारी नहीं मिली है। हां एक्यूपंक्चर से मिलने वाले लाभ के कई प्रमाण मिल चुके हैं। लेबर के लिए एक्यूपंचर की हेल्प से समय से पेन आने शुरू हो जाते हैं।
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एक्यूपंक्चर विधि न्यूरोसाइंस पर बेस्ड रहती है। एक्यूपंक्चर के दौरान निडिल नर्व, कनेक्टिव टिशू और मसल्स को स्टिमुलेट कर ब्लड फ्लो को बढ़ाने का काम करती है। इस कारण ब्रेन में सिग्नल पहुंचता है जो एंडोर्फिन को रिलीज करने का काम करता है। एंडोर्फिन को नैचुरल पेनकिलर के रूप में भी जाना जाता है। एक अन्य सिद्धांत में ये बात सामने आई है कि एक्यूपंचर शरीर में आने वाली सूजन को भी कम करने का काम करता है। फिर भी आप लेबर के लिए एक्यूपंक्चर का उपयोग करने से पहले एक आप अपने डॉक्टर से जरूर कंसल्ट करें।
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प्रेग्नेंट महिला को कितने बार एक्यूपंक्चर पद्धति की जरूरत होती है?
एक्यूपंक्चर का उपयोग महिलाओं में अलग-अलग तरह से किया जा सकता है। प्रेग्नेंट महिला जिसने अपने गर्भकाल का पूरा समय कर लिया हो, उसे लेबर से पहले एक से तीन एक्यूपंचर की आवश्यकता होती है। स्टडी के दौरान ये बात सामने आई है कि एक्यूपंचर के छह से 48 घंटे बाद लेबर शुरू हो जाता है। अगर महिला की ड्यू डेट निकल गई है तो उसे एक दिन छोड़कर यानी अल्टरनेट डे पर एक्यूपंक्चर दिया जा सकता है। ये लेबर पेन के शुरू होने के लिए की जाने वाली प्रक्रिया है। दो से तीन ट्रीटमेंट के बाद महिला को दर्द आने शुरू हो जाते हैं। लेबर के लिए एक्यूपंक्चर ट्रीटमेंट लेने से पहले अपने डॉक्टर से एक बार सलाह जरूर लें।
लेबर के लिए एक्यूपंचर के क्या हैं लाभ?
- एक्यूपंक्चर लेने के बाद महिलाओं को दर्द तो होता है, लेकिन तेज दर्द से राहत मिलती है और एपिड्यूरल लेने की संभावना भी कम हो जाती है।
- रिलैक्स मसल्स के कारण महिलाओं को कम दर्द का अनुभव होता है।
- रिलैक्स होने की वजह से ऑक्सिटोसिन (Oxytocin) हाॅर्मोन रिलीज होता है जो संकुचन के लिए जिम्मेदार होता है। चाइल्ड बर्थ में ज्यादा समय न लगे, इसलिए भी एक्यूपंक्चर का उपयोग किया जाता है।
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लेबर के लिए एक्यूपंचर का उपयोग करने पर इन बातों का रखें ध्यान
आप प्रेग्नेंसी के दौरान जब भी एक्यूपंक्चर के लिए जा रही हो तो एक बात का ध्यान रखें कि इसे प्रोफेशनल से ही कराएं। कई बार हॉस्पिटल में इस तरह की सुविधा उपलब्ध नहीं कराई जाती है। आप ऐसे में किसी प्राइवेट एक्यूपंक्चर सेंटर से सुविधा ले सकते हैं। एक्सपर्ट से ही एक्यूपंक्चर कराएं। आप अपने डॉक्टर से सलाह करने के बाद और एक्यूपंक्चर की फीस पता करने के बाद इसे कराएं। ये बात ध्यान रखें कि एक्यूपंक्चर को 35 सप्ताह के पहले बिलकुल न कराएं। जानकारी लेने के बाद ही इसे अपनाएं।
एक्यूपंचर के बारे में ये भी जान लें
मेडिकल एक्यूपंक्चर द्वारा 2013 की समीक्षा में पता चला कि 4 से 13 प्रतिशत यूरोपीय महिलाएं अपनी गर्भावस्था के दौरान एक्यूपंक्चर का उपयोग करती हैं। उनके पास अमेरिकी महिलाओं के लिए सटीक संख्या नहीं थी, लेकिन इस बात पर ध्यान दिया गया कि एक्यूपंक्चर का उपयोग, संयुक्त राज्य अमेरिका में सामान्य रूप से बढ़ रहा था। शोधकर्ताओं ने सिद्धांत दिया कि गर्भवती महिलाएं उस बढ़ती आबादी का हिस्सा होंगी।
सामान्य तौर पर, एक्यूपंक्चर का उपयोग मुख्य रूप से वैकल्पिक चिकित्सा के रूप में किया जाता है और यह पश्चिमी चिकित्सा का हिस्सा नहीं है, हालांकि कुछ अध्ययनों ने दर्द से राहत में इसकी प्रभावशीलता के लिए आशाजनक परिणाम दिखाए हैं। लेबर के लिए एक्यूपंचर के अलावा यह गठिया, माइग्रेन और सिरदर्द से राहत दिलाने में मददगार साबित हुआ है और यहां तक कि सर्क्युलेशन में सुधार और चेहरे की मसल्स को टाइट करके स्किन अपीरिएंस में सुधार करने में मददगार रहा है।
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गर्भावस्था के दौरान एक्यूपंक्चर का उपयोग विभिन्न गर्भावस्था-संबंधी बीमारियों के इलाज के साथ ही लेबर को स्टीमुलेट करने के लिए किया जा सकता है। लेबर के लिए एक्यूपंक्चर के उपयोग के अलावा इसका यूज निम्न कंडिशन में किया जाता है।
- लेबर के लिए एक्यूपंक्चर का उपयोग तो किया ही जाता है, यह गर्भधारण करने में महिलाओं की सहायता करता है चाहे फिर वह स्वाभाविक रूप से गर्भधारण करें या IVF जैसी तकनीक सहारा लें।
- लेबर को इंड्यूस करने में सहायक।
- प्रेग्नेंसी के दौरान होने वाले डिस्कंफर्ट और दर्द में राहत देता है।
- लेबर के दौरान दर्द कम करने में सहायक।
- सिजेरियन डिलिवरी के बाद दर्द को कम करने में मदद करता है।
- गर्भावस्था के दौरान ब्रीच पुजिशन को ठीक करने में सहायता करता है।
- लेबर के लिए एक्यूपंक्चर उपयोगी हाेने के साथ-साथ यह गर्भावस्था के दौरान घबराहट और डिप्रेशन से लड़ने में मदद करता है।
हम आशा करते हैं कि लेबर के लिए एक्यूपंचर से जुड़ी जानकारी आपके लिए उपयोगी रही होगी। आपको लेबर के लिए एक्यूपंचर लेना है या फिर नहीं, यह बात एक बार अपने डॉक्टर से पूछे क्योंकि वे आपको उचित सलाह देंगे। बिना सलाह के प्रेग्नेंसी के दौरान कोई भी कदम न उठाएं।
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