बच्चों की मासूमियत के सभी कायल होते हैं। छोटे बच्चों की शरारत को देख हम अपने बचपन को याद करने को मजबूर हो जाते हैं। इसी प्रकार, बच्चों के खिलौने खरीदते हुए माता-पिता के अंदर का बच्चा बाहर आ जाता है। वो भी बच्चे के साथ बच्चा बन जाते हैं। छोटे बच्चों के लिए अच्छे खिलौने उनके विकास और उभरती क्षमताओं के चरणों से मेल खाते हैं।
डॉ तुषार पारिख (मुख्य सलाहकार, पीडियाट्रिक तथा नियोनेटोलॉजी विभाग, मदरहुड हॉस्पिटल, पुणे) ने हैलो स्वास्थ्य को बताया कि खिलौने आपके बच्चे के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। बार्बी डॉल, सॉफ्ट टॉयज, रिंग्स, स्क्वीज टॉयज के साथ बच्चों को खेलना बहुत पसंद होता है। कुछ नहीं मिलता अगर तो बच्चे प्लास्टिक के कटोरे और ढक्कन, प्लास्टिक बोतल कैप को खिलौने के रूप में इस्तेमाल करने लगते हैं।
पैदा होने के कुछ समय तक बच्चे अपने हाथों पैरों से खेलते हैं। इससे शिशु को यह पता चलता है कि उसका शरीर आसपास की वस्तुओं से अलग है। ऐसे अनुभवों से उनकी अपने बारे में धारणा विकसित होती है। खेल के दौरान बच्चे यह समझते हैं, कि लोगों और वस्तुओं पर क्या प्रभाव पड़ सकता है। वह यह समझने लगते हैं कि रोने पर मां उसके पास आएगी, जब वह हंसेगे तो मां भी हंसेगी और उसे गोद में उठा लेगी। इन विभिन्न स्थितियों से जूझने से बालिका का आत्मविश्वास बढ़ता है। जैसे-जैसे बच्चे बड़े होते हैं, वह अन्य बच्चों के साथ खेलने लगते हैं।
बच्चों के खिलौन क्या विकास के लिए हैं जरूरी?
खिलौने : जन्म से 6 महीने तक
छह महीने तक का एक नवजात शिशु धीरे-धीरे गर्दन पकड़ के ऊपरी शरीर और हाथ पर नियंत्रण विकसित करने लगता है। इसके लिए, विभिन्न बनावट वाले रंगीन खिलौने शिशुओं को दिए जाने चाहिए। इन खिलौनों को वो हाथ में थामना सीखते हैं। 6 महीने से ज्यादा होने पर, माता-पिता को उन्हें एक टीथर देना चाहिए। टीथर को देते समय हमेशा ध्यान रखें कि उसे हमेशा अच्छी तरह से गर्म पानी से साफ करें क्योंकि आपका बच्चा इसे चबाएगा। उनके विकास के लिए उन्हें ऑडियो वाले झुनझुने दिए जा सकते हैं। इसके अलावा, माता-पिता उन किताबों का विकल्प चुन सकते हैं जिनमें नर्सरी कविताएं, और लोरी तथा साधारण गाने की रिकॉर्डिंग भी होती है।
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बच्चों के खिलौने : 7 से 12 महीने तक
जब शिशु लगभग 8 महीने का हो, तब वह अपने पैरों पर रेंगना शुरू करने लगता है। इसलिए, मुलायम खिलौने और प्लास्टिक खिलौने का उपयोग किया जा सकता है। 9 महीनों में, शिशुओं को विभिन्न आकृतियों, लकड़ी के क्यूब्स, बड़े छल्ले और लकड़ी के वाहनों के ब्लॉक दिए जा सकते हैं। जब आपका शिशु लगभग 10 महीने का होता है, तो आपका शिशु सहारे के साथ खड़ा हो सकता है और एक साल के होने पर वह किसी सहारे के बिना खड़ा रह सकता है। शुरुआत में वॉकर देने से बचें क्योंकि यह उनके चलने में देरी ला सकता है। बच्चा इस पर निर्भर हो जाता है। इसके अलावा बहुत बार बच्चों को इससे चोट भी आती है।
खिलौने : 1 साल के बच्चे के लिए
एक वर्ष के बच्चे चलना शुरू कर देते हैं और स्ट्रिंग द्वारा खिलौने खींचने का विकल्प चुन सकते हैं। इन खिलौनों का उपयोग माता-पिता के मार्गदर्शन में किया जाना चाहिए और गिरने से बचने के लिए फॉर्म वाले गद्दे पर रखा जाना चाहिए। इसी तरह, बच्चों को ड्रॉइंग बुक के साथ पेंसिल/ क्रेयॉन दिए जाते हैं। सॉफ्ट टॉयज और बैटरी वाले खिलौने देने से बचना चाहिए क्योंकि, वे उन्हें मुंह में लेने लगते हैं। ऐसा करने से उनमें घुटन का खतरा हो सकता है।
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बच्चों के खिलौने : दो साल के बच्चे के लिए
अपने बच्चों को जिन चीजों में उनकी दिलचस्पी है उस हिसाब से गेम्स देना चाहिए। आप उन्हें कंस्ट्रक्शन सेट्स, किचन सेट्स, डॉक्टर सेट, डॉल विद एक्सेसरीज, पपेट्स, और सैंड एंड वाटर प्ले टॉयज दिला सकते हैं। कुछ लोग बच्चों को घर में कैद रखते हैं। ऐसा न करें, अपने बच्चे को खेल के मैदान में ले जाएं। इससे बच्चे को बाहर की हवा मिलती है और वह फिट और स्वस्थ रहता है। छोटी वस्तुओं, कैंची और सुई जैसे तेज उपकरण उनकी पहुंच से दूर रखें। उनके हाथ में फोन कम से कम दें। यदि आप अपने बच्चे को सिर्फ इसलिए अपना मोबाइल देते हैं, क्योंकि वह रो रहा है, तो यह सही नहीं है। बच्चे को इसकी लत लग सकती है। यह सिरदर्द और मोटापे जैसी स्वास्थ्य समस्याओं की वजह बनता है। इसके साथ ही यह बच्चे को आक्रामक (Aggression) और हिंसक (Violent) बनाता है।
बच्चों के खिलौने: तीन साल के बच्चे के लिए
जब बच्चा 3 वर्ष का हो जाता है, तब साइकिल का विकल्प अच्छा हो सकता है। ये बच्चे के स्वास्थ्य के लिए भी अच्छा ऑप्शन रहेगा। लेकिन, याद रखें बच्चा साइकिल माता-पिता की देखरेख में ही चलाए। इस उम्र के बच्चों के लिए क्ले, मार्कर और बोर्ड, बीन बैग, चॉकबोर्ड, पानी वाले खिलौने, पिक्चर बुक्स, प्लास्टिक का बैट और बॉल का उपयोग किया जा सकता है।
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टीथिंग टॉयज
बच्चे के जन्म के बाद माता-पिता को उनके दांत निकलने का इंतजार रहता है। जब बच्चे चार से छह महीने के बीच होते हैं तो उनके दांत आने शुरू हो जाते हैं। दांत निकलने पर बच्चों की पहुंच में जो भी चीज आती है, उसे वो अपने मुंह में डालने लगते हैं। टीथिंग टॉयज ऐसे बच्चों के लिए बहुत फायदेमंद होता है। इस बुरी आदत से बच्चों को दूर करने के लिए टीथिंग टॉयज एक शानदार तरीका है। लेकिन ध्यान रहे कि आप ऐसे ही खिलौना खरीदे जिसमे हानिकारक रसायन न हों। ताकि, यदि बच्चे उनसे खेलते हुए मुंह में भी रख लें, तो कोई परेशानी न हो।
प्ले जिम
पेरेंट्स को बच्चों की कुदरती विकास का हमेशा ख्याल रखना चाहिए। बच्चों के जन्म के बाद शुरुआती कुछ महीने उनके विकास में सबसे महत्वपूर्ण होते हैं। इस दौरान बच्चों के खिलौने में प्ले मैट और एक्टिविटी जिम आदि को शामिल करना चाहिए। इससे बच्चों के बौद्धिक के साथ शारीरिक विकास को प्रोत्साहन मिलता है। प्ले जिम अच्छे शैक्षिक खिलौने हैं और किसी भी उम्र के बच्चों द्वारा इसे खेला और आनंद लिया जा सकता है।
बेबी लिल क्रिटर्स रोल और डिस्कवर बॉल
बढ़िया खिलौनो के साथ खेलकर बच्चो की समझ बढ़ती है और दूसरो पर उनकी निर्भरता कम होने लगती है। बच्चे का आधा शारीरिक ,बौद्धिक और सामाजिक विकास आपके चुने हुए खिलौनो पर टिका होता है। तो हमारा अगला सुझाव है वीटेक का यह बेबी लिल क्रिटर्स रोल और डिस्कवर बॉल जो किसी भी बच्चे को खूब लुभाएगा । 6 महीने का बच्चा जिसके लिए आप उपहार खरीद रहे हैं, वह इस रंगीन गेंद से अपने मोटर कौशल को मजबूत कर सकता है। गेंद पर नंबर और जानवरों के चित्र बनाये गए हैं जो प्रारंभिक शिक्षा में मदद करते हैं और साथ ही मोटर कौशल विकसित करने में सहायक है।
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बच्चों के खिलौने: नियो टोब्ब्ल
बच्चे के जीवन के पहले 5 साल में उनका दिमाग किसी “स्पंज” की तरह होता है। वह अधिक-से-अधिक जानकारी सीख सकता है। बच्चे के दिमाग का 80 % विकास इन्ही शुरुआती वर्षो में होता है। पहले बच्चे कपड़े, रुई और मिटटी के खिलौनो से खेला करते थे पर आज बाजार में एक से एक एडवांस खिलौने मौजूद है। ऐसा ही एक खिलौना है नियो टोब्ब्ल। नन्हे बच्चो को स्टैक करना, टॉपल करना और फिर भी जोड़ना भाता है। इसका चमकदार सनी कलर और आकर्षक बनावट छोटे बच्चों का दिल जीत लेता है । यह उनके नन्हे नन्हे हाथों में पकड़े जाने के लिए आरामदायक है और उनका ध्यान बटाये रखेगा ।
बाथिंग टॉयज
बच्चों के खिलौने में बाथिंग टॉयज महत्वपूर्ण है। बच्चों को नहाना बिलकुल पसंद नहीं होता है। जैसे ही उन्हें पता चलता है कि अब नहाने की बारी आ गयी है तो वो रोना शुरू कर देते हैं। ऐसे में सबसे बड़ी मुश्किल माता-पिता के लिए हो जाती है। उन्हें समझ नहीं आता कि कैसे उन्हें बिना रूलाए शावर कराया जाए। आप चाहे तो कुछ बाथिंग खिलौनों की मदद से अपने बच्चों को खेल खेल में नहला सकते हैं।
नर्सरी मोबाइल
एक पालना में लेटे हुए बच्चे के सिर के ऊपर नाचने वाली वस्तुएं दृष्टि को उत्तेजित करती हैं, और ध्यान देने की अवधि विकसित करती हैं।
आईना
बच्चों के लिए टॉय के रूप में मिरर भी काम कर सकता है। शुरुआत में आपका शिशु बदलते चेहरे और दर्पण से वापस देख रहे भावों से मोहित हो जाएगा। समय के साथ, आपके बच्चे को एहसास होगा कि मंद, मुस्कुराता हुआ बच्चा वास्तव में पीछे हट रहा है। एक बार ऐसा होने के बाद, बच्चे स्वयं के बारे में जागरूक हो जाते हैं, जिससे शरीर के अंगों के बारे में और वे कहां हैं, इसके बारे में जानने लगते हैं।
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अधिकतम मस्तिष्क का विकास जीवन के पहले दो वर्षों के दौरान होता है (जो लगभग 90 प्रतिशत है)। दो साल के बाद, पहले 7-8 वर्षों में, बहुत अधिक आर्बराइजेशन होता है क्योंकि कनेक्शन बनता है और न्यूरॉन्स एक दूसरे से जुड़ते हैं, फिर वे सिनैप्स और कनेक्टिविटी विकसित करते हैं।
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