backup og meta

Peripheral Vascular Disease: पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज क्या है?

Peripheral Vascular Disease: पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज क्या है?

परिचय

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज (Peripheral Vascular Disease) क्या है?

पेरीफेरल वैस्कुलर डिजीज को पीवीडी (PVD) के नाम से भी जाना जाता है। ऐसी कोई भी बीमारी या समस्या मस्तिष्क और हार्ट से बाहर की तरफ सर्कुलेटरी सिस्टम में होती है उसे पीवीडी के नाम से जाना जाता है। पेरीफेरल वैस्कुलर डिजीज में उन सभी बीमारियों को शामिल किया जाता है, जो किसी भी रक्त वाहिकाओं को प्रभावित करती है। हालांकि, अक्सर इसे पेरीफेरल आर्टरी डिजीज के समानार्थी के रूप में भी उपयोग किया जाता है।

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज आर्टरीज की सबसे ज्यादा समान्य बीमारी है। पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज में रक्त वाहिकाओं में फैट इक्कट्ठा हो जाता है, जिसे एथेरोस्क्लेरोसिस (Atherosclerosis) या आर्टरी का सख्त होना कहा जाता है। फैट का यह जमाव धीरे-धीरे इक्ट्ठा होता है। समय के हिसाब से यह आर्टरी को जाम, सिकुड़ा या कमजोर बना देता है।

आर्टरी में इस प्रकार का ब्लॉकेज होने पर इसे कोरोनरी आर्टरी डिजीज (coronary heart disease) कहा जाता है। अक्सर एथेरोस्क्लेरोसिस हार्ट और मस्तिष्क के ऊपर की आर्टरी को प्रभावित करता है। हालांकि, एथेरोस्क्लेरोसिस पूरी बॉडी की किसी भी रक्त वाहिका को प्रभावित कर सकता है।

अक्सर पेरीफेरल वैस्कुलर डिजीज से पैरों की रक्त वाहिकाएं प्रभावित होती हैं। अन्य आर्टरी धीरे-धीरे प्रभावित होती हैं, जो किडनी और बाजुओं में रक्त का प्रवाह करती हैं। आर्टरी के जाम हो जाने या सिकुड़ जाने पर बॉडी के उस हिस्से को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिलती है। इस स्थिति को इसचेमिया (ischemia) कहा जाता है। इसचेमिया से कई प्रकार के लक्षण नजर आ सकते हैं। हालांकि, यह कैसे होंगे यह प्रभावित अंग या सिस्टम पर निर्भर करता है।

और पढ़ें- Budd-Chiari syndrome : बड चैरी सिंड्रोम क्या है?

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज कितना सामान्य है?

अमेरिका में करीब 85 लाख लोग पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज से प्रभावित हैं। आमतौर पर पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज 60 वर्ष के बाद होती है। इस आयु वर्ग के करीब 12-20% लोग पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज से प्रभावित हैं। डायबिटीज से पीढ़ित लोगों में यह बीमारी सामान्य है। महिलाओं की तुलना में पुरुषों को यह बीमारी ज्यादा होती है। वहीं, स्मोकिंग करने वाले लोगों में पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज का खतरा ज्यादा रहता है। डायबिटीज और स्मोकिंग हमेशा एक साथ मिलकर एक गंभीर बीमारी परिणाम के रूप में देते हैं।

60 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों में पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज विकलांगता का एक बड़ा कारण है। डायबिटीज में भी यह बीमारी विकलांगता की स्थिति उत्पन्न करती है। पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज से पीढ़ित 40% तक लोगों में इसके लक्षण नजर नहीं आते हैं। वहीं, कुछ लोगों में इसके लक्षण नजर आने पर वह इसकी सूचना चिकित्सक को नहीं देते हैं।

और पढ़ें- Drug withdrawal: जानें ड्रग विदड्रॉल क्या हैं?

लक्षण

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज के क्या लक्षण हैं?

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज के लक्षण निम्नलिखित हैं:

  • पैरों में ऐंठन और थकावट का अहसास
  • फिजिकल एक्टिविटी करने पर पैरों की हालत बदतर हो जाना
  • पैरों में खराब ब्लड फ्लो होना
  • पैरों में बालों की ग्रोथ कम होना, बेड पर लेटते वक्त क्रैम्प आना
  • बाजुओं और पैरों का लाल नीला या पीला पड़ना
  • पैरों और पंजों की त्वचा का पतला या पीला होना, पल्स कमजोर होना, घाव या न ठीक होने वाला अल्सर
  • अंगूठे का नीला रंग होना, गंभीर जलन का अहसास या पैरों के नाखूनों का मोटा होना
  • मांसपेशियों में सुन्नत्ता या भारीपन

उपरोक्त लक्षणों के अलावा भी पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज के कुछ अन्य लक्षण हो सकते हैं, जिन्हें ऊपर सूचीबद्ध नहीं किया गया है। यदि आप इसके लक्षणों को लेकर चिंतित हैं तो अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।

मुझे डॉक्टर को कब दिखाना चाहिए?

उपरोक्त लक्षणों में से किसी एक का अनुभव होन पर अपने डॉक्टर से संपर्क करें। एजिंग की वजह से होने वाली समस्याओं को इन लक्षणों से अलग रखा जाता है। लेकिन निदान और इलाज में देरी करने से इससे आगे और गंभीर समस्याएं आ सकती हैं। रक्त की कमी, गैंग्रीन (gangrene) या ऊत्तकों के मृत होने के मामले में यह लक्षण सामने आ सकते हैं।

यदि आपको अचनाक सर्दी, दर्द, कमर के निचला हिस्सा कमजोरी के साथ पीला पड़ जाता है या पल्स नहीं होती है तो यह एक आपातकालीन स्थिति है। इस स्थिति में गंभीर समस्याओं से बचने के लिए तत्काल चिकित्सा सहायता की जरूरत होती है।

और पढ़ें- Cushing Syndrome: कुशिंग सिंड्रोम क्या है?

कारण

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज का क्या कारण है?

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज का कारण निम्नलिखित है:

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज एथेरोस्क्लेरोसिस की वजह से होती है। एथेरोस्क्लेरोसिस में आर्टरी में फैट इक्कट्ठा हो जाता है और रक्त के प्रवाह को कम कर देता है। फैट का यह जमाव धीरे-धीरे इक्ट्ठा होता है। समय के हिसाब से यह आर्टरी को जाम, सिकुड़ा या कमजोर बना देता है। हालांकि, एथेरोस्क्लेरोसिस पर चर्चा आमतौर पर हार्ट पर केंद्रित होती है। इसके बावजूद भी यह बीमारी आपकी पूरी बॉडी को प्रभावित कर सकती है। कुछ मामलों में रक्त वाहिकाओं में इनफ्लेमेशन, लिंब्स में चोट, मांसपेशियों और लिगामेंट्स की असामान्य शारीरिक संरचना या रेडिएशन के संपर्क में आने से पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज होती है।

[mc4wp_form id=’183492″]

और पढ़ें: Congestive heart failure: कंजेस्टिव हार्ट फेलियर

जोखिम

किन कारकों से मुझे पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज होने का खतरा रहता है?

निम्नलिखित कारकों से आपको पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज होने का जोखिम होता है:

  • स्मोकिंग
  • डायबिटीज
  • मोटापा (बॉडी मास इंडेक्स का 30 से अधिक होना)
  • हाई ब्लड प्रेशर
  • हाई कोलेस्ट्रॉल
  • उम्र का बढ़ना, विशेषकर 50 की उम्र में पहुंचना

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज, हार्ट डिजीज या स्ट्रोक, होमोसाइटेनाइन (homocysteine) की मेडिकल हिस्ट्री होना। होमोसाइटेनाइन एक प्रोटीन कंपोनेंट है, जो ऊत्तकों को बनाने और में मदद करता है।

उपरोक्त सूची संपूर्ण नहीं है। पेरिफेरल वैस्कुलर के कारकों की विस्तृत जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।

और पढ़ें- Blood cancer : ब्लड कैंसर क्या है?

उपचार

यहां प्रदान की गई जानकारी को किसी भी मेडिकल सलाह के रूप ना समझें। अधिक जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से परामर्श करें।

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज का निदान कैसे किया जाता है?

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज का निम्नलिखित तरीकों से पता लगाया जा सकता है:

  • दिनचर्या, डायट और दवाइयों के इस्तेमाल को मिलाकर पूरी पारिवारिक मेडिकल हिस्ट्री
  • त्वचा की जांच को मिलाकर एक फिजिकल एग्जामिनेशन करना।
  • तापमान, पैरों और पंजों में रंग और पल्स की जांच।

और पढ़ें- ankle bursitis: एंकल बर्साइटिस क्या है?

इसके अतिरिक्त निम्नलिखित तरीकों से इस बीमारी का पता लगाया जा सकता है:

  • एंजियोग्राफी (Angiography)
  • एंकल-ब्रेशियल इंडेक्स (Ankle-brachial index (ABI)- इस टेस्ट में किसी भी प्रकार का इंजेक्शन नहीं लगाया जाता है। इस टेस्ट में टखनों में ब्लड प्रेशर को मापा जाता है।
  • ब्लड टेस्ट के जरिए इस बीमारी का पता नहीं लगाया जा सकता है, लेकिन इससे संबंधित डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर की वजह से इसके खतरा का आंकलन किया जा सकता है।
  • कंप्यूटराइज्ड टोमोग्राफी एंजियोग्राफी (Computerized tomography angiography (CTA)- इस टेस्ट में रक्त वाहिकाओं की एक तस्वीर सामने आती है, जिससे डॉक्टर को ब्लॉकेज, सिकुड़न का पता चल जाता है।
  • अल्ट्रासाउंड के जरिए डॉक्टर आर्टरी और नसों में रक्त के प्रवाह को देख सकता है।

पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज का उपचार कैसे किया जाता है?

एंजियोप्लास्टी (Angioplasty): इस प्रक्रिया में एक नली जो बलून के साथ फिट होती है, उसे क्षतिग्रस्त आर्टरी में डाला जाता है। इसके बाद बलून को फुलाया जाता है, जिसे आर्टरी चौड़ी हो जाए। कई बार डॉक्टर इसमें एक छोटी ट्यूब का इस्तेमाल करते हैं, जो आर्टरी को खुला रखती है।

वैस्कुलर बायपास सर्जरी: इसे वैस्कुलर ग्राफ्ट (vascular graft) के नाम से भी जाना जाता है। इस प्रक्रिया में ब्लॉकेज या सिकुड़ी हुई आर्टरी को बायपास करते हुए रक्त वाहिकाओं को दोबारा जोड़ा जाता है। इससे बॉडी के एक हिस्से से अन्य हिस्से में रक्त प्रवाह करने में आसानी होती है।

इसके अतिरिक्त, पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज में दवाइयों का इस्तेमाल भी किया जात है। हालांकि, यह डॉक्टर के विवेक के ऊपर निर्भर करता है, जो आपकी स्थिति के आधार पर इलाज के विकल्प का चुनाव करता है।

और पढ़ें- Abdominal migraine : एब्डॉमिनल माइग्रेन क्या है?

घरेलू उपाय

जीवन शैली में होने वाले बदलाव क्या हैं, जो मुझे पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज को ठीक करने में मदद कर सकते हैं?

जीवन शैली या लाइफस्टाइल में निम्नलिखित बदलाव करके पेरिफेरल वैस्कुलर डिजीज से लड़ा जा सकता है:

इस संबंध में आप अपने डॉक्टर से संपर्क करें। क्योंकि आपके स्वास्थ्य की स्थिति देख कर ही डॉक्टर आपको उपचार बता सकते हैं।

हैलो स्वास्थ्य किसी भी तरह की मेडिकल सलाह नहीं दे रहा है। अगर आपको किसी भी तरह की समस्या हो तो आप अपने डॉक्टर से जरूर पूछ लें।

संबंधित लेख:

Cataracts : मोतियाबिंद क्या है?

Swine Flu : स्वाइन फ्लू (H1N1) क्या है? जानिए इसके घरेलू उपचार

Flu: फ्लू क्या है?

Encephalitis : इंसेफेलाइटिस (दिमागी बुखार) क्या है?

[embed-health-tool-bmi]

डिस्क्लेमर

हैलो हेल्थ ग्रुप हेल्थ सलाह, निदान और इलाज इत्यादि सेवाएं नहीं देता।

Peripheral vascular disease/ https://www.healthline.com/health/peripheral-vascular-disease/ Accessed on 10/05/2020

Peripheral vascular disease/ https://www.webmd.com/heart-disease/peripheral-vascular-disease /Accessed on 10/05/2020

Peripheral vascular disease/https://www.mayoclinic.org/diseases-conditions/peripheral-artery-disease/symptoms-causes/syc-20350557 /Accessed on 10/05/2020

Peripheral vascular disease/ https://www.medicalnewstoday.com/articles/322182.php /Accessed on 10/05/2020

Current Version

07/06/2020

Sunil Kumar द्वारा लिखित

के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील

Updated by: Nidhi Sinha


संबंधित पोस्ट

Dystonia: डिस्टोनिया क्या है ?

Fanconi Anemia : फैंकोनी एनीमिया क्या है? जानें इसके कारण, लक्षण और उपाय


के द्वारा मेडिकली रिव्यूड

डॉ. प्रणाली पाटील

फार्मेसी · Hello Swasthya


Sunil Kumar द्वारा लिखित · अपडेटेड 07/06/2020

ad iconadvertisement

Was this article helpful?

ad iconadvertisement
ad iconadvertisement