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Conjunctival Melanoma: जानिए रेयर कैंसर कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण, कारण और इलाज!

के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील · फार्मेसी · Hello Swasthya


Nidhi Sinha द्वारा लिखित · अपडेटेड 18/07/2022

    Conjunctival Melanoma: जानिए रेयर कैंसर कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण, कारण और इलाज!

    मेदांता इंस्टीट्यूट ऑफ एजुकेशन एंड रिसर्च (Medanta Institute of Education and Research) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार भारत में आंख का कैंसर रेयर कैंसर (Rare cancer) की लिस्ट में शामिल है। भारत में जितने में भी कैंसर डायग्नोस किये जाते हैं उनमें 0.3 से 0.4 प्रतिशत आंख के कैंसर की जानकारी मिलती है। वहीं रिसर्च रिपोर्ट में इस बात की भी जानकारी दी गई है कि आई कैंसर पेशेंट्स में 70 से 80 प्रतिशत केसेस एडल्ट्स में देखे जाते हैं। आई कैंसर भी अलग-अलग तरहों की होती है और उन्हीं में से एक है कंजंक्टिवल मेलानोमा (Conjunctival Melanoma)। आज इस आर्टिकल में हम आपके साथ कंजंक्टिवल मेलानोमा (Conjunctival Melanoma) से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियां शेयर करेंगे। 

  • कंजंक्टिवल मेलानोमा क्या है?
  • कंजंक्टिवल मेलानोमा के कारण क्या हैं?
  • कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण क्या हैं?
  • कंजंक्टिवल मेलानोमा का निदान कैसे किया जाता है?
  • कंजंक्टिवल मेलानोमा का इलाज कैसे किया जाता है?
  • चलिए कंजंक्टिवल मेलानोमा (Conjunctival Melanoma) से जुड़े इन सवालों का जवाब जानते हैं। 

    कंजंक्टिवल मेलानोमा क्या है? (About Conjunctival Melanoma) 

    कंजंक्टिवल मेलानोमा (Conjunctival Melanoma)

    आंख की सफेद परत जो आंख के अधिकांश हिस्से को ढक लेती है उसे स्क्लेरा कहते हैं और स्क्लेरा कवर करने वाली लेयर को कंजंक्टिवा कहते हैं। स्क्लेरा आईबॉल के बाहरी हिस्से के ज्यादातर भाग को ढ़कने का काम करती है। ये टफ और सफेद रंग की होती है। ये फ्रंट आई में कॉर्निया (Cornea) के साथ होती है, जिसके माध्यम से प्रकाश जाता रहता है। इस तरह का मेलेनोमा रेयर (Rare Melanoma) होता है। ये बहुत ही एग्रेसिव होता है और आस-पास के स्ट्रक्चर में बढ़ने लगता है। ये रक्त कोशिका (Blood Cells) और लिम्फ सिस्टम (Lymph system) में भी फैल सकता है। साथ ही ये लंग (Lung), लिवर (Liver), और ब्रेन (Brain) में भी फैल सकता है। ये कैंसर (Cancer) जानलेवा भी साबित हो सकता है।

    और पढ़ें : ALK positive lung cancer: एएलके पॉसिटिव लंग कैंसर क्या है? जानिए इसके लक्षण और इलाज!

    कंजंक्टिवल मेलानोमा के कारण क्या हैं? (Cause of Conjunctival Melanoma) 

    आंख के मेलानोमा या कंजंक्टिवल मेलानोमा के कारण तो साफ नहीं है, लेकिन ऐसा माना जाता है कि आई मेलानोमा (Eye melanoma) की समस्या आंखों के डीएनए (DNA) के हेल्दी सेल्स में शुरू होने वाली समस्या के कारण हो सकती है। दरअसल आंखों के डीएनए से जुड़ी समस्या सेल्स को तेजी से बढ़ाने में सहायक होता है और ज्यादा बढ़ी हुई सेल्स जिसे नष्ट हो जाना चाहिए वो बढ़ती चली जाती हैं और यही आंखों की मियूटेड सेल्स आई मेलानोमा का कारण बनने लगती है। अब ऐसी स्थिति में सबसे ज्यादा जरूरी है कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण (Conjunctival Melanoma symptoms) के बारे में जानना और समझना। 

    कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण क्या हैं? (Symptoms of Conjunctival Melanoma) 

    कंजंक्टिवल मेलानोमा (Conjunctival Melanoma)

    मायो फाउंडेशन फॉर मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च (Mayo Foundation for Medical Education and Research) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार आई मेलानोमा या कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण निम्नलिखित हो सकते हैं। जैसे: 

    • आंखों के सामने फ्लैश जैसा चमकना या धूल के धब्बे (फ्लोटर्स) की तरह नजर आना। 
    • आइरिस (Iris) में डार्क स्पॉट्स नजर आना। 
    • आंख के अंदर में मौजूद डार्क सर्कल के शेप में बदलाव आना। 
    • दाहिने या बाएं आंख से धुंधला दिखाई (Blurry vision) देना। 
    • पेरीफेरल विजन (Peripheral vision) से जुड़ी समस्या होना। 

    ये हैं कंजंक्टिवल मेलानोमा के लक्षण, लेकिन कभी-कभी देखने में समस्या होना या धुंधला नजर आना सामान्य परेशानी महसूस हो सकती है, लेकिन ऐसी परेशानी नजर आती है तो इसे इग्नोर ना करें और जल्द से जल्द डॉक्टर से कंसल्ट करें। 

    और पढ़ें : बोन कैंसर कीमोथेरिपी (Bone cancer chemotherapy): कब जरूरत पड़ती है बोन कैंसर के लिए कीमोथेरिपी!

    कंजंक्टिवल मेलानोमा का निदान कैसे किया जाता है? (Diagnosis of Conjunctival Melanoma)

    आई मेलेनोमा या कंजंक्टिवल मेलानोमा का निदान निम्नलिखित तरीकों से किया जाता है। जैसे: 

    • आई एग्जाम (Eye exam)- डॉक्टर पेशेंट की आंख के बाहर की जांच करेंगे और बढ़े हुए ब्लड वेसेल्स को समझने की कोशिश करेंगे। दरअसल बढ़े हुए ब्लड वेसेल्स की वजह से आंख के अंदर ट्यूमर की ओर इशारा करता है। इसके बाद अलग-अलग टेस्ट करवाने की सलाह देते हैं। 
    • आंख का अल्ट्रासाउंड (Eye Ultrasound)- आंख के अल्ट्रासाउंड के लिए हाई फ्रीक्वेंसी साउंड वेव की मदद ली जाती है। इस दौरान वांडलीक एप्रेटस (Wandlike apparatus) की सहायता से आंख की इमेज बनती है जिसे ट्रांसड्यूसर (Transducer) भी कहा जाता है। ट्रांसड्यूसर को बंद आंखों पर या फिर आंख के सामने रखा जाता है। इस टेस्ट की मदद से ट्यूमर के आसपास के ब्लड वेसेल्स की जानकारी मिलती है। आई अल्ट्रासाउंड (Eye Ultrasound) के बाद एंजियोग्राम (Angiogram) की भी मदद ली जाती है। 
    • आई एंजियोग्राम (Eye angiogram)- आंखों के एंजियोग्राम के दौरान आर्म के वेन में रंगीन डाई (Colored dye) इंजेक्ट की जाती है, जो आंखों के ब्लड वेसेल्स तक पहुंचती हैं। वहीं कलर्ड डाई का पता लगाने के लिए विशेष फिल्टर वाला कैमरा हर कुछ सेकंड में कई मिनट तक फ्लैश तस्वीरें लेता है।
    • ऑप्टिकल कोहरेन्स टोमोग्राफी (Optical coherence tomography)- इमेजिंग टेस्ट यूवेल ट्रैक्ट और रेटिना के कुछ हिस्सों की तस्वीरें बनाता है। टेस्ट के टिशू का सैम्पल लिया जाता है। वहीं कुछ केसेस में सैम्पल के तौर पर लिए गए आई टिशू को बायोप्सी के लिए भी भेजा जा सकता है। 

    नोट: किसी भी कैंसर डायग्नोसिस के दौरान बायोप्सी रिपोर्ट (Biopsy) की खास भूमिका होती है, लेकिन आंख के कैंसर यानी आई मेलानोमा (Eye Melanoma) के डायग्नोसिस के दौरान बायोप्सी की मदद बहुत कम केसेस में ही पड़ती है। 

    और पढ़ें : Segmental resection of Lung Cancer: जानिए लंग कैंसर का सेग्मेंटल रिसेक्शन से जुड़ी पूरी जानकारी!

    कंजंक्टिवल मेलानोमा के डायग्नोसिस की प्रक्रिया सिर्फ यहीं तक सीमित नहीं है। कैंसर से जुड़ी जानकारी के लिए कई अन्य टेस्ट भी किये जाते हैं। जैसे:

    • पेशेंट का ब्लड टेस्ट (Blood tests) किया जाता है, जिससे लिवर फंक्शन (Liver function) से जुड़ी जानकारी मिलती है। 
    • चेस्ट एक्स-रे (Chest X-ray)। 
    • सीटी स्कैन (CT scan)।
    • एमआरआई स्कैन (MRI scan)।
    • एब्डॉमिनल अल्ट्रासाउंड (Abdominal ultrasound)।
    • पीईटी स्कैन (PET scan)।  

    कंजंक्टिवल मेलानोमा के इलाज से पहले कंजंक्टिवल मेलानोमा का डयग्नोसिस इन्हीं ऊपर बताये गए अलग-अलग टेस्ट से किया जाता है। अगर पेशेंट आई कैंसर (Eye cancer) के अलावा किसी अन्य हेल्थ कंडिशन (Health Condition) की समस्या से भी पीड़ित है, तो ऐसी स्थिति में अन्य टेस्ट (Test) या बॉडी चेकअप (Body checkup) भी कर सकते हैं। 

    और पढ़ें : Stages of Bone cancer: जानिए बोन कैंसर के स्टेज 1 से 4 तक की महत्वपूर्ण जानकारी और टेस्ट!

    कंजंक्टिवल मेलानोमा का इलाज कैसे किया जाता है? (Treatment for Conjunctival Melanoma)

    कंजंक्टिवल मेलानोमा का इलाज उसके आकार और पेशेंट की हेल्थ कंडिशन पर निर्भर होता है। इसलिए निम्नलिखित तरीकों से कंजंक्टिवल मेलानोमा का इलाज किया जा सकता है। जैसे: 

    • वेट एंड वॉच (wait and watch)- शायद आप ये सोचें की बीमारी के इलाज के लिए वेट एंड वॉच क्यों? दरअसल अगर कैंसर का आकार छोटा है, तो ऐसी स्थिति में इलाज अलग-अलग तरह से शुरू की जाती है।  
    • रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy)- रेडिएशन थेरिपी हाई पावर्ड एनर्जी जैसे प्रोटॉन्स  (Protons) या गामा रे (Gamma rays) होते हैं जिसकी मदद से कैंसर सेल्स को नष्ट किया जाता है। रेडिएशन थेरिपी विशेष रूप से छोटे से मीडियम साइज के कंजंक्टिवल मेलानोमा के इलाज के लिए किया जाता है। रेडिएशन आमतौर पर पेशेंट आंख पर रेडियोएक्टिव प्लाक (Radioactive plaque) लगाकर ट्यूमर तक पहुंचाया जाता है। इस प्रक्रिया को ब्रैकीथेरिपी (Brachytherapy) भी कहा जाता है। इस दौरान अस्थायी स्टीच की सहायता से प्लाक को जगह पर रखा जाता है। कंजंक्टिवल मेलानोमा के इलाज के लिए इस्तेमाल की जाने वाली प्लाक बोतल के ढक्कन की तरह प्रतीत होती है और प्लाक में रेडियोएक्टिव सीड्स (Radioactive seeds) मौजूद होते हैं। इस प्लाक को 4 से 5 घंटे तक रखा जाता है और फिर हटा दिया जाता है। 
    • लेजर ट्रीटमेंट (Laser treatment)- कंजंक्टिवल मेलानोमा का इलाज लेजर ट्रीटमेंट की मदद से भी किया जाता है। आई मेलानोमा के इलाज के लिए लेजर ट्रीटमेंट के अंतर्गत आने वाली थर्मोथेरिपी (Thermotherapy) की मदद ली जाती है। इस दौरान इंफ्रारेड लेजर (Infrared laser) के इस्तेमाल के साथ-साथ रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy) भी दी जा सकती है। 
    • फोटोडायनेमिक थेरिपी (Photodynamic therapy)- फोटोडायनेमिक थेरिपी एक खास तरीके के लाइट के वेवलेंथ को जोड़ती है। इस दौरान दवाएं कैंसर कोशिकाओं को प्रकाश के प्रति संवेदनशील बनाने में सक्षम होती है और आई मेलानोमा को विकसित करने वाले वेसेल्स को डैमेज करने का काम करती है। फोटोडायनेमिक थेरिपी का इस्तेमाल सिर्फ छोटे-छोटे ट्यूमर को डैमेज करने के लिए किया जाता है। अगर ट्यूमर का आकार बड़ा हो तो फोटोडायनेमिक थेरिपी ऑन्कोलॉजिस्ट द्वारा रिकमेंड नहीं की जाती है।   
    • कोल्ड थेरिपी (Cold treatments)- छोटे आई मेलानोमा को डैमेज करने के लिए कोल्ड थेरिपी की मदद ली जा सकती है। कोल्ड थेरिपी को क्रायोथेरपी (cryotherapy) भी कहा जाता है। 
    • सर्जरी (Surgery)- आई मेलानोमा के इलाज के लिए सर्जरी की भी जरूरत पड़ सकती है। इस सर्जरी के दौरान आंख के कुछ हिस्से को हटाया जाता है या कैंसर सेल्स पूरी तरह से फैल चूका है तो पूरे आंख को भी हटाने की जरूरत पड़ सकती है। 

    कंजंक्टिवल मेलानोमा का इलाज इन्हीं ऊपर बताये गए अनुसार किया जाता है। 

    और पढ़ें : Care after Bone cancer surgery: बोन कैंसर सर्जरी के बाद पेशेंट का कैसे रखें ध्यान?

    अगर आप आई मेलानोमा या कंजंक्टिवल मेलानोमा (Conjunctival Melanoma) से जुड़े किसी तरह के सवाल का जवाब जानना चाहते हैं, तो आप हैलो स्वास्थ्य के फेसबुक पेज पर कमेंट बॉक्स में पूछ सकते हैं। हैलो स्वास्थ्य के हेल्थ एक्सपर्ट आपके सवालों का जवाब जल्द से जल्द देने की पूरी कोशिश करेंगे। कैंसर ट्रीटमेंट के दौरान परेशान ना हों, इस बीमारी के इलाज में वक्त लग सकता है। 

    स्वस्थ रहने के लिए अपने डेली रूटीन में योगासन शामिल करें। यहां हम आपके साथ योग महत्वपूर्ण जानकारी शेयर कर रहें हैं, जिसकी मदद से आप अपने दिनचर्या में योग को शामिल कर सकते हैं। नीचे दिए इस वीडियो लिंक पर क्लिक कर योगासन से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारी जानिए।

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