परिभाषा
रूमेटिक फीवर (Rheumatic fever) क्या है?
रूमेटिक फीवर एक इंफ्लामेट्री डिसीज है। शुरुआती दौर में इसकी वजह से होने वाले संक्रमण को स्कारलेट फीवर कहा जाता है। जब सही समय पर इसका उपचार नहीं किया जाता तो रुमेटिक फीवर होने की आशंका बढ़ जाती है। ये समस्या स्ट्रेप्टोकोकस बैक्टीरिया की वजह से होती है। ये गंभीर रूप ले ले तो यह बेहद खतरनाक हो सकता है।
रूमेटिक फीवर में शरीर का इम्यून सिस्टम असंतुलित हो जाता है। यह शरीर में स्वस्थ टिश्यूज को नष्ट करने लगता है। इसकी वजह से हार्ट वाल्व और हार्ट फेलियर के साथ स्ट्रोक की समस्या हो सकती है। ट्रीटमेंट की हेल्प से जलन, दर्द और अन्य लक्षणों को कम किया जा सकता है।
कितना कॉमन है रूमेटिक फीवर (Rheumatic fever)
रूमेटिक फीवर 5 से 15 साल के बच्चों में बहुत कॉमन है। ये बच्चों और वयस्कों को भी हो सकता है। इसके बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से संपर्क करें।
यह भी पढ़ें: डेंगू के दौरान न करें ये गलतियां, एक्सपर्ट से जानें कैसे करनी है रोकथाम
लक्षण
रूमेटिक फीवर (Rheumatic fever) के लक्षण क्या हैं?
रूमेटिक फीवर के सामान्य लक्षण हैं,
- बुखार
- पेनफुल और टेंडर ज्वाइंट्स, घुटनों, टखनों, कोहनी और कलाई में
- एक जोड़ से दूसरे जोड़ में दर्द
- गले में खराश
- छाती में दर्द
- जी मिचलाना
- उल्टी
- सांस फूलना
- लाल, गर्म या सूजे हुए जोड़
- त्वचा के नीचे गांठ का बनना
- सीने में दर्द
- दिल की असामान्य ध्वनि
- थकान
- पेनलेस रैश
- कंधे में झटकन महसूस होना
- जर्की, अनकन्ट्रोलबल बॉडी मूमेंट। ज्यादातर हाथ,पैर या फेस में।
रूमेटिक फीवर में लक्षण भिन्न भी हो सकते हैं। बीमारी के दौरान लक्षण बढ़ भी सकते हैं। हो सकता है कि यहां कुछ लक्षण न दिए गए हो। अगर आपको कुछ समस्या होती है तो कृपया अपने चिकित्सक से परामर्श करें।
मुझे अपने डॉक्टर को कब दिखाना चाहिए?
अगर आपको कुछ उपरोक्त लक्षण दिखाई देते हैं तो कृपया अपने डॉक्टर से संपर्क करें। हर किसी का शरीर अलग तरीके से काम करता है। डॉक्टर आपकी जांच करके उचित सलाह देगा।
यह भी पढ़ें: Otoplasty : ओटोप्लास्टी क्या है?
कारण
रूमेटिक फीवर के क्या कारण है?
ग्रुप ए स्ट्रेप्टोकोकस (streptococcus) नामक बैक्टीरिया से गले के संक्रमण के बाद रूमेटिक फीवर हो सकता है। समूह-ए स्ट्रेप्टोकोकस संक्रमण त्वचा या शरीर को नुकसान पहुंचाता है।
स्ट्रेप इंफेक्शन और रूमेटिक फीवर के बीच की कड़ी स्पष्ट नहीं है, लेकिन ये जीवाणु इम्यून सिस्टम को ट्रिक्स करता है। स्ट्रेप जीवाणु में एक प्रोटीन होता है जो शरीर के कुछ टिशूज में पाई जाती है। इसलिए इम्यून सिस्टम की सेल्स (जो आमतौर पर बैक्टीरिया से लड़ती है) अपने टिशूज का इलाज कर सकती हैं।
अगर आपके बच्चे को स्ट्रेप बैक्टीरिया को खत्म करने के लिए एंटीबायोटिक दी जाती है और तय समय में दवा लेता है, तो रूमेटिक फीवर होने की बहुत कम संभावना है। यदि आपके बच्चे का स्कार्लेट बुखार का इलाज नहीं किया गया है तो संभावना है कि उसे रूमेटिक फीवर हो जाए।
यह भी पढ़ें : नवजात शिशु को बुखार होने पर करें ये 6 काम और ऐसा बिलकुल न करें
Risk factors
रूमेटिक फीवर (Rheumatic fever) के लिए मेरा जोखिम क्या है?
रूमेटिक फीवर के लिए कई जोखिम कारक हैं, जैसे
- परिवार का इतिहास- कुछ लोगों में जीन के कारण भी ये बीमारी हो सकती है।
- स्ट्रेप बैक्टीरिया का प्रकार- स्ट्रेप बैक्टीरिया के कुछ स्ट्रेंस की वजह से रूमेटिक फीवर की संभावना बढ़ जाती है।
- एंवायरमेंटल फैक्टर – रूमेटिक फीवर का एक बड़ा खतरा भीड़-भाड़, स्वच्छता की कमी और अन्य स्थितियों से जुड़ा है। बैक्टीरिया को फैलाने के लिए ये फैक्टर प्रभावी होते है।
यह भी पढ़ें : Generalized Anxiety Disorder: क्या है जेनरलाइज्ड एंग्जायटी डिसॉर्डर ? जानें इसके कारण, लक्षण और उपाय.
निदान और उपचार
प्रदान की गई जानकारी किसी भी चिकित्सकीय सलाह का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा अपने चिकित्सक से परामर्श करें।
रूमेटिक फीवर (Rheumatic fever) का निदान कैसे किया जाता है?
रूमेटिक फीवर के लिए कोई एक परीक्षण नहीं है। निदान चिकित्सा के इतिहास, फिजिकल टेस्ट और कुछ टेस्ट के रिजल्ट पर आधारित है।
ब्लड टेस्ट
अगर आपके बच्चे को पहले से ही स्ट्रेप संक्रमण का पता चल जाता है तो डॉक्टर बैक्टीरिया के लिए अलग से टेस्ट के लिए नहीं कहेगा। आपके डॉक्टर को सी-रिएक्टिव प्रोटीन और एरिथ्रोसाइट सेडीमेंटेशन रेट के लिए ब्लड टेस्ट करेगा।
इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम (ईसीजी या ईकेजी)
यह परीक्षण – जिसे ECG या EKG भी कहा जाता है । इसमें विद्युत संकेतों को रिकॉर्ड किया जाता है क्योंकि वे आपके बच्चे के दिल की धड़कन बताते है। आपका डॉक्टर इन संकेतों के बीच पैटर्न की तलाश कर सकता है जो दिल में आई सूजन के बारे में जानकारी देता है।
इकोकार्डियोग्राम
दिल की लाइव-एक्शन छवियों को दिखाने के लिए ध्वनि तरंगों का उपयोग किया जाता है। यह परीक्षण हृदय की असामान्यताओं का पता के लिए किया जाता है।
यह भी पढ़ें : Iron Test : आयरन टेस्ट क्या है?
रूमेटिक फीवर (Rheumatic fever) का इलाज कैसे किया जाता है?
उपचार में शामिल हैं:
डॉक्टर पेनिसिलिन या अन्य एंटीबायोटिक लिखेंगे। आपके बच्चे के पूर्ण एंटीबायोटिक उपचार पूरा करने के बाद, डॉक्टर गठिया के बुखार को रोकने के लिए एंटीबायोटिक दवाओं का एक और कोर्स शुरू करेगा। जिन लोगों को रूमेटिक फीवर के दौरान दिल की सूजन होती है, उन्हें 10 साल या उससे अधिक समय तक एंटीबायोटिक उपचार लेने की सलाह दी जा सकती है।
एंटी इंफ्लामेंट्री ट्रीटमेंट
आपका डॉक्टर सूजन, बुखार और दर्द को कम करने के लिए एस्पिरिन या नेप्रोक्सन जैसी दर्द निवारक दवा दे सकता है। यदि लक्षण गंभीर हैं या आपका बच्चे पर दवा का असर नहीं दिख रहा है तो डॉक्टर कॉर्टिकोस्टेरॉइड लिख सकता है।
एंटीकॉन्वेलसेंट मेडिसिन
सिडेनहम के कारण होने वाली गंभीर अनैच्छिक गतिविधियों के लिए आपका डॉक्टर एक एंटीकॉन्वल्सेंट लिख सकता है। जैसे कि वैल्प्रोइक एसिड या कार्बामाजेपिन ।
अपने चिकित्सक से चर्चा करने के बाद ही बच्चे को दवा दें।
यह भी पढ़ें : Thyroid biopsy: थायरॉइड बायोप्सी क्या है?
लाइफस्टाइल चेंज
कुछ जीवनशैली में बदलाव या घरेलू उपचार आपकी क्या आपकी मदद कर सकता है?
निम्नलिखित जीवनशैली और घरेलू उपचार आपको बुखार से निपटने में मदद कर सकते हैं
डॉक्टर आपके बच्चे के लिए आराम करने की सलाह दे सकता है। सूजन, दर्द और अन्य लक्षणों में सुधार होने तक आपको उसकी गतिविधियों को पर ध्यान देना होगा। यदि सूजन दिल के ऊतकों में है, तो आपके बच्चे को सूजन सही होने में कुछ समय लग सकता है। बेहतर समाधान समझने के लिए कृपया अपने चिकित्सक से परामर्श करें।
हेलो हेल्थ ग्रुप चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार प्रदान नहीं करता है।
इस लेख में हमने आपको रूमेटिक फीवर से जुड़ी हर जानकारी देने की कोशिश की है। यदि आपको इससे जुड़ी अन्य कोई जानकारी चाहिए तो आप हमसे कमेंट कर अपना सवाल पूछ सकते हैं। हम आशा करते हैं आपको हमारा यह लेख पसंद आया होगा।
और पढ़ें :
Erectile Dysfunction : स्तंभन दोष क्या है?
मोटर स्किल डिसऑर्डर (Motor Skills Disorder) : लक्षण, कारण और उपचार