पर्याप्त नींद लें- प्रेग्नेंसी वीक 6 के दौरान अगर आपको लगातार नींद आ रही है तो थोड़ा आराम कीजिए। इसके अलावा मेडिटेशन और काल्मिंग एक्सरसाइज के द्वारा अपने दिमाग को आराम दीजिए।
पौष्टिक खाएं- प्रेग्नेंसी वीक 6 में पोषण की बहुत जरूरत होती है, क्योंकि इस समय शिशु के शारीरिक अंगों का निर्माण होना शुरू होता है। इसलिए, पर्याप्त प्रोटीन और कार्बोहाइड्रेट्स का सेवन करें, ताकि आपके शरीर में ऊर्जा बनी रहे। प्रेग्नेंसी वीक 6 में आपको जी मिचलाना या भूख न लगना जैसी दिकक्तें हो सकती हैं। सूप जैसी आसानी से सेवन किए जाने वाली चीजों को खाएं। इसमें अदरक मिलाने से जी मिचलाने की समस्या भी सही हो सकती है।
थोड़ी-थोड़ी देर में खाएं- अगर आपको गर्भधारण हो गया है, तो प्रेग्नेंसी वीक 6 में आपको बार-बार भूख लग सकती है। इसलिए, थोड़ा-थोड़ा खाना छोटे-छोटे इंटरवल पर खाते रहें। प्रेग्नेंसी वीक 6 से दिन में कम से कम 6 बार थोड़ा-थोड़ा खाएं। याद रखिए, प्रेग्नेंसी वीक 6 तक आते-आते आपको सिर्फ अपने लिए भोजन और पोषण की जरूरत नहीं होती, बल्कि अब आपके शिशु को भी आपके द्वारा ही पोषण मिलेगा। अपने ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित रखने से शरीर में ऊर्जा बनी रहेगी। प्रेग्नेंसी वीक 6 में ऐसे खाद्य पदार्थ का सेवन करें, जिससे ऊर्जा मिल सके।
शारीरिक गतिविधि करती रहें- थकान आपको आलसी बना सकती है। लेकिन, एनर्जी बढ़ाने के लिए अपने लिए हल्का एक्सरसाइज रूटीन अपनाएं। इसके लिए वॉल्किंग, स्विमिंग करना बेहतर विकल्प हो सकता है। ऐसा करने से आपके शरीर में ऊर्जा बनी रहेगी और नींद भी अच्छी आएगी।
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प्रेग्नेंसी वीक 6 में मुझे किन बातों के बारे में चिंतित होना चाहिए?
प्रेग्नेंसी वीक 6 में बार-बार पेशाब आना नॉर्मल है। प्रेग्नेंसी में HCG हॉर्मोन की वजह से बार-बार पेशाब आता है। यह हॉर्मोन आपकी किडनी तक होने वाले ब्लड फ्लो को बढ़ा देता है, ताकि आपके और आपके शिशु के शरीर का वेस्ट बाहर जा सके। गर्भावस्था के 6 सप्ताह के दौरान बार-बार पेशाब आने पर चिंता की कोई बात नहीं है। इन कुछ टिप्स की मदद से आप बार-बार आ रहे पेशाब को मैनेज कर सकते हैं।
पेशाब करते समय आगे की तरफ झुकें। इससे ब्लेडर पूरी तरह खाली होगा। पेशाब आना बंद होने के बाद दोबारा पेशाब करने की कोशिश करें, ताकि ब्लेडर पूरी तरह से खाली हो सके और आपको बहुत जल्दी-जल्दी बाथरूम न जाना पड़े।
पानी पीती रहें। बार-बार पेशाब आने के डर से पानी पीना बंद न करें। आपके और आपके शिशु के शरीर को पानी की जरूरत होती है। क्योंकि, पानी न पीने से होने वाली डिहाइड्रेशन के कारण यूरिनरी ट्रेक्ट इंफेक्शन हो सकता है। बार-बार पेशाब आना परेशान कर सकता है, लेकिन इससे आपके और आपके शिशु के शरीर का वेस्ट बाहर जा सकेगा।
कैफीन का सेवन कम करें- कैफिन का कम सेवन करना बेहतर रहेगा। क्योंकि, कैफिन लेने से पेशाब ज्यादा आता है और हृदय-गति भी बढ़ती है। सलाह के तौर पर, पूरे दिन में सिर्फ 200 एमजी कैफीन (355 एमएल कॉफी के बराबर) लेना पर्याप्त है।