बृजेश बताते हैं कि “जनवरी 2019 में मैंने शुगर छोड़ दिया। शुरुआत में मुझे कमजोरी महसूस होती थी, कभी-कभी तो चक्कर जैसा भी फील हुआ। इसके बाद कहीं पार्टी या मार्केट में जाने के बाद मीठी चीजों को देखकर स्वीट क्रेविंग भी होती थी। लेकिन दृढ़ संकल्प होने के नाते मैंने मीठी चीजों को हाथ नहीं लगाया। शुरुआत के एक महीने तक मुझे ये समस्याएं हुई। लेकिन समय बीतने के साथ-साथ मैंने महसूस किया कि मेरा वजन बहुत प्रभावी ढंग से कम होने लगा। इसके अलावा मेरी डायट में भी कमी आई, मुझे बार-बार भूख लगने की समस्या भी कम हो गई। पेट संबंधी समस्याओं से भी राहत मिली। शुगर छोड़ने के बाद खुद को ज्यादा एक्टिव महसूस करने लगा। रातों में नींद भी बेहतर आने लगी। आज मैं पहले की तुलना में ज्यादा फिट हूं और मुझे लगता है कि शुगर छोड़ना एक बेहतरीन फैसला था।”
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#2 शुगर डिचिंग के बाद अच्छा महसूस किया – निगम प्रजापति
महाराष्ट्र के विट्ठलवाड़ी के रहने वाले निगम प्रजापति (उम्र 48) ने शुगर छोड़ने को लेकर अपना अनुभव साझा करते हुए कहा कि “शुगर छोड़ना किसी चुनौती से कम नहीं है, चाय हर किसी की सबसे पसंदीदा चीज है। चाय पीने की लत शुगर छोड़ने के रास्ते में सबसे बड़ा रोड़ा होती है। जब मेरी उम्र 45 साल थी, तब मेरी तबीयत खराब रहने लगी थी, उस दौरान मुझे पेट संबंधी समस्या होती थी। इसके बाद डॉक्टर ने मुझे मीठा ना खाने की सलाह दी। बिना मिठास के जिंदगी बिताना उस समय मुझे डराने वाला था।”
निगम ने बताया कि “कोशिश करते-करते आखिर मैंने मीठी चीजों को खाना कम किया, लेकिन छोड़ना मुश्किल सा लगता था। इसके बाद भी मुझे अपनी सेहत में काफी सुधार नहीं लग रहा था। फिर मैंने ठान लिया कि अब मुझे शुगर डिचिंग करनी ही है। शुरुआत में चाय छोड़ना मुश्किल हुआ, फिर धीरे-धीरे मैंने चाय में चीनी की मात्रा को कम करना शुरू किया, फिर बिना चीनी की चाय और आज मैंने चाय पीना छोड़ दिया। चाय को छोड़ते ही शरीर द्वारा शुगर लेने का जरिया भी खत्म हो गया। इसके बाद मैंने खुद को बहुत अच्छा महसूस किया और मेरा वजन भी घट गया।“
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#3 डायबिटीज थी मजबूरी, लेकिन शुगर छोड़ना था जरूरी – राजेंद्र मौर्या
महाराष्ट्र के महाड़ निवासी राजेंद्र मौर्या (उम्र 61) बताते हैं कि “शरीर को फिट रखने के लिए सही डायट और फिजिकल एक्टिविटी का होना बहुत जरूरी है। मुझे पहले डायबिटीज था, इसके बाद मैं पैरालिसिस का शिकार हो गया। ये दौर मेरे लिए बहुत मुश्किल था, ऐसे में दो हफ्ते हॉस्पिटल में रहने के बाद समझ में आया कि अब और लापरवाही नहीं। डॉक्टर द्वारा दी गई डायट के साथ मैंने शुगर लेना बिल्कुल बंद कर दिया। इसके बाद मेरा वजन काफी तेजी से घटना शुरू हो गया।”
राजेंद्र बताते हैं कि “पैरालाइज्ड होने के बाद मैंने योगा करना शुरू किया, जिससे मात्र 4 महीनों में मैं पहले की तरह स्वस्थ हो गया। वहीं, मैंने शुगर डिचिंग के बाद खुद को ज्यादा एक्टिव और एनर्जेटिक महसूस किया है। शुगर छोड़ना तो डायबिटीज के कारण जरूरी था, लेकिन आज लगता है कि अगर शुगर और पहले छोड़ा होता तो शायद ये स्वास्थ्य समस्याओं से दो चार ना होना पड़ता।”
शुगर छोड़ने के बाद शरीर में क्या बदलाव होते हैं?
शुगर छोड़ने के बाद शरीर में कुछ बदलाव होते हैं, जिससे शुरुआत में काफी परेशानी होती है। एक रिसर्च के मुताबिक शुगर हमारे शरीर के लिए एक ड्रग्स जैसा है, जो समय से ना मिलने पर हमारे शरीर में समस्याएं उत्पन्न हो सकती है, जैसे- सिरदर्द, चक्कर आना, चिड़चिड़ापन आदि। शुगर डिचिंग के वक्त शरीर में निम्न बदलाव आते हैं :