पैर, गर्दन, पीठ, चेहरे, हाथ में कहीं भी छोटे-छोटे गुलाबी, काले या भूरे उभरे हुए निशान को मोल, तिल या मस्सा कहा जाता है। जब त्वचा की कोशिकाएं पूरी स्किन में फैलने की जगह एक स्थान पर इकट्ठी हो जाती हैं तो वे मस्सा का रूप ले लेती हैं। ये तिल पिगमेंट मेलानोसाइट्स से बने होते हैं, जो शरीर में तिल (Moles on body) के अलग-अलग रंगों के लिए जिम्मेदार होता है। वहीं शरीर में तिल (Moles on body) अगर ज्यादा हैं तो ऐसे इंसान में मेलानोमा स्किन कैंसर होने का खतरा ज्यादा रहता है। ऐसे ही कुछ और फैक्ट्स जानते हैं जो जुड़े हैं मस्से सेः
शरीर में तिल के पीछे के तथ्य
- मस्से, तब होते हैं, जब ह्यूमन पेपिलोमा वायरस (Human Papilloma Virus) स्किन की परत को संक्रमित करता है। इसकी वजह से त्वचा की ऊपरी परत में केराटिन (Keratin) नाम के प्रोटीन की लेयर बन जाती है। यह अतिरिक्त परत ही मस्से (moles) के रूप में नजर आते हैं।
- बच्चों को मस्से होना आम बात है। लगभग एक तिहाई बच्चों के शरीर में तिल (Moles on body) पाए जाते हैं। आमतौर पर बच्चों के दो साल के होने से पहले ही ये खत्म भी हो जाते हैं क्योंकि समय के साथ उनकी इम्युनिटी भी बढ़ती है।
- वैसे मस्सों को हटाने के लिए कई उपचार मौजूद हैं। लेकिन 90 फीसदी मस्से बिना किसी इलाज के खुद ब खुद ठीक हो जाते हैं।
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- जानकर अजीब लगेगा, लेकिन शरीर में तिल (Moles on body) को लेकर अलग-अलग देशों में अजीबोगरीब मान्यताएं हैं। यूरोप के देशों की बात करें तो वहां तिल होने का मतलब किसी राक्षस की कैटेगरी का होना है। कई जगहों पर इसे ब्यूटी सीक्रेट (beauty secret) भी माना जाता है।
- बच्चे में जन्म के समय से ही शरीर में तिल (Moles on body) होते हैं। कई बार मस्से जन्म के बाद भी और कभी तो 20-30 साल की उम्र में भी निकलते हैं।
- जो लोग धूप में ज्यादा रहते हैं, उनमें मस्से होने की संभावना अधिक रहती है।
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- कई बार शरीर के ये मोल्स खतरनाक भी हो सकते हैं। साइंस की भाषा में इस कंडीशन को मेलानोमा (Melanoma) कहा जाता है। यह एक तरह का स्किन कैंसर (skin cancer) होता है। वैसे तो रिसर्च कहती है कि तिल कैंसर का कारण बहुत ही कम बनते हैं। लगभग 3164 मामलों में सिर्फ एक ही ऐसा मामला सामने आता है। पुरुषों में मेलानोमा के लिए सबसे आम स्थान छाती और पीठ है। जबकि, महिलाओं में उनके पैर के निचले हिस्से में सबसे अधिक होता है। वहीं, मेलानोमा होने का खतरा सबसे अधिक युवा महिलाओं में पाया जाता है जो कैंसर का कारण बन सकता है।
शरीर में तिल (Moles on body) के बारे में क्या कहता है यहां का कल्चर?
इंडिया और चीन में शरीर के मस्से के बारे में कई सारी बातें कही जाती हैं। एस्ट्रोलॉजर्स कहते हैं कि तिल का रंग, आकार और जगह इंसान के अच्छे-बुरे भाग्य के बारे में बताते हैं। ज्योतिष के अनुसार एक कहावत है गले में मस्सा, सोने से कसा। इसका मतलब है कि अगर किसी के गले में तिल हो तो उसके पास जिंदगी भर सोने से लदा रहता है। वहीं, पीठ की बाईं ओर तिल होना लड़ाकू होने की ओर इशारा करता है, तो पैरों के तालू में तिल होना घुमक्कड़ी को दर्शाता है।
वैसे तो मस्से स्वास्थ्य के लिए हानिकारक नहीं होते हैं। चाहे वह बड़ा मोल हो या छोटा। हालांकि, शरीर में तिल (Moles on body) के आकार या रंग में परिवर्तन या रक्तस्राव होने पर इनको मेडिकल देखरेख की जरूरत होती है। इससे यह जानने में भी मदद मिलती है कि मोल्स को हटाने की आवश्यकता है या नहीं।
शरीर में तिल (Moles on body) क्या है?
सामान्य तौर पर शरीर में तिल (Moles on body) त्वचा के विकास का एक सामान्य प्रकार होता है। तिल अक्सर छोटे, गहरे भूरे रंग के धब्बे के रूप में दिखाई देते हैं जो पिगमेंटेड कोशिकाओं के समूहों के कारण होते हैं। शरीर में तिल आमतौर पर बचपन और किशोरावस्था के दौरान दिखाई देते हैं। एक व्यक्ति के शरीर में औसत तौर पर लगभग 10 से 40 तिल हो सकते हैं, तो बढ़ती उम्र के साथ ही हल्के रंग में हो जाते हैं या गायब भी हो जाते हैं। शरीर में अधिकांश तिल किसी भी तरह से स्वास्थ्य से जुड़ी गंभीर समस्या के लक्षण नहीं होते हैं। हालांकि, कुछ दुर्लभ स्थितियों में वे कैंसर का कारण बन सकते हैं।
किन स्थितियों में शरीर के तिल सामान्य होते हैं?
शरीर के अलग-अलग अंगों में तिल कैंसर के लक्षण हैं या नहीं, इसके लिए आप कई बातों का ध्यान रख सकते हैं, जिनमें शामिल हैंः
- तिलके रंग और बनावट
- तिल भूरे, काले, लाल, नीले या गुलाबी रंग के हो सकते हैं। वे चिकनी, झुर्रीदार, सपाट या उभरे हुए भी हो सकते हैं। उनके पास से बाल उग सकते हैं। जो सामान्य है।
- तिल का आकार
- ज्यादातर तिल अंडाकार या गोल आकार के होते हैं। आमतौर पर व्यास में ये 1/4 इंच (लगभग 6 मिलीमीटर) से कम हो सकते हैं।
- तिल आपके शरीर के कहीं भी विकसित हो सकते हैं, जिसमें आपकी सिर का हिस्सा, बगल का हिस्सा, आपके नाखूनों के नीचे और उंगलियों और पैर की उंगलियों के बीच भी विकसित हो सकते हैं। वहीं, किशोरावस्था और गर्भावस्था के दौरान होने वाले हार्मोनल परिवर्तन के कारण इनके रंग और आकार बड़े व गहरे भी हो सकते हैं।
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किन स्थितियों में तिल कैंसर के लक्षण हो सकते हैं?
निम्न स्थितियों में तिल कैंसर के लक्षण हो सकते हैं, जिनमें शामिल हैंः
- तिल का आकार बढ़ना या घटना। कैंसर के लक्षण होने पर तिल गोल आकार के होने के बजाय आधे आकार के बन सकते हैं।
- हर दिन त्वचा के अलग-अलग हिस्सों पर तिल का विकास होना।
- तिल का रंग सामान्य से अधिक गहरा या नीला होना
- तिल में खुजली होना या आसपास की त्वचा का लाल होना, सूजन होना।
ऊपर बताए गए निम्न में से किसी भी लक्षण के दिखाई देने पर आपको अपने डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए और उनसे इसके उचित टेस्ट और उपचार के बारे में सलाह लेनी चाहिए। सभी तिल कैंसर नहीं हो सकते हैं, इसलिए आपको घबराने की जरूरत नहीं है। आपको तिल के रंग में आने वाले बदलाव में नजर रखने की जरूरत है। थोड़ी सावधानी आपको बड़ी समस्या से बचा सकती है। आप तिल के रंग के बारे में अधिक जानकारी के लिए डॉक्टर से जरूर पूछें।
हैलो स्वास्थ्य किसी भी तरह की कोई भी मेडिकल सलाह नहीं दे रहा है। अगर इससे जुड़ा आपका कोई सवाल है, तो अधिक जानकारी के लिए आप अपने डॉक्टर से संपर्क कर सकते हैं। आपको इस आर्टिकल के माध्यम से शरीर में तिल (Moles on body) के बारे में जानकारी मिल गई होगी। अगर मन में अधिक प्रश्न हैं, तो बेहतर होगा कि इस बारे में डॉक्टर से पूछें। आप स्वास्थ्य संबंधी अधिक जानकारी के लिए हैलो स्वास्थ्य की वेबसाइट विजिट कर सकते हैं। अगर आपके मन में कोई प्रश्न है, तो हैलो स्वास्थ्य के फेसबुक पेज में आप कमेंट बॉक्स में प्रश्न पूछ सकते हैं और अन्य लोगों के साथ साझा कर सकते हैं।