चिकनपॉक्स एक गभीर संक्रामक रोग है, जो कि वैरिसेला जोस्टर नामक संक्रमण के कारण हाेता है। हालांकि, यह कई बार घातक नहीं होता है, इसस रिकवरी आमतौर पर लगभग 1-2 सप्ताह में होती है। लेकिन कुछ बच्चों में इसकी जटिलताएं देखी जा सकती हैं, जोकि जानलेवा भी बन सकती है। इसलिए बच्चों को चिकनपॉक्स वैक्सीन (Chicken pox vaccine) लेगवाना बहुत जरूरी होता है। इससे बच्चे गंभीर जटिलताओं से बच सकते हैं। आइए जानते हैं कि चिकनपॉक्स वैक्सीन (Chicken pox vaccine) क्या है? इससे पहले चिकन पॉक्स के लक्षण भी जान लेते हैं।
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चिकनपॉक्स के लक्षण (Symptoms of Chicken Pox)
चिकनपॉक्स के दाने आमतौर पर छाले की तरह दिखने वाले दानों की तरह होते हैं, लेकिन मरीज में चिकनपॉक्स के दाने आने से पहले उसमें दिए गए निम्नलिखित लक्षण नजर आ सकते हैं:
- तेज बुखार आना
- मांसपेशियों में दर्द होना
- जी मिचलाने की समस्या होना
- भूख में कमी होना
- सबसे पहले स्टेज में चकत्ते जैसे दिखाई देने रैशेज नजर आ सकते हैं, जो बाद में चिकन पॉक्स के लक्षण में बदल जाते हैं।
- दाने शरीर के लगभग सभी हिस्सों में फैलने लगते हैं।
- धब्बों के ऊपर दिखने वाले छाले आमतौर पर बहुत खुजली वाले होते हैं
बाद में नजर आने वाले कुछ लक्षण इस प्रकार है:
- छाले विकसित होने के 48 घंटों के बाद, उसके ऊपर एक पपड़ी बनने लगती है।
- संक्रमण के 10 दिनों के बाद क्रस्ट धीरे-धीरे गिरने लगते हैं।
दुर्लभ मामलों में, निम्नलिखित चिकनपॉक्स दुष्प्रभाव भी दिखाई दे सकते हैं:
- सांस लेने में कठिनाई महसूस होना
- दर्दनाक और सूजे हुए दोने
- अत्यधिक तेज बुखार
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चिकनपॉक्स वैक्सीन क्या है (what is chickenpox vaccine)?
चिकनपॉक्स वैक्सीन चेचक से बचाव के लिए काम करती है। हर बच्चे को चिकनपॉक्स से बचाव के लिए दिया जाता है, इसलिए उनके वेक्सीनेशन में चिकनपॉक्स वैक्सीन भी शामिल होती है। इसे वैरीसेला वैक्सीन भी कहा जाता है, क्योंकि यह वैरीसेला-जोस्टर वायरस के कारण होता है। चिकनपॉक्स वैक्सीन शरीर को वायरस के प्रति अन्य जोखिमों से प्रतिरक्षा करने में मदद करती है। इस वैक्सीन को आमतौर पर त्वचा के अंदर या ऊपरी बांह की मांसपेशियों में इंजेक्शन के माध्य से इंजेक्ट किया जाता है। शोधकर्ताओं का अनुमान है कि वैक्सीन चिकनपॉक्स को रोकने में लगभग 90% प्रभावी है, हालांकि समय के साथ इसका प्रभाव कम हो सकता है। इसका बूस्टर शॉट को हर दस या या डॉक्टर द्वारा बताए गए सालों में दोहराना चाहिए।
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लोगों को चिकनपॉक्स के टीके की आवश्यकता क्यों है (Why do people need the chickenpox vaccine)?
चिकनपॉक्स के अधिकांश मामले अपेक्षाकृत जानलेवा नहीं होते हैं, लेकिन यह बहुत गंभीर हो सकते हैं, यहां तक कि लोगों में जीवन के लिए खतरा भी हो सकता है। 1995 में अमेरिका में वैरीसेला वैक्सीन का लाइसेंस मिलने से पहले, चिकनपॉक्स से एक वर्ष में लगभग 100 मौतें और 11,000 से अधिक मरीज अस्पताल में भर्ती हुए थे। जिनमें शिशुओं, बुजुर्ग वयस्कों और कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले लोगों में इसकी जटिलताओं का जोखिम सबसे अधिक देखी गई। ता है। चिकनपॉक्स होने का एक और कारण है, जैसा कि यह बीमारी अत्यधिक संक्रामक है और यह सीधे संपर्क में आने से या हवा के माध्यम से छींकने या खांसने से दूसरे में फैल सकती है। इसी के साथ ‘ही चेचक के छाले से निकलने वाले पानी के संपर्क में आने पर कोई भी व्यक्ति इसकी चपेट में आ सकता है। तो ऐसे दूसरे बच्चों के बचाव के लिए और चेचक के शिकार बच्चों की रिकवरी के लिए, चिकनपॉक्स वाले बच्चों को लगभग एक सप्ताह या उससे अधिक समय तक स्कूल या डे केयर नहीं भेजना चाहिए। उन्हें घर के रूम में अलग रखें। जब तक कि सभी छाले सूख न जाएं और क्रस्ट न हो जाएं। बीमारी के कारण खुजली वाले दाने हो जाते हैं जो आमतौर पर पूरे शरीर पर 200 से 500 फफोले, सिरदर्द, खांसी और बुखार जैसे लक्षण नजर आ सकते हैं। इसलिए बीमारी में आराम मिलने के लिए 5 से 10 दिन का समय लग सकता है।
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चिकनपॉक्स का टीका किसे लगवाना चाहिए (Who should get the chickenpox vaccine) ?
डॉक्टर के द्वारा 13 साल से कम उम्र के उन सभी बच्चों के लिए चिकनपॉक्स वैक्सीन की सलाह दी जाती है। यह उन सभी किशोरों और वयस्कों के लिए भी है, जिन्हें सही समय पर टीका नहीं पाया था। उनमें जिनमें चिकनपॉस का टीका भी नहीं लगा है और जिन्हें चिकनपॉक्स अभी तक नहीं हुआ है। यदि आपको चिकनपॉक्स हुआ है, तो आपको टीका लगवाने की कोई आवश्यकता नहीं है। 2005 के बाद से, वैक्सीन एमएमआरवी नामक एक संयोजन टीके के हिस्से के रूप में भी उपलब्ध है, जो खसरा, कण्ठमाला, रूबेला और वैरीसेला से सुरक्षा प्रदान करता है।
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चिकनपॉक्स के टीके के कितने शॉट्स की जरूरत है (how many shots of chickenpox vaccine are needed)?
वैरीसेला वैक्सीन को दो खुराक में दिया जाता है। इसका बच्चे को पहला शॉट 12-18 महीने की उम्र में लगवाने की ल। दूसरा शॉट 4-6 साल की उम्र में दिया जाना चाहिए। पहले और दूसरे शॉट के बीच 4 से 8 सप्ताह के अंतर के बाद दिया जाना चाहिए।
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चिकनपॉक्स वैक्सीन से जुड़े दुष्प्रभाव क्या हैं (Are there side effects associated with the chickenpox vaccine)?
चैसे तो सभी वैक्सीन के संभावित दुष्प्रभाव हो सकते हैं। लेकिन वैरीसेला वैक्सीन से जुड़े दुष्प्रभाव आमतौर पर गंभीर नहीं होते हैं। शरीर के जिस हिस्से में इंजेक्शन लगा है, वहां दर्द, लालिमा या सूजन जैसे लक्षण नजर आ सकते हैं।
किन्हें चिकनपॉक्स का टीका नहीं लगवाना चाहिए (Are there people who should not get the chickenpox vaccine)?
चिकनपॉक्स वैक्सीन कुछ स्थितियों में गंभीर प्रभाव दिखा सकता है, यदि आप बीमार है या कोई रोग आपको हो रखा है या बुखार हो, तो ऐसे में तब तक इंतजार करना चाहिए जब तक कि टीका लगने से पहले बीमारी ठीक न हो जाए। साथ ही। इसके अलावा जिस किसी को भी पहले शॉट से एलर्जिक रिएक्शन हुआ हो, उसे दूसरा शॉट नहीं लगवाना चाहिए। अन्य स्थितियों में भी टीका नहीं लगवानी चाहिए। जिनमें शामिल हैं:
- प्रेग्नेंट महिलाओं को नहीं लगवाना चाहिए , क्योंकि भ्रूण पर टीके के प्रभाव के बारे में पता नहीं चलता है।
- किसी को जिलेटिन से एलर्जी हो, वैरिसेला वैक्सीन का जिलेटिन-फ्री शॉट उपलब्ध है।
- किसी को भी नियोमाइसिन से एलर्जी है।
- इम्यूनिटी डिजीज के शिकार मरीजों को।
- स्टेरॉयड की उच्च खुराक प्राप्त करने वाला कोई भी व्यक्ति को।
- एक्स-रे, दवाओं, या कीमोथेरेपी के साथ कैंसर के लिए किसी का भी इलाज चल रहा हो।
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चिकनपॉक्स वैक्सीन बचाव के लिए बहुत जरूरी है। इससे सही समय पर लगवाना चाहिए। बच्चे का वैक्सीन सेड्यूल में यह भी शामिल होता है। इसे डाॅक्टर द्वारा तय किए गए समय पर लगवाएं। चिकनपॉक्स वैक्सीन के बारे में जानकारी के लिए डॉक्टर से संपर्क करें।
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