आपके बच्चों में नोज पिकिंग बोरियत से भरी हो सकती है या कई बार बच्चे खुद को व्यस्त रखने के लिए भी यह कर सकते हैं। अगर वह बहुत ज्यादा टीवी देखते हैं और लंबे समय तक बैठे रहते हैं, तो उन्हें दूसरी एक्टिविटी में व्यस्त कराएं। जब उनके हाथ व्यस्त होगें तो उनके नाक में हाथ जाने की संभावना कम होगी।
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बच्चों में नोज पिकिंग (Nose picking) के लिए डॉक्टर से सलाह लें
यह हो सकता है कि बच्चों में नोज पिकिंग की आदत ना हो। वह ऐसा जरूरत होने पर ही कभी-कभी करता हो। अगर बच्चा कभी-कभी नोज पिकिंग करता है तो यह परेशानी की बात नहीं है लेकिन हर वक्त यह करना गलत आदत है। बच्चों में नोज पिकिंग के साथ किसी और बुरी आदत का दिखना जैसे कि बेड वेटिंग तब यह परेशानी की बात हो सकती है।
यदि आपका बच्चा नोज पिकिंग को इतनी बुरी तरह करता है कि जब तक नाक में से खून न आ जाए वो रूकता नहीं है तो यह सीरियस बात है। हो सकता है इसका कारण एंग्जायटी या इमोश्नल प्रोब्लम हो। इसके लिए आपको बिना देरी करें बच्चे के डॉक्टर से कंसल्ट करना चाहिए।
नोज पिकिंग का मतलब ये भी हो सकता है कि आपके बच्चे के साथ कुछ और परेशानी है। कंपलसिव नोज पिकिंग (Nose picking) या रिनोटिलेक्सोमेनिया (Rhinotillexomania) तनाव से शुरू हो सकता है। अगर आपको लगता है कि आपके बच्चे के अंदर ये परेशानी उम्र की वजह से नहीं किसी और कारण से है तो अपने डॉक्टर से संपर्क करें।
हम आशा करते हैं आपको हमारा यह लेख पसंद आया होगा। हैलो हेल्थ के इस आर्टिकल में नोज पिकिंग से जुड़ी ज्यादातर जानकारियां देने की कोशिश की है, जो आपके काफी काम आ सकती हैं। इससे जुड़ी यदि आप अन्य जानकारी चाहते हैं तो आप हमसे कमेंट कर पूछ सकते हैं। आपको हमारा यह लेख कैसा लगा यह भी आप हमें कमेंट कर बता सकते हैं।