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अगर पाना है कब्ज से ओवर नाइट निजात, तो अपनाएं ये फुलप्रूफ इलाज – From Grumpy to fresh mornings
नींद की कमी के कारण कब्ज होने पर आप अपनी लाइफस्टाइल को ठीक तो रखें ही, लेकिन तुरंत राहत पाने के लिए क्या करें? अक्सर हार्श लगने वाली मेडिसिन ही सही मायनों में आपके स्ट्रेसर्स को दूर भागाती है और अंदर से प्रॉब्लम पर काम करती है। तो आइए जानते हैं कि किस तरह आप लैक्सेटिव्स का सही इस्तेमाल कर सकते हैं?
बिसाकोडिल (Bisacodyl), डॉक्यूसेट (Docuset), पॉलीइथाइल ग्लाइकॉल (Polyethyl Glycol) ये सभी लैक्सेटिव में शामिल कम्पाउंड्स हैं। इन जेनेरिक फॉर्मूला से बनी दवाओं का सेवन आप कब्ज की समस्या में इस्तेमाल कर सकते हैं, क्योंकि इसकी दवा में प्रेजेंस आपको पहली रात से ही देगी राहत और देगी पेट के लॉकडाउन से आजादी। साथ ही ये उस इम्पॉर्टेंट अर्ली मॉर्निंग मीटिंग से पहले आपको तैयार करेगी, जो काम घरेलू नुस्खे नहीं इंस्टेंटली नहीं कर पाएंगे। भले ही अनिद्रा के कारण कब्ज हुआ हो किसी दूसरी वजह से यह सब पर असर करेगा।
जी हां, रोहन ने भी ये तरकीबें इस्तेमाल की, जिससे उस वक्त तो राहत मिल गई, लेकिन जड़ से प्रॉब्लम का सफाया नहीं पाया। भले ही आज तक आप भी घरेलू उपायों को कब्ज के उम्दा इलाज की तरह देखते आए हों, लेकिन इससे लंबे समय के बाद भी आराम मिले, ऐसा जरूरी नहीं। इसलिए लैक्सेटिव का इस्तेमाल कब्ज (Constipation) में करना आपके लिए एक जल्दी और गैरेंटीड उपाय साबित होता है। आप जब भी इन दवाओं का सेवन करें, तो अपने डॉक्टर की सलाह जरूर लें। फिर आप बिंदास हो कर सो जाएं। अगली सुबह आपका पेट पूरी तरह से साफ हो जाएगा और आप सुबह टेंशन-फ्री उठेंगे, जिससे आप पूरे दिन पॉजिटिव और एनर्जेटिक महसूस करेंगे।
कब्ज में बिसाकोडिल (Bisacodyl) कैसे आपके पेट के लॉकडाउन के लिए बनता है एक ‘गो-टू’ ऑप्शन?
ये तो आप जान ही गए होंगे कि बिसाकोडिल का इस्तेमाल कब्ज के इलाज के लिए किया जाता है। बिसाकोडिल एक प्रकार का लैक्सेटिव होता है। जो सक्रिय मेटाबोलाइट्स बनाने के लिए आंतों के एंजाइम और बैक्टीरिया को हाइड्रोलाइज करता है। जिससे यह सीधे कोलन के मूवमेंट के लिए इंटेस्टाइन म्यूकोसा (Intestinal Mucosa) पर असर करता है, जिससे कब्ज (constipation) का इलाज होता है। आसान भाषा में अगर समझें, जब हम खाना खाते हैं, तो फूड पाइप से लेकर आंतों तक भोजन नलिका, पेट, आंत के सिकुड़ने और फैलने की प्रक्रिया चलती रहती है। कब्ज होने पर आंतों के सिकुड़ने और फैलने की प्रक्रिया प्रभावित होती है, जिसे बिसाकोडिल ठीक करता है। बिसाकोडिल वेस्ट मटेरियल को बल्क के रूप में रेक्टम (Rectum) में जमा कर के आसानी से पेट साफ कराने में मदद करता है, जिससे कॉन्स्टिपेशन की समस्या से छुटकारा मिलता है। कब्ज से राहत पाने के लिए बिसाकोडिल का सेवन आपको रात में सोने से पहले लगभग 5 से 15 मिलीग्राम तक करना होगा। लेकिन ध्यान रखें कि किसी भी दवा का सेवन डॉक्टर के निगरानी में करना चाहिए।
इसलिए कब्ज से छुटकारा पाना अगर आपको आसान ना लगता हो, तो मेडिकेशन का चुनाव गलत नहीं होगा। इसके अलावा ये ध्यान रखने वाली बात है कि एक स्वस्थ्य जीवन के लिए सभी को आठ घंटे की नींद जरूरी है। इससे आप नींद में असंतुलन के कारण कब्ज की समस्या से बच जाएंगे और आपका अनिद्रा के कारण कब्ज की समस्या भी नहीं होगी। साथ ही डायजेस्टिव लॉकडाउन खुल तो जाएगा ही और साथ-साथ होगा काफी कुछ अनलोड।
हैलो हेल्थ ग्रुप चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार प्रदान नहीं करता है। इसलिए किसी भी प्रकार की दवाओं का सेवन डॉक्टर की निगरानी में करना बेहतर विकल्प माना जाएगा।