प्रेग्नेंसी के दौरान जब भी डायट की बात होती है तो कम कैलोरी या वेट लूज करने के बारे में नहीं सोचा जाता। प्रेग्नेंसी के दौरान गर्भवती महिला को एक दिन में 300 कैलोरी की आवश्यकता होती है। इस दौरान आप नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) को फॉलो कर सकती हैं। इसमें फ्रूट्स, वेजीटेबल, ब्रेड, ग्रेंस, प्रोटीन सोर्स और डेयरी प्रोडेक्ट को शामिल किया जा सकता है। आज हैलो स्वास्थ्य के इस आर्टिकल के माध्यम से हम आपको प्रेग्नेंसी के दौरान खाएं जाने वाले नार्थ इंडियन फूड के बारे में बताएंगे।
नॉर्थ इंडियन फूड में क्या है फेमस?
नॉर्थ इंडिया में मुख्य रूप से राजमा, चावल, सरसों का साग, मक्के की रोटी, दाल-बाटी, दही वड़ा, कढ़ी, वेज और नॉनवेज बिरयानी, पनीर-पालक, पनीर-मटर, स्टफ पराठा (आलू, मूली, प्याज, मेथी,पनीर) आदि शामिल हैं। ये सभी फूड टेस्टी के साथ ही हेल्दी भी होते हैं। प्रेग्नेंसी के दौरान न्यूट्रिएंट्स के आधार पर इन्हें खाया जा सकता है। यहां आपको दिन से लेकर रात तक का नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) प्लान दिया गया है। आप अपनी पसंद के अनुसार नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) अपना सकती हैं।
और पढ़ें : क्या है 7 मंथ प्रेग्नेंसी डाइट चार्ट, इस अवस्था में क्या खाएं और क्या न खाएं?
नॉर्थ इंडियन डायट : ब्रेकफास्ट से पहले स्नेक
- एक गिलास दूध (one glass milk)
- आलमंड मिल्क (Almond milk)
- एप्पल जूस (Apple juice)
- टोमैटो जूस (Tomato juice)
- ड्राई फ्रूट्स (Dry fruits)
-
ब्रेकफास्ट (Breakfast)
- पसंदीदा फल (fruits as per your choice)
- रवा का उपमा (इसमें सब्जियां शामिल कर सकते हैं) (Rava upma, you can add veggies)
- वेजीटेबल्स के साथ पोहा (Vegetable poha)
- ओट्स (Oats)
- वेजीटेबल आमलेट (Vegetable omelette)
- पराठा (पालक, दाल, आलू, गाजर, बींस, चीज और कर्ड) (Paratha)
- मिक्स्ड बींस कटलेट (Mixed beans cutlet)
- कुछ फ्रूट्स जैसे एप्रीकॉट्स, डेट्स, फिग, बनाना, आरेंज (Fruits such as apricots, dates, fig, banana and orange)
- चीज वेजीटेबल सैंडविच (Cheese vegetable sandwich)
- वेजीटेबल खांडवी (Vegetable khandwi)
- वेजीटेबल विद राइस (Vegetable with rice)
नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) : मिड मॉर्निंग स्नैक (Mid morning snack)
- पालक सूप (Spinach soup)
- टमेटो सूप (Tomato soup)
- गाजर-चुकंदर सूप (Carrot beatroot soup)
और पढ़ें : दूसरी तिमाही में गर्भवती महिला को क्यों और कौन से टेस्ट करवाने चाहिए?
लंच में ले सकते हैं ये डायट (Diet for lunch)
- पसंदीदा सब्जियां, दही रोटी (Vegetable, curd and chapati)
- दाल पराठा और दही (Dal paratha and curd)
- गाजर और मटर का पराठा, दही और बटर (carrot & peas paratha with butter and curd)
- रायता और जीरा राइस (Jeera rice & Raita)
- राइस,दाल, वेजीटेबल, सलाद (Dal, rice, vegetable & Salad)
- लेमन राइस, मटर, वेजीटेबल सलाद (Lemon rice, peas, vegetable salad)
- वेजीटेबल खिचड़ी (Vegetable khichadi)
- राइस, दाल, मिंट रायता (Rice, dal & mint raita)
- कोफ्ता करी, चावल (Kofta curry rice)
- चीज पराठा और कर्ड राइस, स्प्राउट्स बींस सलाद (Cheese paratha and curd rice, Sprouted beans salad)
ईवनिंग स्नैक्स में ये करें ट्राई (Evening snacks)
- चीज कॉर्न सैंडविच (Cheese corn sandwich)
- वेजीटेबल के साथ सेवई (Vegetable Vermicelli)
- गाजर और लौकी का हलवा (Carrot or bottle gourd halwa)
- फ्रूट्स स्मूथी (बनाना या स्ट्रॉबेरी)(Fruits Smoothie)
- एक बाउल ड्राई फ्रूट्स (Dry fruit bowl)
- वेजीटेबल दलिया (Vegetable oats)
- एक कप ग्रीन टी (Green Tea)
और पढ़ें : प्रेग्नेंसी में खाएं ये फूड्स नहीं होगी कैल्शियम की कमी
नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet): डिनर में लें ये फूड (Dinner)
- राइस-दाल, पालक की सब्जी, हरी सलाद (Dal rice, spinach and salad)
- पसंदीदा सब्जी (मटर-पनीर या पालक पनीर), बटरमिल्क (vegetable of your choice & Buttermilk)
- राजमा-चावल, रोटी, एक कटोरी दही (Rajma rice, chapati, curd)
- वेजीटेबल पुलाव, चिकन राइस, दही (Vegetable Pulav, chicken rice & curd)
- स्टफ पराठा(आलू, गोभी, मूली, गाजर, पनीर), दही (Stuffed paratha & curd)
वेज और फ्रूट्स सीजन के अनुसार ही खाएं
नॉर्थ इंडिया में कुछ फ्रूट्स और वेजीटेबल सीजन के अनुसार आते हैं। हाइब्रिड वेजिटेबल्स और फ्रूट्स सभी सीजन में आते हैं। सीजन के अनुसार सब्जी और फल खाना सेहत के लिए अच्छा रहता है। एक मुख्य वजह ये भी है कि सीजनल फल और सब्जी पैक्ड फ्रूट्स और वेजीटेबल के मुकाबले सस्ते होते हैं।
और पढ़ें : 5 तरह के फूड्स की वजह से स्पर्म काउंट हो सकता है लो, बढ़ाने के लिए खाएं ये चीजें
इन टिप्स पर भी दें ध्यान
हेल्दी प्रेग्नेंसी के लिए नीचे बताए गए टिप्स याद रखें-
- ब्रेकफास्ट में फल खाएं, ब्रेकफास्ट सीरियल में बेरीज या बनाना डाल कर खाएं।
- विभिन्न प्रकार के वेजीटेबल्स पका कर खाएं। आप चाहे तो डिफरेंट वेजीटेबल्स को ब्लेंड करें और टमाटर की चटनी के साथ खाएं।
- ईवनिंग मील में सलाद को शामिल करें।
- स्नैक के लिए फ्रेश फ्रूट्स को शामिल करें। आप चाहे तो साथ में ड्राई फ्रूट्स और रॉ वेजीटेबल्स भी ले सकती हैं।
प्रेग्नेंसी के दौरान नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) में न शामिल करें ये फूड्स
गर्भावस्था में नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) शामिल करने के साथ ही गर्भधारण के दौरान आपको जिन खाद्य पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए वे इस प्रकार हैं:
- एल्कोहॉल के सेवन से गर्भस्थ शिशु के वजन पर, सीखने समझने की काबलियत पर, आंखों और विभिन्न अंगों के साथ ही पूरे स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है। इसलिए, एल्कोहॉल का इस्तेमाल बिलकुल बंद करे दें।
कैफीन के सेवन से प्रेग्नेंट महिला में मिसकैरिज और शिशु के प्रसव पूर्व जन्म का खतरा बढ़ा सकता है।
- नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) में लोगों को बैंगन का भरता बहुत ही पसंद होता है लेकिन, गर्भावस्था में बैंगन के इस्तेमाल को सीमित कर देना चाहिए। इसके साथ ही मिर्ची, प्याज, लहसुन, हींग, बाजरा, गुड़ का इस्तेमाल भी कम से कम मात्रा में करना चाहिए। खासकर ऐसी महिलाओं को जिनका किसी न किसी कारण से पहले मिसकैरिज हो चुका है।
- इसके अलावा नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) में कच्चे अंडों के सेवन से भी गर्भवती महिला को बचना चाहिए। यहां तक कि ऐसे खान पान के सेवन से भी बचें जिनमे कच्चे अंडे मिले हुए होते हैं।
- पारा यानी मरकरी से शिशु के दिमाग के विकास में बाधा आती है। इसलिए, गर्भावस्था के दौरान हाई मरकरी युक्त फिश के सेवन से बचना चाहिए।
- गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को पपीता के सेवन से बचना चाहिए। खासकर के अगर पपीता कच्चा या अधपका हो।
- इन सबके अलावा फास्ट फूड्स के सेवन से भी बचें।
- प्रेग्नेंसी में बिना पाश्चरिकृत दूध का सेवन बिलकुल भी नहीं करना चाहिए क्योंकि उसमे लिस्टेरिया नामक जीवाणु मौजूद होते हैं जो गर्भपात का कारण बन सकते हैं।
साथ ही नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) से कच्चे मांस को बिलकुल ही हटा दें क्योंकि कच्चा मांस आपको साल्मोनेल्ला या टॉक्सोपलॉस्मोसिस से संक्रमित कर सकता है।
अगर आप प्रेग्नेंसी के दौरान नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) अपना रही हैं तो इस बात का ध्यान रखें कि कहीं आपको किसी फूड से कोई एलर्जी तो नहीं है। प्रेग्नेंसी के दौरान किसी भी प्रकार के नॉर्थ इंडियन डायट (North Indian Diet) को अपनाने से पहले एक बार अपने डॉक्टर से सलाह जरूर कर लें। आशा करते हैं कि आपको यह लेख पसंद आया होगा। हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं। साथ ही अगर आपका इस विषय से संबंधित कोई भी सवाल या सुझाव है तो वो भी हमारे साथ शेयर करें।
[embed-health-tool-due-date]