सरोगेसी के मिथ (Surrogacy myth) : सरोगेसी प्रॉसेस सिर्फ सेलेब्रिटी वर्ग के लिए है।
फैक्ट: ऐसा नहीं है कि यह सिर्फ सेलेब्रिटी वर्ग के लिए है। दरअसल सरोगेसी फी ज्यादा होने के कारण हर कोई सरोगेसी बेबी प्लान कर पाने में समर्थ नहीं हो पाता।
सरोगेसी के मिथ (Surrogacy myth) : सरोगेसी का विकल्प का उपयोग महिलाएं अपने फिगर को मेंटेन रखने के लिए करती हैं।
फैक्ट: ऐसी धारणा गलत है क्योंकि हेल्थ एक्सपर्ट मानते हैं कि इसका विकल्प कपल्स तभी अपनाते हैं जब वो माता-पिता बनने में असमर्थ होते हैं। इसे एक महिला की दूसरी महिला के मदद के तौर पर भी देखा जाता है। सरोगेसी बेहद इमोश्नल और एक्सपेंसिव प्रोसेस है। एक महिला बार-बार कंसीव न कर पाने के बाद सरोगेसी के जरिए बच्चा करने का फैसला लेती है। सरोगेसी का फैसला तब लिया जाता है जब कपल के पास इसके सिवा कोई ऑप्शन न बचा हो। सरोगेसी का फिगर से कोई लेना देना नहीं है।
और पढ़ें: आसान डिलिवरी के लिए अपनाएं ये 10 उपाय
सरोगेसी के मिथ (Surrogacy myth) : शिशु की पेरेंट्स से बॉन्डिंग नहीं बन पाती है।
फैक्ट: ऐसी धारणा गलत है क्योंकि शिशु गर्भ में सरोगेट मदर के साथ रहता है, लेकिन जन्म के तुरंत बाद ही वो अपने माता-पिता के पास आ जाता है। माता पिता ही उसका ध्यान रखते हैं, जिससे उनका वैसे ही बच्चे के साथ जुड़ाव होता है जैसे दूसरे माता पिता का अपने बच्चों के साथ होता है। इसमें कोई अंतर नहीं होता है। इसलिए पेरेंट्स को बॉन्डिंग को लेकर किसी तरह का स्ट्रेस नहीं लेना चाहिए।
सरोगेसी के मिथ : सरोगेट मां (Surrogate mother) बच्चे की कस्टडी लेने की कोशिश कर सकती है।
फैक्ट: फर्टिलिटी क्लिनिक माता पिता और सरोगेट पेरेंट्स के बीच सरोगेसी एग्रीमेंट कराते हैं। रिप्रोडक्टिव लॉ एटोरनी इस प्रक्रिया को आसान बनाती है, क्योंकि इसमें आपके सभी प्रश्नों के उत्तर दिए जाते हैं। सरोगेट मां का बच्चे पर कोई अधिकार नहीं होता है। सरोगेट मां को मनोवैज्ञानिक रूप से प्रशिक्षित किया जाता है, जिससे उनका बच्चे के साथ किसी तरह का भावनात्मक जुड़ाव न हो। ऐसे में सरोगेट मां को बच्चे के जन्म के बाद मां से अलग होने में आसानी होती है।
और पढ़ें: डिलिवरी के बाद कॉन्स्टिपेशन से बचाने वाले 8 इंडियन घरेलू नुस्खे
यदि आपको सरोगेसी के मिथ (Surrogacy myth) से जुड़ी अन्य कोई जानकारी चाहिए तो बेहतर होगा आप किसी विशेषज्ञ से कंसल्ट करें। सरोगेसी प्लानिंग से पहले इससे जुड़े एक्सपर्ट से बात करें। ऐसे कपल्स से भी जरूर मिलें जिन्होंने सरोगेसी से अपनी फैमली आगे बढ़ाई हो। हम उम्मीद करते हैं आपको हमारा यह लेख पसंद आया होगा। हैलो हेल्थ के इस आर्टिकल में सरोगेसी के मिथ और फैक्ट के बारे में बताया गया है। यदि आपका इस लेख से जुड़ा कोई सवाल है तो आप उसे कमेंट सेक्शन में पूछ सकते हैं।