डायबिटीज, एक ऐसी बीमारी है, जिसके होने का रिस्क और भी कई बीमारियों के होने के रिस्क को बढ़ा देता है। जितना इसे कंट्रोल में रखना जरूरी है, उतना ही इसकी निगरानी भी। आज हम या बात करेंगे डायबिटीज और थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) की। इंटरनेट के युग से, चिकित्सकों ने सूचना शेयर करने, रिपोर्ट प्रकाशित करने और शोध करने के लिए और अपने फायदे के लिए प्रौद्योगिकी (Technology) का इस्तेमाल किया जा रहा है।
हाल में हेल्थ-टेक के क्षेत्र में जो प्रगति हुई है, वहां मेडिकल प्रोफेशनल्स और हेल्थ-टेक एंटरप्रेनर्स का फोकस हेल्थ ट्रैकर्स, कोचिंग, एल्गोरिदम और एआई का इस्तेमाल करके एविडेंस आधारित थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) पर है, जो डिजिटल थेराप्यूटिक्स (DTX) के रूप में जाना जाता है। डिजिटल थेराप्यूटिक्स हेल्थकेयर क्षेत्र में एक नई पहल है, जो डॉक्टरों और मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य परिणाम देने में सक्षम बना रही है। महामारी ने हमारे जीवन में जो अनिश्चितताएं लाई हैं, उसने मधुमेह (Diabetes) के मरीजों की परेशानियों काे और भी बढ़ा दिया है। डीटीएक्स ने मधुमेह के मरीजों को थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) के लिए लॉजिकल सोल्युशन प्रदान किया है।
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क्या है थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) ?
थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) के बारे में जानकारी होना बहुत जरूरी है। इसको सरल शब्दों में कहे तो, डिजिटल थेराप्यूटिक्स उन ऐप्स या सॉफ्टवेयर की तुलना में बहुत विकसित तकनीक है, जो डॉक्टरों के अपॉइंटमेंट्स, टेलीमेडिसिन, ई-डायग्नोस्टिक्स, ईएमआर या ई-फार्मेसी में मदद करती है, जिनमें अक्सर ध्यान देना मुश्किल हो जाता है। डीटीएक्स, यह है कि यह डॉक्टरों को एजीएम (Automated Glucose Monitoring) का इस्तेमाल करके इंसुलिन रेजिस्टेंस (Insulin resistance) और प्री-डायबिटीज का पता लगाने में सक्षम होता है। अगर डीटीएक्स थेराप्यूटिक्स के साथ सही समय पर इलाज (Treatment) किया जाए तो, टाइप -2 डायबिटीज में परिवर्तित होने से रोका जा सकता है।
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भारत में डिजिटल थेराप्यूटिक्स का क्षेत्र अपेक्षाकृत नया है और वर्तमान में, कुछ मुट्ठी भर कंपनियां ही हैं जो इन कार्यक्रमों को प्रस्तावित करने का प्रयास कर रही हैं। एक डॉक्टर के रूप में जब आप मरीज को डीटीएक्स कार्यक्रम (DTX Program)के लिए भेज रहे हैं, तब आपको पूरी तरह से आश्वस्त होना चाहिए कि कंपनी ने सिद्ध परिणाम दिए हैं, उनके पास सही विशेषज्ञ हैं और साथ में डेटा (Data) सुरक्षा का आश्वासन भी दे रहे हैं। जबकि मरीजों के लिए, डीटीएक्स बेहतर स्वास्थ्य परिणाम सुनिश्चित करता है, तो क्या यह डॉक्टरों (Doctors) के लिए फायदेमंद होता है?
जवाब है, हाँ। डायबेफ्लाई जैसे डीटीएक्स कार्यक्रमों ने मुझे मेरे मधुमेह के मरीजों को विशेषज्ञ के सलाह के अनुसार जीवनशैली और बेहतर परिणाम प्राप्त करने में सहायता करके, समय बचाने वाला तरीका दिया है।
थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention): जानिए कुछ प्रमुख फायदे
थेराप्यूटिक इंटरवेंशन के कुछ प्रमुख फायदे निम्न हैं।
थेराप्यूटिक इंटरवेंशन के फायदे: मरीजों के लिए बेहतर परिणाम (Outcomes)
रक्त शर्करा (ब्लड शुगर) के बेहतर नियंत्रण के उद्देश्य के साथ पोषण संबंधी सही मार्गदर्शन, मानसिक तंदुरूस्ती और फिटनेस के साथ संयुक्त रूप से 360-डिग्री एप्रोच उदाहरण मधुमेह के मरीजों के लिए डायबेफ्लाई डीटीएक्स कार्यक्रम, 3 महीने में एचबीए 1 सी को 1% या उससे भी अधिक प्रतिशत को कम करता है।
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थेराप्यूटिक इंटरवेंशन के फायदे: मरीजों के लिए सलाह (Tips for Patients)
विभिन्न ट्रैकर्स के डेटा, टेस्ट्स से हेल्थ डेटा, और एडवांस सॉफ्टवेयर (Advance Software) और एनालिटिक्स टूल का इस्तेमाल करके-कोच मरीजों के जरूरतों में जो कमी हो जाती है उसको समझ पाते हैं और फिर उसके प्रासंगिक विशिष्ट सलाह देते हैं जो मरीजों को दिन-प्रतिदिन के आधार पर मदद करते हैं। डायबेफ्लाई डीटीएक्स डिजाइन में क्या करना चाहिए और क्या नहीं के साथ, स्वस्थ आहार संबंधी सलाह और व्यायाम शामिल होता है। आपको थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) के बारे में एक्सपर्ट से जरूर जानकारी लेनी चाहिए।
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थेराप्यूटिक इंटरवेंशन के फायदे: अपडेट्स और रिपोर्ट्स
डीटीएक्स कार्यक्रम डॉक्टरों के लिए क्लिनिकली रेलिवेंट अपडेट रिपोर्ट्स तैयार करते हैं, जो उन्हें थेरिपी (Therapy) संबंधी निर्णय लेने और दवाओं को बदलने में मदद करते हैं। सिस्टम द्वारा बनाए हुए रिपोर्ट्स में मरीजों की जीवनशैली, सेहत संबंधी प्रगति और लंबे समय से परिणामों में सुधार संबंधी जानकारियां होती हैं। पोषण, तनाव और फिटनेस पैरामीटर (Fitness Parameter) के साथ मंथली आउटकम्स (Monthly Outcomes) भी शामिल मिलता है।
छिपी हुई समस्याएं जो परिणामों (आउटकम्स) में बाधा उत्पन्न करते हैं। डीटीएक्स कार्यक्रमों के दौरान, अक्सर मरीज डेटा प्रदानकरते हैं जिससे खराब ग्लाइसेमिक कंट्रोल के मूल समस्याओं का पता चल पाता है। उदाहरण के तौर पर,ऐसे कई उदाहरण हमें मिलें, जहाँ हमने पाया कि मधुमेह के मरीज हाई ग्लाइसेमिक इंडेक्स वाले फूड्स या गलत कॉम्बिनेशन वाले खाद्द पदार्थ का सेवन कर रहे हैं। ठीक उसी तरह, उनके फिटनेस रेजिम के संयोजन (कॉम्बिनेशन) और विविधता में अभाव था, जो इंसुलिन प्रतिरोध से लड़ने के लिए जरूरी होता है। उदाहरण के लिए: मधुमेह के मरीजों में एक जो हर दिन डायट (Diet) में मीठा खाते थे, ने इस आदत को बदलकर हेल्दी फूड खाना शुरू किया, जब उनके कोच ने उन्हें इन खाद्य पदार्थों के लिए उनके पर्सनलाइज्ड ग्लाइसेमिक रिस्पांस को दिखाया।
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भारत में डॉक्टरों के लिए थेरिपी (Therapy) का पालन और अनुपालन करना बहुत बड़ी चुनौती है। डीटीएक्स कार्यक्रम मरीजों को उनकी दवाओं, डॉक्टर से मिलने जाने और टेस्ट करके ट्रैक पर रहने में मदद करता है। कोच मरीजों के संपर्क में लगातार रहकर, उनको रिमाइंडर देकर, मरीजों के प्रश्नों का जवाब देकर, उनको प्रेरितकरके अनुपालन करने के लिए प्रोत्साहित करते रहते हैं। यह ज्यादातर मामलों में मरीजों का डॉक्टर से नियमित विजिट का आश्वासन भी देता है।डॉक्टर के पास जाने और ग्लूकोज के वैल्यू और टेस्ट के लिए रिमाइंडर देना, डायबेफ्लाई डीटीएक्स डिजाइन का एक हिस्सा है। थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) के बारे में डॉक्टर से जानकारी लें।
मधुमेह के रोकथाम लिए मैनेजमेंट (Management)
मरीज का मेटाबॉलिक प्रोफाइल और जीवनशैली को समझकर, डायबिटीज रिवर्सल (Diabetes reversal) के उपयुक्त मरीजों के लिए डीटीएक्स कार्यक्रम को और अधिक तेज किया जा सकता है। डायबिटीज रिवर्सल चर्चा का विषय है, और क्लिनिकली डायबिटीज रिमिशन है, लेकिन डीटीएक्स के लिए यह संभव है।
डायबेफ्लाई में, जो मरीज डायबिटीज रिवर्सल के मानदंड को पूरा करते हैं, उन्हें और ज्यादा इंटेन्सिव रिवर्सल प्रोग्राम ऑफर करते हैं जहाँ कोच उनकेजीवनशैली में परिवर्तन करने के लिए प्रेरित करते रहते हैं।
- डिजिटल थेराप्यूटिक्स, हेल्थकेयर सिस्टेम का उज्ज्वल और आशावादी भविष्य है, जो इस तरह से समाधान प्रदान कर रहा है, जिसकी पहले कल्पना भी नहीं की गई थी। डीटीएक्स का उत्कर्ष सिर्फ मरीजों के परिणामों को बेहतर बनाएगा।
- शुरू में महामारी ने हमें परंपरागत स्वास्थ्यसेवा तंत्र को मानने के लिए मजबूर किया था लेकिन अब बहुत ही विकसित डीटीएक्स मॉडल लगातार और निरंतर प्रगति के पथ पर है और इसकी माँग भी बढ़ रही है । मरीजों और स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं दोनों के लिए समान रूप से फायदेमंद साबित होने के कारण इस पद्धति को तेजी सेलोकप्रियता और विश्वास प्राप्त करने वाला माना जाने लगा है।
- भारत में फार्मा कंपनियों ने भी अभी डिजिटल थेराप्यूटिक्स में अवसर तलाशना शुरू कर दिया है।
- चिकित्सा विज्ञान के सभी क्षेत्रों में स्वास्थ्य मंत्रालय के सहयोग से डीटीएक्स, भारत में स्वास्थ्य सेवा प्रणाली मेंक्रांतिकारी बदलाव लाएगा।
थेराप्यूटिक इंटरवेंशन (Therapeutic intervention) के बारे में आपको इस आर्टिकल के माध्यम से समझ आ गया होगा। थेराप्यूटिक इंटरवेंशन के फायदे और डायबिटीज और तकनीक के बारे में डॉक्टर से अधिक जानकारी ले सकते हैं।
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