backup og meta

Gastroparesis: गैस्ट्रोपरेसिस की समस्या क्या है? जानिए इसके कारण और लक्षण?

के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील · फार्मेसी · Hello Swasthya


Bhawana Awasthi द्वारा लिखित · अपडेटेड 07/04/2022

    Gastroparesis: गैस्ट्रोपरेसिस की समस्या क्या है? जानिए इसके कारण और लक्षण?

    यह प्रकार का डिसऑर्डर है, जिसके कारण पेट को खाली होने में समय लगता है। इस समस्या के कारण विभिन्न प्रकार के लक्षण शरीर में नजर आते हैं। यह बीमारी किसी भी व्यक्ति को हो सकती है। थोड़ा खाने पर व्यक्ति का पेट भरा सा लगता है। बीमारी का बचाव पूरी तरह से संभव नहीं है। यह बीमारी किसी भी व्यक्ति को हो सकती है। डॉक्टर गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) के ट्रीटमेंट के दौरान बीमारी के लक्षणों को कम करने की कोशिश करते हैं। अक्सर लोगों को इस बीमारी के बारे में पता नहीं होता है। इस आर्टिकल के माध्यम से जानिए कि आखिर क्या होते हैं बीमारी के लक्षण और कैसे इनसे निपटा जा सकता है।

    गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) के क्या होते हैं लक्षण?

    गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) के लक्षण हल्के से गंभीर तक हो सकते हैं। कुछ लोगों को हल्के लक्षण नजर आते हैं, वहीं कुछ लोगों को ज्यादा परेशानियों का सामना करना पड़ता है। जानिए गैस्ट्रोपरीसस (Gastroparesis) के कारण कौन से लक्षण नजर आ सकते हैं।

    गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) के लक्षणों में शामिल हो सकते हैं:

  • ऊपरी पेट दर्द का एहसास (upper abdominal pain)
  • जी मिचलाना
  • उल्टी (vomiting)
  • भूख में कमी (loss of appetite)
  • सूजन
  • पेट भरा हुआ महसूस होना
  • कुपोषण (malnutrition)
  • अचानक से वजन कम होना
  • और पढ़ें: Upper Abdomen Pain: जानिए पेट के ऊपरी हिस्से में दर्द के 16 कारण!

    गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) के क्या हो सकते हैं कारण?

    जब पेट में नर्व सिग्नल गड़बड़ हो जाते हैं, तो इस कंडीशन का सामना करना पड़ सकता है। वैसे तो इस बीमारी के सटीक कारणों के बारे में जानकारी नहीं है। ऐसा माना जाता है कि पेट में बहुत सी नसें होती हैं, जो कई फैक्टर्स के कारण प्रभावित हो जाती हैं, जिसके कारण भोजन बहुत धीमी गति से आगे बढ़ता है। वहीं कुछ अन्य समस्याओं में नर्वस सिस्टम से सिग्नल सही से ना आने के कारण भी पेट में भारीपन महसूस होता है। कुछ कारण जैसे की शल्य चिकित्सा के बाद, डायबिटीज से संबंधित आदि कारण भी गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) को जन्म देने का काम करते हैं। गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) के लगभग 36 प्रतिशत मामले किसी पहचान योग्य कारण से नहीं जुड़े हैं। इसे इडियोपैथिक के रूप में जाना जाता है। कई बार वायरल बीमारी के बाद यह स्थिति हो जाती है, लेकिन यह पूरी तरह से कहना सही नहीं है कि ये इंफेक्शन से जुड़ी हुई है।

    डायजेशन को प्रभावित करने वाली नर्वस सिस्टम मधुमेह या डायबिटीज का परिणाम हो सकता है। जिस डायबिटीज को कंट्रोल नहीं किया जाता है, उसके कारण कई समस्याएं हो जाती हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि डायबिटीज को कंट्रोल न करने पर नर्व सेल्स डैमेज होना शुरू हो जाती हैं। इसे डायबिटिक गैस्ट्रोपरेसिस (Diabetic gastroparesis) के नाम से भी जाना जाता है। डायबिटीज के कारण नसों को नुकसान पहुंचा सकता है, जिसमें वेगस नर्व भी शामिल है, जो पाचन तंत्र के माध्यम से भोजन की गति को नियंत्रित करती है।

    और पढ़ें: Ibuprofen on empty stomach: क्या खाली पेट आइबूप्रोफेन लेना सेफ है?

    गैस्ट्रोपरेसिस : इस बीमारी का किसे रहता है अधिक खतरा?

    आपके मन में सवाल जरूर आ रहा होगा कि आखिर किन लोगों को गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) बीमारी का अधिक खतरा रहता है। वैसे तो इस बीमारी के कारण के बारे में अभी सही तरह से जानकारी ज्ञात नहीं है लेकिन कुछ ऐसी कंडीशन होती हैं, जिनके कारण इस बीमारी का खतरा बढ़ जाता है। जैसे कि वायरल इंफेक्शन के कारण, कुछ कैंसर के कारण, सिस्टिक फाइब्रोसिस के कारण, पार्किंसन डिजीज के कारण (Parkinson’s disease), ऑटोइम्यून डिजीज के कारण, थायरॉइड के कारण (thyroid disorders) गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) का खतरा बढ़ जाता है।

    जैसा कि हमने आपको पहले ही बताया कि इस बीमारी के कारण वह वॉमिटिंग के साथ ही भूख में कमी हो जाती हो और साथ में डिहाइड्रेशन या फिर कुपोषण की समस्या भी हो जाती है। इन समस्याओं के कारण अन्य बीमारियों का खतरा भी बढ़ जाता है।

    इस कंडीशन के कारण स्टमक यानी कि पेट में खाना काफी देर तक रहता है, जिस कारण से बैक्टीरिया की ग्रोथ भी अधिक बढ़ जाती है। भोजन हार्ड हो जाता है, जिसके कारण उल्टी होना, मतली होना आदि समस्याएं पैदा हो जाती हैं। जिन लोगों को डायबिटीज की समस्या है, उन्हें डायबिटीज को कंट्रोल रखना चाहिए वरना पेशेंट की तबीयत अधिक खराब हो सकती है।

    और पढ़ें: गैस्ट्रोपैथी (Gastropathy) : पेट से संबंधित इन कंडिशन के बारे में कितना जानते हैं आप!

    बीमारी का कैसे किया जाता है डायग्नोसिस और ट्रीटमेंट?

    गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) को डायग्नोज करने के लिए डॉक्टर पहले पेशेंट से बीमारी के लक्षणों के बारे में जानकारी लेते हैं। डॉक्टर फिजिकल एग्जामिनेशन के साथ ही मेडिकल हिस्ट्री के बारे में भी जानते हैं। इसके बाद डॉक्टर जरूरत पड़ने पर अल्ट्रासाउंड, ब्लड टेस्ट, अपर एंडोस्कोपी कराने की सलाह देते हैं। ऐसा करने से गॉलब्लैडर डिजीज के बारे में, डायबिटीज के बारे में, लिवर डिजीज के बारे में जानकारी मिल जाती है। डॉक्टर कार्बन ब्रीथ टेस्ट की मदद से डायजेस्टिव सिस्टम (digestive system.) को ट्रेक कर सकते हैं।

    बीमारी के ट्रीटमेंट के दौरान अगर व्यक्ति को डायबिटीज की बीमारी है, तो उसे कंट्रोल करने के लिए आपको सलाह दी जाती है। और साथ ही मेडिकेशन के साथ डाइट चेंज या फिर जरूरत पड़ने पर सर्जरी की सलाह भी दे सकते हैं। मेडिसिंस की मदद से मितली और वॉमिटिंग की समस्या को कंट्रोल किया जाता है। वहीं कुपोषण या फिर वह वॉमिटिंग की समस्या हो रही है, तो सर्जरी की सलाह दी जाती है। ऐसे में गैस्ट्रिक इलेक्ट्रिकल स्टिमुलेटर (gastric electrical stimulator)  इस्तेमाल किया जाता है और सर्जरी की मदद से इसे इम्प्लांट किया जाता है।

    डायट में बदलाव भी है जरूरी!

    ऐसे में पेशेंट के लिए डाइट चेंज भी बहुत जरूरी हो जाता है। डॉक्टर पेशेंट को ऐसी डाइट लेने की सलाह देते हैं, जो आसानी से पच जाए। इसमें रोजाना 4 से 6 बार भोजन करना, हाय कैलोरी वाले तरल पदार्थ पीना, कार्बोनेटेड या फिर शराब आदि का सेवन बंद करना, खाने के साथ ही मल्टीविटामिन लेना, कुछ मीट और डेयरी प्रोडक्ट को सीमित करना। अधिक फाइबर वाली सब्जियों से बचना, सब्जियों को पका कर खाना, कम फैट वाले पदार्थ लेना आदि की सलाह दी जा सकती है।

    और पढ़ें: गैस्ट्रोपैथी (Gastropathy) : पेट से संबंधित इन कंडिशन के बारे में कितना जानते हैं आप!

    इस आर्टिकल में हमने आपको गैस्ट्रोपरेसिस (Gastroparesis) से संबंधित जानकारी दी है। उम्मीद है आपको हैलो हेल्थ की ओर से दी हुई जानकारियां पसंद आई होंगी। अगर आपको इस संबंध में अधिक जानकारी चाहिए, तो हमसे जरूर पूछें। हम आपके सवालों के जवाब मेडिकल एक्स्पर्ट्स द्वारा दिलाने की कोशिश करेंगे।

     

    डिस्क्लेमर

    हैलो हेल्थ ग्रुप हेल्थ सलाह, निदान और इलाज इत्यादि सेवाएं नहीं देता।

    के द्वारा मेडिकली रिव्यूड

    डॉ. प्रणाली पाटील

    फार्मेसी · Hello Swasthya


    Bhawana Awasthi द्वारा लिखित · अपडेटेड 07/04/2022

    advertisement iconadvertisement

    Was this article helpful?

    advertisement iconadvertisement
    advertisement iconadvertisement