एक नार्मल प्रेग्नेंसी नौ महीने तक रहती है। प्रेग्नेंसी के हर तीन महीने के पीरियड को ट्रायमेस्टर कहा जाता है और हर ट्रायमेस्टर के दौरान फीटल ग्रो करता है और डेवलप होता है। ऐसे में होने वाली मां के लिए रेगुलर मेडिकल चेकअप्स और प्रीनेटल टेस्ट कराना जरूरी है। यही नहीं, उसे फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) के बारे में पूरी जानकारी भी होनी चाहिए। आज हम बात करने वाले हैं फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट के बारे में। फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) में सबसे पहले जानते हैं कि प्रेग्नेंसी की शुरुआत कब होती है?
प्रेग्नेंसी की शुरुआत कब होती है?
फर्टिलाइजेशन के चौबीस घंटे के अंदर, एग तेजी से कई सेल्स में डिवाइड होता है। प्रेग्नेंसी के 10 हफ्तों तक एंब्रियो (Embryo) फीटल में विकसित हो जाता है। आमतौर पर प्रेग्नेंसी के चालीस हफ्ते होते हैं, जिन्हें तीन ट्रायमेस्टर में बांटा गया है। गर्भावस्था की शुरुआत वास्तव में आपके आखिरी मेंस्ट्रुअल पीरियड के पहले दिन से होती है। इसे जेस्टेशनल एज या मेंस्ट्रुअल एज कहा जाता है। जब कन्सेप्शन में होता है, तो यह उससे दो हफ्ते पहले ही प्रेग्नेंसी की शुरुआत हो जाती है। हालांकि, यह अजीब लग सकता है, लेकिन लास्ट पीरियड के पहले दिन की डेट आपकी ड्यू डेट निर्धारित करते समय एक महत्वपूर्ण तिथि होती है। डॉक्टर आपसे इस तिथि से ही यह जान सकते हैं कि आपकी डिलीवरी कब हो सकती है। अब जानते हैं फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) के बारे में।
फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development): पाएं इस बारे में पूरी जानकारी
प्रेग्नेंसी के दौरान फीटल में बहुत अधिक बदलाव होता है। इस टाइम को तीन स्टेजेज यानी ट्रायमेस्टर में बांटा गया है। हर ट्रायमेस्टर तीन महीने तक रहता है। डॉक्टर फीटल डेवलपमेंट को हफ्तों में डिस्क्राइब करते हैं। यानी, प्रेग्नेंसी के तीन महीने बारह हफ्तों के बराबर होते हैं। हर ट्रायमेस्टर के दौरान आप फीटल में बहुत अधिक बदलाव को महसूस करेंगे। एक फुल टर्म प्रेग्नेंसी चालीस हफ्तों यानी 280 दिनों की होती है। आप किस महीने प्रेग्नेंट हुई हैं और किस हफ्ते आपकी डिलीवरी होती है इसके अनुसार आप नौ या दस महीने की हो सकती है। यह सामान्य और हेल्दी है। अगर आपका शिशु समय से पहले जन्म लेता है तो उसे कई कॉम्प्लीकेशंस का सामना करना पड़ सकता है।
अगर जेस्टेशनल एज या ड्यू डेट के बारे में आपके मन में कोई भी सवाल है तो अपने डॉक्टर से इस बारे में अवश्य जानें। अब जानते हैं फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) के बारे में मंथ-बाय-मंथ।
और पढ़ें: Mucus plug discharge: क्या हानिकारक है प्रेग्नेंसी में होने वाला यह डिस्चार्ज?
फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development): पाएं हर महीने के अनुसार जानकारी
गर्भावस्था में हर मां यह जानना चाहती है कि उसका शिशु गर्भ में कैसा है? उसका विकास सही से हो रहा है या नहीं? आइए पाएं यह जानकारी विस्तार से।
फर्स्ट ट्रायमेस्टर में पहला महीना (Month 1)
प्रेग्नेंसी का पहला महीना यानी एक से चौथा हफ्ता। जैसे ही फर्टिलाइज्ड एग ग्रो होता है, इसके आसपास वॉटर टाइट सैक बनता है, जो फ्लूइड से भरता है। इसे एमनीओटिक सैक कहा जाता है। जो ग्रोइंग एंब्रियो (Embryo) को कुशन करने में मदद करता है। इस समय प्लेसेंटा भी डेवलप होता है। यह एक राउंड ऑर्गन होता है, जो मां से फीटल तक न्यूट्रिएंट्स को ट्रांसफर करता है और फीटल से वेस्ट को बाहर निकालने में भी मददगार है। पहले कुछ हफ्तों में, शिशु का मुंह, लोअर जबड़ा और गला डेवलप होना शुरू हो जाते हैं। ब्लड सेल्स शेप लेने लगते हैं और सर्क्युलेशन शुरू हो सकती है। चौथे हफ्ते के एंड तक भ्रूण की छोटी हार्ट ट्यूब एक मिनट्स में 65 बार बीट करती है। पहले महीने के एंड तक फीटल 1/4 इंच लंबा होता है जो चावल के एक दाने से भी छोटा है।
और पढ़ें: प्रेग्नेंसी में है इचि स्किन, तो इस्तेमाल किए जा सकते हैं यह बेहतरीन प्रॉडक्ट्स!
फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development): दूसरा महीना (Month 2)
गर्भावस्था का दूसरा महीना यानी पांचवें से लेकर आठवां हफ्ता। इस दौरान शिशु के फेशियल फीचर्स डेवलप होना शुरू हो जाते हैं। शिशु की बाजू और टांगों भी बनने लगती हैं। इसके साथ ही उनकी उंगलियां, आंखें आदि भी बनती हैं। इस समय ब्रेन, स्पाइनल कॉर्ड और अन्य न्यूरल टिश्यू भी फॉर्म होने लगते हैं। कार्टिलेज को बोनस रिप्लेस करना शुरू कर देती हैं। आठवें हफ्ते के बाद डॉक्टर इसे फीटल के रूप में सम्बोधित करते हैं। दूसरे महीने के अंत तक शिशु एक इंच लंबा होता है।
फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट: तीसरा महीना (Month 3)
इस अवधि में शिशु के बाजू, हाथ, उंगलियां आदि पूरी तरह से बन चुके होते हैं। यही नहीं, फीटल अपना मुंह खोलना भी शुरू कर देता है। मसूड़ों के नीचे दांत भी बनने लगते हैं। रिप्रोडक्टिव ऑर्गन्स भी डेवलप होते हैं। तीसरे महीने के अंतर तक फीटल पूरी तरह से बन चुका होता है। इस दौरान शिशु की लम्बाई चार इंच और वजन लगभग 28 ग्राम होता है। हालांकि, इस समय शिशु का सबसे महत्वपूर्ण विकास होता है, इसलिए आपके गर्भपात की संभावना तीन महीने के बाद काफी कम हो जाती है।
सेकंड ट्रायमेस्टर (Second trimester) में चौथा महीना (Month 4)
प्रेग्नेंसी के सेकंड ट्रायमेस्टर को सबसे सुखद समय माना जाता है। इस समय मॉर्निंग सिकनेस की समस्या कम हो जाती है और भी कई रिस्क इस समय कम होता है। अब जानते हैं इस ट्राइमेस्टर में फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) के बारे में। चौथा महीने का अर्थ है 13 वें से लेकर 16 वां हफ्ता। इस महीने आप फीटल की हार्टबीट को डॉप्लर नामक इंस्ट्रूमेंट के माध्यम से सुना जा सकता है। इस दौरान शिशु की आयलैशेज, नाखून, बाल आदि बन चुके होते हैं और दांत व हड्डियां घने हो चुके होते हैं।
उसका नर्वस सिस्टम भी काम करने लगता है। रिप्रोडक्टिव ऑर्गन्स पूरी तरह डेवलप होते हैं और आपके डॉक्टर अल्ट्रासाउंड के माध्यम से यह जान सकते हैं कि गर्भ में शिशु लड़का है या लड़की। इस दौरान फीटल की लंबाई लगभग छह इंच होती है और वजन 100 ग्राम के लगभग हो जाता है।
पांचवां महीना ( Month 5)
17 वें से लेकर 20 वां हफ्ता पांचवें महीने में आता है। इस स्टेज पर आप ऐसा महसूस कर सकती हैं कि फीटल मूव कर रहा है। शिशु के कंधे, पीठ आदि पर हल्के बाल आने शुरू हो जाते हैं। यह फीटल को प्रोटेक्ट करते हैं और शिशु के जन्म के बाद शेड हो जाते हैं। इसके साथ ही उसकी स्किन एक कोटिंग से कवर हो जाता है, जिसे वर्निक्स केसोसा (vernix caseosa) कहा जाता है। पांचवे महीने के अंत तक शिशु दस इंच तक लंबा होता है और उसका वजन लगभग 220 ग्राम होता है।
और पढ़ें: Second Trimester Guide: प्रेग्नेंसी के सेकेंड ट्राइमेस्टर गाइड में किन बातों का रखना चाहिए ध्यान?
फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development): छठा महीना (Month 6)
छठा महीना यानी 21 वें से लेकर 24 वां हफ्ता। इस दौरान फीटल की त्वचा रंग में रेडिश होता है और ट्रांसलूसेंट स्किन के माध्यम से उनकी वेन विजिबल होती हैं। उसके हाथों और पैरों की उंगलियां और अंगूठे भी विजिबल होते हैं। इस समय फीटल साउंड्स के लिए रिस्पॉन्ड करता है। अगर कोई शिशु प्रीमैच्योर जन्म लेता है, तो 23 हफ्तों के बाद वो इंटेंसिव केयर के साथ सर्वाइव कर सकता है। छठे महीने के एंड तक फीटल बारह इंच लंबा होता है और उसका वजन लगभग 900 ग्राम तक हो जाता है।
थर्ड ट्रायमेस्टर (Third trimester) में सातवां महीना (Month 7)
यह प्रेग्नेंसी का फाइनल पार्ट है। यह समझ लें कि इस समय की शुरुआत के साथ ही डिलीवरी का काउंटडाउन शुरू हो जाता है। इस ट्रायमेस्टर में शिशु बहुत तेजी से बढ़ता है। जानिए थर्ड ट्रायमेस्टर में फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) के बारे में। सातवें महीने में 25 वें से लेकर 28 वां हफ्ता आता है। इस महीने में भी फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट में सुधार होता है। इस दौरान शिशु पूरी तरह से सुनना शुरू कर देता है। शिशु लगातार अपनी पोजीशन बदलता है और आवाजों, दर्द और लाइट के प्रति रिस्पॉन्ड करता है। इस दौरान एमनीओटिक फ्लूइड भी कम होने लगता है। इस महीने के अंत तक शिशु चौदह इंच लंबा होता है और उसका वजन 1000 से 1800 ग्राम तक हो सकता है।
और पढ़ें: फीटल बोन स्केलेटन सिस्टम: जानिए, कैसे होता है गर्भ में शिशु की हड्डियों का विकास
आठवां महीना (8 Month)
आठवां महीना यानी 29 वें से लेकर 32 वां हफ्ता। इस दौरान फीटल बॉडी फैट के रिजर्व को मैच्योर और विकसित करना जारी रखता है। आप इस दौरान शिशु की अधिक मूवमेंट्स और किक्स का अनुभव कर सकते हैं। इस समय उनका दिमाग तेजी से विकसित हो रहा है, और भ्रूण देख व सुन सकता है। इनके अधिकतर इंटरनल सिस्टम्स अच्छे से डेवलप होते हैं, लेकिन लंग्स अभी भी अपरिपक्व हो सकते हैं। इस महीने शिशु लगभग 18 इंच लंबा होता है और उसका वजन 2 किलोग्राम से अधिक होता है।
फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development): नौवां महीना (Month 9)
प्रेग्नेंसी का नौवा महीना 33 वें से लेकर 36 वें हफ्ते तक का समय होता है। इस पॉइंट में उसके लंग्स पूरी तरह से विकसित हो जाते हैं। फीटल इस दौरान अपने सिर को घुमा सकता है, आंख बंद कर सकता है, लाइट, साउंड और टच के प्रति रिस्पॉन्ड कर सकता है। इस समय शिशु की लंबाई लगभग 17 से 19 इंच होती है और वजन ढाई से लेकर तीन किलोग्राम तक हो सकता है।
और पढ़ें: शिशु को सही मात्रा में फॉर्मूला न देना हो सकता है उनके लिए हानिकारक, जानिए इस बारे में!
दसवां महीना (Month 10)
वैसे तो गर्भावस्था को नौ महीने का माना जाता है। लेकिन, 37 वें से लेकर 40 वें हफ्ते तक कभी भी आपकी डिलीवरी हो सकती है। इस दौरान स्पेस कम होने की वजह से शिशु की मूवमेंट कम हो सकती है। फीटल के पोजीशन में बदलाव हो सकता है। उसका सिर यूट्रस में नीचे की तरफ होता है। इस दौरान आप थोड़ा असहज महसूस कर सकती हैं। इस समय शिशु की लंबाई 18 से 20 इंच हो सकती है और वजन तीन किलोग्राम से अधिक हो सकता है।
और पढ़ें: शिशु को बॉटल-फीडिंग (Bottle-feeding) की शुरुआत कब करनी चाहिए?
यह तो थी जानकारी फीटल हेल्थ और डेवलपमेंट (Fetal Health and Development) के बारे में। इस दौरान आपके लिए समय-समय पर चेकअप करना जरूरी है ताकि आप फीटल के हेल्थ के बारे में जान सकें। यही नहीं, आप इस समय हेल्दी आदतों को अपनाएं। अगर इस समय आपको कोई भी परेशानी हो तो डॉक्टर की सलाह अवश्य लें।
[embed-health-tool-ovulation]