पिंपल त्वचा संबंधी सबसे आम समस्या मानी जाती है। हालांकि, सामान्य सी यह परेशानी चेहरे की खूबसूरती कम कर देती है। एक मीडिया रिपोर्ट्स की मानें, तो भारत में 80 प्रतिशत लोग पिंपल की समस्या से पीड़ित हैं। ऐसी स्थिति में पिंपल से बचाव (Prevent Pimples) ही एकमात्र उपाय है। पिंपल से बचाव संभव है अगर सिर्फ कुछ बातों को ध्यान में रखा जाए तो। इसलिए आज इस आर्टिकल में पिंपल की समस्या से जुड़ी सभी जानकारी शेयर करेंगे।
- पिंपल्स क्या हैं और यह कितने तरह के हो सकते हैं?
- पिंपल का कारण क्या है?
- पिंपल के लक्षण क्या हैं?
- पिंपल से बचाव कैसे संभव है?
चलिए पिंपल (मुंहासे) से जुड़े इन सवालों का जवाब जानते हैं।
और पढ़ें : मुहांसे कम न कर दें आपके चेहरे की रौनक, इन तरीकों से पाएं एक्ने फ्री स्किन
पिंपल्स क्या हैं और यह कितने तरह के हो सकते हैं? (Pimples and Pimple’s type)
चेहरे पर दानेदार स्किन का निकलना पिंपल की ओर इशारा करता है। पिंपल अलग-अलग प्रकार के होते हैं। जैसे कॉमेडोनिका (Comedonica), पेपुलर–पुस्टुल्स (Papular-Pustules) एवं नोड्यूल्स (Nodules)। नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार पिंपल के इस अलग-अलग प्रकार को समझ लेते हैं।
1. कॉमेडोनिका (Comedonica)- कॉमेडोनिका हल्के मुंहासे होते हैं और इसमें ब्लैकहेड्स और व्हाइटहेड्स को शामिल किया गया है। ब्लैकहेड्स या व्हाइटहेड्स की समस्या होने पर त्वचा केपोर्स बंद हो जाते हैं। ऐसी स्थिति में त्वचा पर जमा होने वाले तेल की वजह से बैक्टीरिया भी बढ़ने लगते हैं। रिसर्च रिपोर्ट के अनुसार इंफ्लामेटरी एक्ने की समस्या इसी वजह से हो सकती है।
2. पेपुलर–पुस्टुल्स (Papular-Pustules)- चेहरे पर मध्यम आकार के मुंहासे का होना पेपुलर–पुस्टुल्स की ओर इशारा करता है। ऐसी स्थिति में इन मुंहासों में पस बनने लगता है, जिसे पुस्टुल्स (Pustules) कहते हैं।
3. नोड्यूल्स (Nodules)- नोड्यूल्स वाले पिंपल तकलीफदेह होते हैं। इन पिंपल्स में सूजन के साथ-साथ पस भी बनने लगते हैं। इसलिए नोड्यूल्स पिंपल्स को पेनफुल माना गया है।
ये हुए पिंपल के अलग-अलग प्रकार। चाहिए अब जानते हैं पिंपल का कारण क्या है, जिससे पिंपल से बचाव का रास्ता अपनाया जाए।
और पढ़ें : Hair Detox: हेयर डिटॉक्स क्या है? जानिए 5 आसान हेयर डिटॉक्स मेथड
पिंपल का कारण क्या है? (Cause of Pimples)
पिंपल के कारण निम्नलिखित हो सकते हैं। जैसे:
- अनुवांशिकता (Hereditary)- यू.एस डिपार्टमेंट ऑफ हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विसेस (U.S. Department of Health and Human Services) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार अनुवांशिकता की वजह से पिंपल की समस्या हो सकती है। इसलिए अगर परिवार के सदस्यों को पिंपल की समस्या है, तो घर के दूसरे सदस्यों में इसकी संभावना बढ़ जाती है।
- हॉर्मोनल बदलाव (Hormonal change)- यू.एस डिपार्टमेंट ऑफ हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विसेस (U.S. Department of Health and Human Services) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार हॉर्मोनल बदलाव की वजह से मुंहासों की समस्या हो सकती है। महिलाओं में विशेष रूप से पीरियड्स, प्रेग्नेंसी और मेनोपॉज के दौरान पिंपल की समस्या ज्यादा देखी जाती है।
- दवा (Medicine)- नैशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन (National Library of Medicine) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार दवाओं के सेवन से पिंपल की समस्या हो सकती है।
- कॉस्मेटिक प्रॉडक्ट्स (Cosmetic products)- नैशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन (National Library of Medicine) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार कॉस्मेटिक प्रॉडक्ट्स के इस्तेमाल से चेहरे पर दाने और दाग-धब्बों की समस्या हो सकती है।
- खानपान की आदतें (Food habit)- जर्नल ऑफ द एकेडमी ऑफ न्यूट्रिशन एंड डायटेटिक्स (Journal of the Academy of Nutrition and Dietetics) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार डायट में ट्रांस फैट के ज्यादा सेवन से पिंपल की समस्या हो सकती है।
- तनाव (Stress)- नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार तनाव की वजह से मस्तिष्क के साथ-साथ शरीर में अंदरूनी बदलाव हो सकते हैं, जो पिंपल का कारण बन सकती है।
ये हुए पिंपल के कारण और इन्हीं में से किसी भी कारण की वजह से पिंपल जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। पिंपल से बचाव के लिए इसके लक्षणों को समझना जरूरी है।
और पढ़ें: चेहरे से जुड़ी अनेक परेशानियों का इलाज हायल्यूरॉनिक एसिड डर्मल फिलर, जानें कैसे करता है काम
पिंपल के लक्षण क्या हैं? (Symptoms of Pimples)
पिंपल के लक्षण निम्नलिखित हो सकते हैं। जैसे:
- स्किन पर सख्त उभार आना।
- स्किन में दाने और पस आना।
- लाल दाने निकलना।
- स्किन लाल होना (धब्बेदार)।
- ब्लैकहेड्स एवं व्हाइट हेड्स आना।
ऐसे लक्षण पिंपल होते हैं। अब जान लेते हैं पिंपल से बचाव का रास्ता क्या है।
और पढ़ें : एक्जिमा के लिए ओटीसी क्रीम लेने से पहले 4 बातों को ध्यान रखना क्यों है जरूरी?
पिंपल से बचाव कैसे संभव है? (How To Prevent Pimples)
पिंपल से बचाव के लिए निम्नलिखित बातों का ध्यान रखें और इन्हीं रोजाना फॉलो करें-
स्टेप 1: फेसवॉश करें- पिंपल से बचाव के लिए चेहरे को डेली फेसवॉश से क्लीन करें। आप चेहरे को गुनगुने पानी से पहले धोएं और फिर फेसवॉश जेल से हल्के हाथों से मसाज करते हुए चेहरे को धो लें।
स्टेप 2: स्किन टाइप- अपने स्किन टाइप को ध्यान में रखकर फेसवॉश जेल का इस्तेमाल करें।
स्टेप 3: मॉश्चराइज करें- रात के वक्त सोने पहले और फेशवॉश करने के बाद चेहरे को फेशियल मॉश्चरइजर लोशन (Facial Moisturizing Lotion) या मॉश्चराइजिंग क्रीम से जरूर मसाज करें।
पिंपल से बचाव के लिए इन तीन स्टेप को बिल्कुल भी स्किप ना करें और इसके साथ ही पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय को भी शामिल करना चाहिए।
और पढ़ें : Types Of Psoriasis: सोरायसिस क्या है? जानिए सोरायसिस के प्रकार, लक्षण और इलाज
पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय (Home remedies for Pimple)
पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय में शामिल करें-
1. टी ट्री ऑयल (Green Tea)- नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार टी ट्री ऑयल की सहायता से मुंहासे को कम किया जा सकता है। इसमें मौजूद एंटी-बैक्टीरियल (Antibacterial) और एंटी-इंफ्लामेटरी (Anti Inflammatory) गुण ही पिंपल से बचाव में मददगार हो सकते हैं। पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय में टी ट्री ऑयल और एलोवेरा जेल को एक साथ मिलाएं और इसे पिंपल पर लगाएं। जब यह सूख जाए तो चेहरे को साफ पानी से वॉश करें।
2. ग्रीन टी (Green Tea)- एसीएडीएमआईए (ACADEMIA) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार ग्रीन टी में मौजूद पॉलीफेनोल्स (Polyphenols) मुंहासे को कम करने की क्षमता रखता है। इसलिए आप ग्रीन टी का रोजाना सेवन कर सकते हैं और ग्रीन टी बैग को ठंडा होने के बाद पिंपल पर रख सकती हैं।
3. जोजोबा ऑयल (Zozoba Oil)- नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार जोजोबा ऑयल में एंटीइंफ्लेमेटरी (Anti Inflammatory) और एंटीबैक्टीरियल (Antibacterial) गुण होने की वजह से यह पिंपल के लिए लाभकारी माना गया है। कॉटन की सहायता से जोजोबा ऑयल को त्वचा पर आये दानों पर लगाएं और 15 से 20 मिनट के बाद ताजे पानी से चेहरे को वॉश कर लें।
4. एलोवेरा (Aloe vera)- नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार एंटीबैक्टीरियल (Antibacterial) और एंटीइंफ्लामेट्री (Anti Inflammatory) गुण होने की वजह से इसके जेल को पिंपल पर लगाने से या ऐसे भी चेहरे पर लगाने से पिंपल और दाग-धब्बों से मुक्ति मिल सकती है। इसके इसी खूबी के कारण पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय में शामिल किया गया है। आपभी एलोवेरा जेल (Aloe vera gel) से मसाज करें और ताजे पानी से चेहरा वॉश करें।
5. आर्गन ऑयल (Argan Oil)- नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार आर्गन ऑयल चेहरे के सीबम को बैलेंस रखने में या सीबम के ज्यादा बनने को कम करने में सक्षम होता है, जो एक्ने (Acne) की समस्या को दूर करने में सहायक है।
पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय (Prevent Pimples) को अपनाकर इनसे दूर रहने में मदद मिल सकती है। हालांकि अगर पिंपल से बचाव के लिए घरेलू उपाय से लाभ ना मिले तो डॉक्टर से कंसल्ट करना बेहतर विकल्प होगा।
आयुर्वेदिक ब्यूटी रेमेडीज के बारे में जानें संपूर्ण जानकारी नीचे दिए इस वीडियो लिंक को क्लिक कर। आयुर्वेदिक ब्यूटी एक्सपर्ट पूजा नागदेव खास जानकारी साझा कर रहीं हैं आयुर्वेदिक ब्यूटी रेमेडीज की, जिससे आप आसानी से अपना सकती हैं और चेहरे पर एक्ने के दाने या अन्य दाग-धब्बों को दूर करने के उपाय।