लोगों की दिनचर्या ठीक ना होने के कारण कई तरह की बीमारियां आपकी सेहत की दुश्मन बन जाती है। ऐसा पौष्टिक खानपान के अभाव के कारण भी होता है। अब ऐसी स्थिति में छोटी बीमारी क्या, कैंसर जैसी गंभीर बीमारी भी आपके शरीर को अपना आशियाना बनाने के लिए तैयार रहती है। इंडियन जर्नल ऑफ मेडिकल साइंस (Indian Journal of Medical Science) में पब्लिश्ड एक रिपोर्ट के अनुसार साल 2018 में पूरे देश में 549,000 ब्लैडर कैंसर के पेशेंट रजिस्टर किये गए थे। वहीं 200,000 लोगों की मौत ब्लैडर कैंसर की वजह से हुई। इसलिए हम इस आर्टिकल में ब्लैडर कैंसर क्या है? और ब्लैडर कैंसर का इलाज BCG से कैसे किया जाता है, इसे समझने की कोशिश करेंगे।
और पढ़ें : क्या होगा यदि कैंसर वाले पॉलिप को हटा दिया जाए, जानें
क्या है ब्लैडर कैंसर? (What is Bladder Cancer)
ब्लैडर कैंसर को समझने के पहले ब्लैडर क्या है, यह जानना जरूरी है। अगर इसे आसान शब्दों में कहें, तो किडनी से दो पाइप का स्ट्रक्चर एक बैग से जुड़ता है। इस बैग में यूरिन (पेशाब) जमा होता है, जिसे यूरिनरी ब्लैडर कहते हैं। जब इस यूरिनरी ब्लैडर के आसपास गांठ बनने लगती है, तो इसका साइड इफेक्ट शुरू हो जाता है, जो धीरे-धीरे ब्लड (Lymph) के माध्यम से पूरे शरीर में फैलने लगता है। इसी गांठ को ब्लैडर कैंसर (Bladder Cancer) कहते हैं। ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज (BCG Treatment for Bladder Cancer) किया जाता है। इस आर्टिकल में समझेंगे BCG यानी बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin) से कैसे इस कैंसर को मात दिया जा सकता है और ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज के साथ-साथ इससे जुड़े अन्य सवालों के जवाब।
और पढ़ें : Gallbladder Cancer: पित्त का कैंसर क्या है? जानें इसके कारण, लक्षण और उपाय
बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin (BCG)) थेरिपी क्या है? (What is BCG)
ब्लैडर कैंसर के इलाज के लिए बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin) एक इंटरवेसीकल इम्यूनोथेरिपी है, जिसका इलाज कैंसर के शुरुआती वक्त में किया जाता है। इम्यूनोथेरिपी इम्यून सिस्टम को स्ट्रॉन्ग बनाने में और कैंसरस सेल्स को रोकने में मदद करती है। आर्टिकल में आगे जानेंगे ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज (BCG Treatment for Bladder Cancer) और इससे जुड़ी जानकारी।
[mc4wp_form id=’183492″]
ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज किन लोगों के लिए लाभकारी माना जाता है? (BCG Treatment for Bladder Cancer)
ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज स्टेज 0 (Stage 0) या स्टेज 1 (Stage 1) के पेशेंट्स के लिए अत्यंत लाभकारी माना जाती है। एक रिसर्च रिपोर्ट के अनुसार इस दौरान की जाने वाली प्रक्रिया को ट्रांस्यूरेथर रिसेक्शन ऑफ ब्लैडर ट्यूमर (TURBT) कहते हैं। इससे ब्लैडर कैंसर को ठीक करने में मदद मिल सकती है। ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज की मदद से ठीक किया जा सकता है। हालांकि ब्लैडर कैंसर के स्टेज 1 (Bladder Cancer stage 1) की स्थिति से आगे बढ़ने पर बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin) का पॉजिटिव रेस्पॉन्स नहीं मिलता है।
और पढ़ें : जानें शरीर में तिल और कैंसर का उससे कनेक्शन
ब्लैडर कैंसर के BCG से इलाज के दौरान क्या सलाह दी जाती है? (Tips to follow during BCG Treatment for Bladder Cancer)
ट्रीटमेंट के दौरान निम्नलिखित सलाह ऑन्कोलॉजिस्ट की ओर से दी जाती है। जैसे:
- ज्यादा से ज्यादा पानी पीने की सलाह दी जाती है। इससे ब्लैडर को क्लीन रखने में मदद मिलती है।
- प्रत्येक ट्रीटमेंट के बाद और तकरीबन 6 घंटे तक व्यक्ति को सावधानी बरतने की जरूरत पड़ती है। डॉक्टर पुरुषों को बैठकर टॉयलेट करने की सलाह भी देते हैं। ऐसा करने से इंफेक्शन स्प्रेड होने की संभावना कम हो जाती है।
- ब्लैडर कैंसर के पेशेंट को टॉयलेट जाने से पहले फ्लश जरूर करना चाहिए। यही नहीं टॉयलेट के बाद जेनाइटल एरिया को क्लीन भी जरूर करना चाहिए। हाइजीन का ध्यान रखते हुए हाथों को भी अच्छे से क्लीन करना ना भूलें।
- नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन में पब्लिश्ड एक रिपोर्ट के अनुसार बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin (BCG)) का ट्रांसमिशन सेक्शुअल एक्टिविटी के दौरान हो सकता है। इसलिए ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज के दौरान सेक्स ना करें। बेहतर होगा 48 घंटे के लिए शारीरिक संबंध ना बनायें। भविष्य में इंफेक्शन के खतरे से बचने के लिए कॉन्डम का इस्तेमाल जरूर करें।
- ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज अगर महिला का किया जा रहा है, तो डॉक्टर इस दौरान गर्भधारण और स्तनपान नहीं करवाने की सलाह देते हैं।
ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज 6 सप्ताह तक लगातार किया जाता है। बीमारी की गंभीरता को देखते हुए डॉक्टर आगे की थेरिपी का निर्णय करते हैं।
और पढ़ें : Bone Marrow Cancer: बोन मैरो कैंसर क्या है और कैसे किया जाता है इसका इलाज?
ब्लैडर कैंसर के BCG से इलाज के कारण क्या साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं? (Side effects of BCG)
ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज (BCG Treatment for Bladder Cancer) होने पर अगर कैंसर स्टेज 0 या स्टेज 1 पर है, तो इससे लाभ मिलता है। लेकिन इसके साथ-साथ कुछ साइड इफेक्ट्स भी जरूर हो सकते हैं। इन साइड इफेक्ट्स में शामिल है:
- बुखार आना
- ठंड लगना
- थकावट महसूस होना
- ब्लैडर में जलन महसूस होना
- बार-बार पेशाब लगना
- यूरिन से ब्लड आना
अगर ये साइड इफेक्ट्स ज्यादा दिनों तक लगातार बनी रहती है, तो जल्द से जल्द डॉक्टर को इसकी जानकारी दें।
[mc4wp_form id=’183492″]
ब्लैडर कैंसर का BCG से ट्रीटमेंट कितना प्रभावी होता है? (How effective is BCG)
अगर ब्लैडर कैंसर स्टेज 0 या स्टेज 1 पर हैं, तो BCG ट्रीटमेंट ट्रांस्यूरेथर रिसेक्शन ऑफ ब्लैडर ट्यूमर (TURBT) या TURBT कीमोथेरिपी से ज्यादा कारगर माना जाता है।
और पढ़ें : कोलोन कैंसर डायट: रेग्यूलर डायट में शामिल करें ये 9 खाद्य पदार्थ
ब्लैडर कैंसर का BCG से ट्रीटमेंट के लिए किन-किन बातों का ध्यान रखा जाता है?
हेल्थ एक्सपर्ट बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin) से ट्रीटमेंट के दौरान निम्नलिखित बातों का ध्यान रखते हैं। जैसे:
- ब्लैडर कैंसर कौन से टाइप का है?
- ब्लैडर कैंसर का कौन सा स्टेज चल रहा है?
- पेशेंट की उम्र और हेल्थ कंडिशन कैसी है?
- इलाज को पेशेंट कैसे बर्दाश्त कर सकते हैं?
इनसभी बातों को समझने के बाद ही डॉक्टर ट्रीटमेंट स्टार्ट करते हैं।
ब्लैडर कैंसर का BCG ट्रीटमेंट (BCG Treatment for Bladder Cancer) से जुड़ी इनसभी महत्वपूर्ण जानकारियों के अलावा इस कैंसर के कारणों को भी समझना जरूरी है, तभी इस बीमरी से दूर रहा जा सकता है।
और पढ़ें : स्टेज-0 सर्वाइकल कार्सिनोमा क्या है? जानिए इसके लक्षण, कारण और इलाज
ब्लैडर कैंसर के क्या हैं कारण? (Cause of Bladder Cancer)
ब्लैडर कैंसर के निम्नलिखित कारण हो सकते हैं। जैसे:
- कैंसर से जुड़े रिसर्च के अनुसार ज्यादातर केसेस स्मोकिंग या तंबाकू के सेवन की वजह से होते हैं।
- केमिकल या डाई के कारण भी इस कैंसर की संभावना बढ़ जाती है।
- यूरिनरी ब्लैडर में इंफेक्शन होना या स्टोन के फसे होने कारण
ब्लैडर कैंसर के यही 3 कारण मुख्य माने जाते हैं। इसलिए तंबाकू या स्मोकिंग नहीं करना चाहिए, केमिकल वाले स्थानों और डाई का इस्तेमाल से दूर रहना चाहिए और ब्लैडर को इंफेक्शन से बचाने के लिए ज्यादा से ज्यादा पानी पीना चाहिए और अगर स्टोन की समस्या है, तो उसका जल्द से जल्द इलाज करवाना चाहिए।
और पढ़ें : क्या कोलन कैंसर को रोकने में फाइबर की कोई भूमिका है?
कैंसर से बचने के लिए क्या करें? (Tips to prevent from Cancer)
कोई भी बीमारी अपने आप पैदा नहीं हो पाती है और इसके पीछे कई कारण होते हैं। जैसे जेनेटिकल, शरीर में पोषण की कमी आदि। वैसे कारण कोई भी हो, लेकिन इससे बचने के लिए एक सबसे बेस्ट ऑप्शन माना जाता है खान-पान बेहतर करना। इस आर्टिकल में आगे जानेंगे कैंसर की बीमारी से बचने के लिए क्या करें डायट में शामिल।
एंटीऑक्सिडेंट (Antioxidant)- कोशिकाओं को हेल्दी रखने के लिए एंटीऑक्सिडेंट फूड का सेवन करना चाहिए। आप लहसुन, आलू एवं ब्रोकली जैसे खाद्य पदार्थों को अपने डायट में शामिल कर सकते हैं।
ओमेगा-3 (Omega-3)- नट्स, फ्लैक्स सीड, पम्पकिन सीड एवं मछलियों का सेवन करें।
विटामिन (Vitamin)- विटामिन-ए, सी एवं ई में शामिल खाद्य पदार्थों जैसे स्ट्रॉबेरी, कीवी, दूध, योगर्ट, लाल शिमला मिर्च एवं पालक का सेवन करें।
पानी (Water)- रोजाना दो से ढ़ाई लीटर पानी का सेवन करें। पानी के सेवन से शरीर से विषाक्त को बाहर निकाले में आसानी होती है।
स्मोकिंग (Smoking)- स्मोकिंग ना करें और तंबाकू का सेवन भी ना करें।
नोट: कभी भी पेशाब लगने पर रोके नहीं। ऐसा करने से इंफेक्शन की समस्या शुरू हो सकती है और धीरे-धीरे एक गंभीर बीमारी का रूप भी ले सकती है। कई बार लोग टॉयलेट जाना नहीं चाहते हैं, जबकि इन आदतों से दूर रहें। हां, अगर आपको बार-बार टॉयलेट जाना पड़ता है, तो ऐसे में डॉक्टर से कंसल्ट करें।
इनके सेवन से कैंसर के साथ-साथ अन्य शारीरिक परेशानियां भी दूर रहेंगी। अगर आप ब्लैडर कैंसर, ब्लैडर कैंसर का BCG से इलाज (BCG Treatment for Bladder Cancer) या बैसिलस कालमेटे गुएरीन (Bacillus Calmette-Guerin) से जुड़े किसी तरह के कोई सवाल का जवाब जानना चाहते, हैं तो विशेषज्ञों से समझना बेहतर होगा। अगर आपके मन में अन्य कोई सवाल हैं तो आप हमारे फेसबुक पेज पर पूछ सकते हैं। हम आपके सभी सवालों के जवाब आपको कमेंट बॉक्स में देने की पूरी कोशिश करेंगे। अपने करीबियों को इस जानकारी से अवगत कराने के लिए आप ये आर्टिकल जरूर शेयर करें।