प्रश्न- कई लोग यह भी बोलते हैं कि वोडका को सेनिटाइजर के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है, क्योंकि इसमें पर्याप्त मात्रा में एल्कोहॉल होता है?
डॉ. पंकज लोहिया ने कहा, “ऐसी सूचनाएं उन स्थानों पर फैलाई गई थीं या उन देशों से आईं है, जहां महामारी के फैलने के शुरुआती समय में सेनिटाइजर की उपलब्धता कम थी और सेनिटाइजर का उतना प्रोडक्शन नहीं हो रहा था, जितनी की जरूरत थी। महामारी के पैनिक समय में हर देश ने अपनी-अपनी गाइड लाइन बनाई और इसका पालन किया।”
कोविड-19 और मानसिक स्वास्थ्य : हाथों को साफ करने के लिए सेनिटाइजर का करें इस्तेमाल
उन्होंने कहा कि छोटे देशों में सेनिटाइजर लोगों को पर्याप्त मात्रा में नहीं मिल रहा था, तो वहां लोगों ने विकल्प के रूप में इन चीजों का भी प्रयोग किया था।
भारत में सेनिटाइजर और हाथ धोने के सभी सामान उपलब्ध हैं। इसलिए मेरी निजी राय है कि वोडका या ऐसे चीजों का उपयोग न करें, बल्कि सेनिटाइजर का इस्तेमाल करें।
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प्रश्न- डिटॉल (Dettol), सेवलॉन (Savlon), लाइजॉल (Lizol) आदि कोरोना वायरस से कितना बचाव करते हैं?
इनमें एल्कोहल नहीं फिनॉल होता है और ये प्रोडक्ट काफी पहले से एंटी-वायरल और एंटी-बैक्टीरियल के रूप में प्रयोग किए जा रहे हैं। फिनॉल से भी वायरस खत्म हो जाता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इन सभी प्रोडक्ट की अनुशंका की है।
प्रश्न- क्या डिटॉल (Dettol), सेवलॉन (Savlon) में कुछ मात्रा में शराब मिलाकर, सेनिटाइजर बनाया जा सकता है?
लिवर ट्रांसप्लांट और क्रिटिकल केयर विभाग के सीनियर कंसल्टेंट डॉ. पंकज लोहिया के अनुसार, “दोनोंं अलग-अलग चीजें हैं, इसलिए ऐसा नहीं करना चाहिए।”
प्रश्न- कुछ लोग ऐसा मानते हैं कि एल्कोहॉल पीने से शरीर से कोरोना वायरस खत्म हो जाता है, यह कितना सही है?
हमारी भोजन और श्वास नली अलग-अलग होती हैं। एल्कोहॉल हमारी भोजन नली से पेट में जाता है। जबकि रिसर्च से पता चला है कि कोरोना वायरस श्वास नली में ऊपर और नीचे काफी देर तक जीवित रहता है। इसलिए इस तरह की बातों पर ध्यान नहीं देना चाहिए। यह लोगों की व्यक्तिगत राय है, जो मिथ्या है।
प्रश्न- एल्कोहॉल पीने से क्या नुकसान होता है?
एल्कोहॉल का सेवन करने से इम्यूनिटी पावर कम होती है। शरीर की डिफेंस सिस्टम में काम करने वाले जो सेल होते हैं, वे कम हो जाते हैं। इससे मरीज अस्वस्थ हो सकता है। रिसर्च यह बताता है कि कोरोना वायरस उन लोगों को अधिक नुकसान पहुंचाता है, जिसकी इम्यूनिटी पावर कम है। इसलिए शराब का सेवन नहीं करना चाहिए।
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प्रश्न -कुछ लोग बोलते हैं कि दो पैग शराब पीने से कुछ फर्क नहीं पड़ता है, यह सही है?
लिवर ट्रांसप्लांट और क्रिटिकल केयर विभाग के सीनियर कंसल्टेंट डॉ. पंकज लोहिया के अनुसार, “सभी शरीर की अपनी-अपनी क्षमताएं होती हैं। शराब चाहे थोड़ी मात्रा में पिएं या अधिक मात्रा में, वह नुकसानदेह होती है। हां, ये हो सकता है कि यह किसी को पहले नुकसान पहुंचा सकती है, तो कुछ को नुकसान होने में थोड़ा समय लग सकता है। नुकसान नहीं होने की बात तथ्यहीन है।”
कोविड-19 और मानसिक स्वास्थ्य : रोगग्रस्त लोगों को एल्कोहॉल से अधिक नुकसान
इसके साथ ही जो लोग डायबिटीज, ब्लड प्रेशर, पीलिया, अपच की समस्या और लिवर से जुड़ी पुरानी बीमारी से ग्रस्त हैं, उनको एल्कोहॉल से बचना चाहिए। ऐसे लोगों को एल्कोहॉल से नुकसान पहुंच सकता है।
प्रश्न- कोरोना महामारी के समय अपने घरों में बंद रहने से कई लोगों को टेंशन हो रही है। कुछ लोग कोरोना लॉकडाउन के कारण मानसिक तनाव झेल रहे हैं और डिप्रेशन में भी चले गए हैं। इन समस्याओं से बचने के लिए कई लोग ड्रग्स और एल्कोहल आदि का सहारा भी ले रहे हैं। क्या इससे समस्या कम होने की बजाय बढ़ नहीं रही है?
डॉ. लोहिया ने कहा, “कुछ लोग खांसी की दवा या पेनकिलर लेकर तुरंत आराम पाने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन जब इसकी लत लग जाती है, तो यह नुकसान पहुंचाती है। इस समय लॉकडाउन पीरियड में विशेष सावधानी की जरूरत है। यह देखना चाहिए कि क्या चीजें हमें नुकासन कर सकती है। अगर कोविड-19 को लेकर लोग बेचैन हैं और उन्हें मानसिक तनाव हो रहा है, तो उन्हें धैर्य रखना चाहिए। वैसे यह चिंता का विषय है।”
प्रश्न- सोशल डिस्टेंसिंग, शेल्टर होम आदि में लोग अपने परिवार से दूर हैं। लोग अपना एकांत मिटाने के लिए भांग और गांजा जैसी चीजों का सेवन कर रहे हैं। इससे बचने के लिए क्या उपाय किए जा सकते हैं?