परिचय
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी क्या है?
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी या ब्रेकियल प्लेक्सस न्यूरोपैथी तब होती है जब ऊपरी कंधे के हिस्से में चोट लगती है। इसके कारण कंधे और बाजुओं नर्व की समस्या यानी गंभीर दर्द हो सकता है। ब्रेकियल प्लेक्सस नसों का नेटवर्क है जो रीढ़ की हड्डी से हमारे कंधे, और हाथ तक सिग्नल भेजता है। ब्रेकियल प्लेक्सस इंजरी तब हो सकती है जब ये नसें फैली हुई होती हैं, संकुचित होती हैं, या गंभीर मामलों में, रीढ़ की हड्डी से अलग हो जाती है या फट जाती है। छोटी ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी को बर्नर्स कहा जाता है और यह उन लोगों में होना सामान्य है जो कोई खेल जैसे फुटबॉल आदि खेलते हैं। जन्म के समय कुछ नवजात शिशुओं को भी यह समस्या हो जाती है।
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कारण
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी के कारण क्या है?
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी सीधी चोट का परिणाम है। इसके कुछ कारण इस प्रकार हैं:
- जन्म के समय लगने वाली चोट
- स्ट्रेचिंग से लगने वाली चोट
- ट्यूमर से दवाब
- रेडिएशन थेरेपी से डैमेज होना
- खेल :कई फुटबॉल प्लेयर को यह समस्या होती है।
- जन्म के समय मुश्किल : नए जन्मे बच्चों में ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी हो सकती है।
- ट्रामा -कई तरह के ट्रामा जैसे एक्सीडेंट, गिरना या गोली लगने से भी यह समस्या हो सकती है।
- ट्यूमर या कैंसर के उपचार से भी यह समस्या हो सकती है।
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लक्षण
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी के लक्षण क्या हैं?
सुन्न होना
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी से कंधों, बाजू और हाथ के सुन्न होने की समस्या हो सकती है। यही नहीं, गंभीर मामलों में इससे बहुत अधिक नुकसान हो सकता है। शरीर के अंगों के सुन्न होने से आपको पता नहीं चल पायेगा कि दर्द कहा है। यदि आप उन क्षेत्रों में दर्द का पता लगाने में असमर्थ हैं, तो आप उन अंगों की जटिलताओं पर ध्यान नहीं देते हैं।
पेट में समस्या
कई बार ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी होने से आपको पेट में गुदगुदी या जलन हो सकती है।
कमजोरी
हाथों में कमजोरी आना इस समस्या का लक्षण है। इस से आप अपनी कलाई को हिलाने में असमर्थ हो सकते हैं।
होर्नर सिंड्रोम
होर्नर सिंड्रोम बहुत ही दुर्लभ है। लेकिन, अगर ऐसा होता है तो यह ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी का लक्षण हो सकता है।
होर्नर सिंड्रोम के लक्षण इस प्रकार हो सकते हैं:
- आंखों की पुतलियों का सिकुड़ना, जिनसे यह छोटी हो जाती हैं।
- हाथ, कलाई, या बाजू को नियंत्रित या मूव करने में असमर्थ होना।
- जोड़ों में कसाव। अगर आप अपने हाथों, बाजुओं या जोड़ों में अकड़न हैं तो यह इस बीमारी के लक्षण हो सकते हैं।
- नसों में डैमेज होने के कारण दर्द हो सकता है।
आप एक गंभीर ब्रोक्सियल प्लेक्सस चोट से कितनी अच्छी तरह से उबरते हैं, यह आपकी उम्र और चोट के प्रकार, स्थान और गंभीरता सहित कई कारकों पर निर्भर करता है। यहां तक की सर्जरी के बाद, कुछ लोग मांसपेशियों की कमजोरी या पक्षाघात का भी अनुभव करते हैं।
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निदान
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी का निदान क्या हैं?
डॉक्टर सबसे पहले आपके हाथ और बाजू को जांचेंगे। उसके बाद इस इंजरी को जांचने के लिए डॉक्टर निम्नलिखित टेस्ट करा सकते हैं:
- इमेजिंग टेस्ट जैसे MRI स्कैन या CT SCAN
- नर्व फंक्शन आदि को जांचने के लिए टेस्ट जैसे इलेक्ट्रोमोग्राम (EMG)
- गले और कन्धों का X-ray
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उपचार
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी का उपचार क्या हैं?
- कियल प्लेक्सस नर्व इंजरी का उपचार कई कारकों पर निर्भर करता है जैसे इंजरी की गंभीरता, इंजरी का प्रकार, इंजरी को कितना समय हुआ है आदि। अगर नसे केवल खींची हुई हैं तो यह बिना किसी उपचार के ठीक हो सकती हैं। आपके जोड़ और मांसपेशियां अच्छे से काम करें इसके लिए डॉक्टर आपको फिजिकल थेरेपी की सलाह दे सकते हैं।
- ब्रेकियल प्लेक्सस नसों की मरम्मत के लिए सर्जरी आमतौर पर चोट के बाद 6 से 7 महीने के भीतर होनी चाहिए। बाद में होने वाली सर्जरी की सफलता की संभावना कम हो जाती है।
- नसों के टिश्यू धीरे-धीरे बढ़ते हैं, इन रिकवरी पीरियड के दौरान आपको एक्सरसाइज करनी चाहिए। ताकि, आप जल्दी ठीक हो जाएं।
- जन्म के समय अगर नवजात शिशु को ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी हो, तो उसे भी उपचार की आवश्यकता नहीं होती। वो बिना उपचार के ठीक हो जाते हैं। लेकिन, इसे ठीक होने में कुछ समय लग सकता है।
इस समस्या से जल्दी राहत पाने के लिए आपको रोजाना अपनी प्रोग्रेस को जांचना चाहिए।
- चेकअप विशेष रूप से शिशुओं के लिए महत्वपूर्ण है और चोट के बाद दो साल तक इसकी आवश्यकता हो सकती है।
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सर्जरी का प्रकार
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी में सर्जरी कौन सी करनी चाहिए यह आपके डॉक्टर निर्धारित करते हैं। चोट के अनुसार सर्जरी की जाती है। यह सर्जरी इस प्रकार हो सकती हैं।
नर्व ग्राफ्ट : इस प्रक्रिया में ब्रेकियल प्लेक्सस से प्रभावित और ख़राब हिस्से को निकाल और बदल दिया जाता है, जिससे बाजू अच्छे से काम कर पाती है
नर्व ट्रांसफर: जब रीढ़ की हड्डी से नस की जड़ को निकल दिया जाता है तो सर्जन अक्सर उस कम महत्वपूर्ण तंत्रिका लेते हैं जो अभी भी काम कर रही है और इसे उस तंत्रिका से जोड़ देते हैं जो अधिक महत्वपूर्ण है लेकिन काम नहीं कर रहा है।
मसल ट्रांसफर: यह वो प्रक्रिया है जब सर्जन रोगी के शरीर के अन्य हिस्से की कम महत्वपूर्ण मसल को निकाल देते हैं। जैसे जांघों से निकल कर, इसे आपकी बाजुओं में डाल देते हैं।
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घरेलू उपचार
ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी का घरेलू उपचार क्या हैं?
हालांकि ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी की रोकथाम नहीं हो सकती लेकिन यह समस्या हो जाए तो इसके जोखिम को कम किया जा सकता है। ऐसे में आप खुद का ध्यान इस प्रकार रख सकते हैं।
वयस्क : अगर आप अस्थायी रूप से इस रोग से पीड़ित हैं तो जल्दी ठीक होने के लिए नियमित रूप से एक्सरसाइज और फिजिकल थेरिपी का प्रयोग करें ताकि जोड़ों की अकड़न को रोका जा सके। अगर आप एक एथलिट हैं और आपको पहले भी यह समस्या हो चुकी है तो डॉक्टर आपको खेलते हुए खास पेंडिंग पहनने की सलाह दे सकते हैं।
बच्चों के लिए : अगर आप ऐसे बच्चे के माता-पिता हैं जिन्हे ब्रेकियल प्लेक्सस नर्व इंजरी है, तो आप अपने बच्चे के जोड़ों और मसल्स के सही से काम करने के लिए उसे रोजाना एक्सरसाइज कराएं। इसकी शुरुआत तब करें जब बच्चा कुछ हफ़्तों का हो जाए। इससे बच्चे के जोड़ नहीं अकड़ेंगे और स्वस्थ व मजबूत रहेंगे। इससे बच्चे को जल्दी ठीक होने में मदद मिलेगी।
। बेहतर जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श करें।
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