नोट: यहां दी गई स्लीप शेड्यूल को फॉलो किया जा सकता है, लेकिन अगर शिशु को कोई शारीरिक परेशानी या मानसिक परेशानी है, तो ऐसे में स्लीप शेड्यूल अलग भी हो सकता है। यहां सिर्फ आपकी जानकारी के लिए स्लीप शेड्यूल (Sleep schedule) यानी स्लीपिंग पैटर्न दी गई है। अगर बेबी हेल्थ है और 12 से 15 घंटे की नींद पूरी नहीं हो रही है, तो ऐसे में डॉक्टर से कंसल्ट करें।
अब ऐसे में सवाल यह उठता है कि अगर बच्चा बेस्ट स्लीप शेड्यूल (Baby sleep schedule) या स्लीपिंग पैटर्न फॉलो नहीं कर पा रहा है, तो पेरेंट्स को क्या करना चाहिए? तो चलिए इसे भी समझने की कोशिश करते हैं।
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5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल के लिए शिशु (5 month old sleep schedule) को कैसे तैयार करें?
5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल पेरेंट्स अपने अनुसार बना सकते हैं। सिर्फ इस दौरान यह ध्यान रखना चाहिए कि ऐसी गतिविधि करें जिससे शिशु को नींद आने लगे। इसलिए शिशु की मालिश करें, लोरियां सुनाएं, दिन के वक्त स्नान करवाएं और उसे पालने में झुलाएं। ऐसा करने से शिशु को नींद आने लगती है और वे सो जाते हैं।
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5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल बेहतर बनाने के लिए क्या हैं टिप्स? (Tips for 5 month old sleep schedule)
5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल बेहतर बनाने के लिए निम्नलिखित टिप्स फॉलो करें। जैसे:
- नींद आने के लक्षणों को समझें (Learn signs of sleep readiness)- 5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल बेहतर बनाने के लिए पेरेंट्स को सबसे पहले यह ध्यान रखना चाहिए कि शिशु अगर अपनी आंखों को खुजलाने लगे, अंगूठा चूसने लगे या फिर रोने लगे तो इसका अर्थ है वह सोना चाह रहा है। ऐसे संकेत शिशु को भूख लगने की भी हो सकती है। इसलिए अगर बेबी को ब्रेस्टफीडिंग (Breastfeeding) करवाएं और फिर सुला दें। कई बार बच्चे ब्रेस्टफीडिंग के दौरान भी सो जाते हैं।
- एक रूटीन बनायें (Stick to a routine)- शिशु का स्लीप शेड्यूल बेहतर बनाने के लिए बेड टाइम रूटीन को फॉलो करना बेहद जरूरी है। इसलिए सोने के समय से कुछ देर पहले से ही उन्हें दूध पिलायें, टॉयलेट करवाएं और फिर उन्हें लोरी सुनायें। इस रूटीन को रोजाना फॉलो करें, क्योंकि धीरे-धीरे बच्चों को फिर समय पर सोने की आदत लगने लगेगी।
- टमी टाइम (Tummy time)- बच्चों के लिए टमी टाइम पर ध्यान देना बेहद जरूरी होता है। नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) के अनुसार टमी टाइम यानी बच्चों को पेट के बल लिटाने से उनकी मांसपेशियां मजबूत होती हैं। टमी टाइम के दौरान शिशु के साथ वक्त बिताने से लाभ मिलने के साथ-साथ नींद आने में भी मदद मिल सकती है। इस दौरान शिशु को थोड़ी मेहतनत करनी पड़ती है जैसे सिर को सीधा रखना या शरीर को आगे की ओर पुश करना। ऐसे में थकने की वजह से उन्हें नींद आ सकती है।
5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल (5 month old sleep schedule) बेहतर बनाने के लिए इन तीन टिप्स को फॉलो करना चाहिए। अगर इन टिप्स को फॉलो करने के बावजूद शिशु को नींद से जुड़ी परेशानी होती है, तो डॉक्टर से कंसल्ट करना चाहिए।
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5 महीने के शिशु का स्लीप शेड्यूल बेहतर बनाने के साथ-साथ उनके डायट का भी ख्याल रखना है आवश्यक (5 month old Baby diet)
यूनिवर्सिटी ऑफ रोचेस्टर मेडिकल सेंटर रोचेस्टर (University of Rochester Medical Center Rochester) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार 5 महीने के शिशु के हेल्दी डायट फॉलो करना बेहद जरूरी है और वह इस प्रकार है-
- ब्रेस्टफीडिंग (Breastfeeding)- 5 महीने के शिशु को एक दिन में 828 मिलीलीटर से 946.35 मिलीलीटर तक दूध पी सकते हैं और 24 घंटे में 4 से 6 बार तक ब्रेस्टफीडिंग (Breastfeeding) करवाया जा सकता है।
- फॉर्मूला मिल्क (Formula Milk)- 5 महीने के शिशु को तकरीबन 887.2 मिलीलीटर तक फॉर्मूला मिल्क का सेवन करवाया जा सकता है। फॉर्मूला मिल्क (Formula Milk) को भी 24 घंटे में 4 से 6 बार अलग-अलग वक्त में पिलाना चाहिए।
यह हमेशा ध्यान रखें कि आपके बच्चों को अच्छी नींद मिले और एक शांत बचपन मिले। ऐसा इसलिए जरूरी होता है, क्योंकि अच्छी नींद और ब्रेस्टफीडिंग भविष्य में होने वाली शारीरिक परेशानियों से दूर रखने में मददगार होते हैं।
बच्चों के लिए मां का दूध सर्वोत्तम माना जाता है। नीचे दिए वीडियो लिंक पर क्लिक करें और हेल्थ एक्सपर्ट से जानिए ब्रेस्टमिल्क एवं फॉर्मूला मिल्क (Breast milk and formula milk) से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारी।