अंतर्गर्भाशयी गर्भाधान (IUI) फर्टिलिटी ट्रीटमेंट है जिसमें फर्टिलाइजेशन की सुविधा के लिए महिला के गर्भाशय के अंदर शुक्राणु को इंसर्ट कराया जाता है। आईयूआई (IUI) का उद्देश्य स्पर्म की संख्या में वृद्धि करके फैलोपियन ट्यूब तक अधिक स्पर्म पहुंचाने का है। इससे फर्टिलाइजेशन की संभावना को बढ़ाया जाता है। जो महिलाएं नैचुरल प्रॉसेस से प्रेग्नेंट नहीं हो पाती हैं या फिर किसी समस्या की वजह से कंसीव नहीं कर पाती हैं, वो इस ट्रीटमेंट से मां बन सकती हैं। अगर आप ये ट्रीटमेंट लेने जा रही हैं तो एक बार IUI का रिस्क जानना बहुत जरूरी है। इस आर्टिकल के माध्यम से आपको IUI का रिस्क और अन्य आवश्यक जानकारी भी मिलेगी।
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