कोलोरेक्टल कैंसर (Colorectal cancer) दुनिया भर में और भारत में पुरुषों में तीसरा सबसे आम कैंसर है। वैसे कैंसर (Cancer) का नाम सुनते ही ज्यादातर मरीज या उनके केयर टेकर परेशान हो जाते हैं। जबकि डॉक्टर्स एवं अलग-अलग रिसर्च रिपोर्ट की मानें तो कैंसर या किसी भी गंभीर बीमारी की जानकारी अगर शुरुआती स्टेज में मिल जाए तो उस बीमारी को हराना आसान होता है। इसलिए आज इस आर्टिकल में कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy for Colorectal cancer) के बारे में समझेंगे। वैसे कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी के बारे में जानने से पहले कोलोरेक्टल कैंसर से जुड़ी जानकारी शेयर करते हैं, जिससे इस बीमारी को समझने में मदद मिल सकती है।
- कोलोरेक्टल कैंसर क्या है?
- कोलोरेक्टल कैंसर के कारण क्या हैं?
- कोलोरेक्टल कैंसर के लक्षण क्या हो सकते हैं?
- कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी कैसे किया जाता है?
- रेडिएशन थेरिपी क्या है?
- कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी सिर्फ एक तरह के होते हैं या अलग-अलग तरह के?
- कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी पेनफुल हो सकती है?
- कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी लेने के बाद होने वाले साइड इफेक्ट्स क्या हो सकते हैं?
- कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी के बाद किन-किन बातों का ध्यान रखें?
चलिए अब कोलोरेक्टल कैंसर एवं कोलोरेक्टल कैंसर रेडिएशन थेरिपी (Colorectal cancer Radiation therapy) से जुड़े इन सवालों का जवाब जानते हैं।
कोलोरेक्टल कैंसर (Colorectal cancer) क्या है?
कोलोरेक्टल कैंसर एक ऐसा कैंसर है, जो पेट या मलाशय (Rectum) में होता है। इस कैंसर को पेट का कैंसर (Colon) या रेक्टल (Rectal) कैंसर भी कहा जा सकता है। दरअसल यह इस बात पर निर्भर करता है कि कैंसर कहां से शुरू होता है। कोलन कैंसर और रेक्टल कैंसर आमतौर पर एक जैसे होते हैं। बड़ी आंत को भी कोलन कहते हैं। अमेरिकन कैंसर सोसायटी (American Cancer Society) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार 22 पुरुषों में 1 और 24 महिलाओं में से 1 व्यक्ति को कोलोरेक्टल कैंसर की समस्या होती है। ऐसी स्थिति में कोलोरेक्टल कैंसर के कारण और लक्षणों को समझना जरूरी है।
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कोलोरेक्टल कैंसर के कारण क्या हैं? (Causes of Colorectal cancer)
कोलोरेक्टल कैंसर की समस्या उन लोगों में ज्यादा डायग्नोस की जाती है, जो अनहेल्दी डायट (Unhealthy Diet) एवं अनहेल्दी लाइफस्टाइल (Unhealthy lifestyle) फॉलो करते हैं। इसके साथ ही जरूरत से ज्यादा वजन या ओबेसिटी (Obesity) के शिकार लोगों में भी कोलोरेक्टल कैंसर की समस्या देखी जाती है। इसलिए कोलोरेक्टल कैंसर के लक्षण को समझें और फिर जानेंगे कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy for Colorectal cancer) कैसे सहायक हो सकती है।
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कोलोरेक्टल कैंसर के लक्षण क्या हो सकते हैं? (Symptoms of Colorectal cancer)
कोलोरेक्टल कैंसर के लक्षण निम्नलिखित हो सकते हैं। जैसे:
- दस्त (Diarrhea) की समस्या होना।
- कब्ज (Constipation) की समस्या होना।
- स्टूल से ब्लड (Blood in Stool) आना।
- पेट में दर्द (Abdominal pain) महसूस होना।
- पेट में सूजन (Abdominal inflammation) की समस्या होना।
- उल्टी (Vomiting) आना।
- बिना कारण थकान (Tiredness) महसूस होना।
- बिना कारण शरीर का वजन कम (Weight loss) होना।
- पेट में गांठ (Lump) बनना।
- पुरुषों या महिलाओं में एनीमिया (Anemia) की समस्या होना।
ऐसी परेशानी या लक्षण कोलोरेक्टल कैंसर के लक्षण की ओर इशारा करते हैं। इसलिए डॉक्टर से कंसल्ट करें।
कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी कैसे किया जाता है? (Process of Radiation therapy for Colorectal cancer)
कोलोरेक्टल कैंसर का इलाज अलग-अलग तरह से किया जाता है और कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी उन्हीं में से एक है। इसलिए सबसे पहले रेडिएशन थेरिपी के बारे में समझेंगे।
रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy) क्या है?
रेडिएशन थेरिपी को मेडिकल टर्म में रेडियोथेरिपी (Radiotherapy) भी कहा जाता है। रेडिएशन थेरिपी कैंसर के इलाज के लिए एक ऐसा तरीका है, जिसमें रेडिएशन किरणों (Radiation Rays) की सहायता से कैंसर के सेल्स को खत्म करने में मदद मिल सकती है। सिर्फ इतना ही नहीं, बल्कि रेडिएशन थेरिपी कैंसरस सेल (Cancerous cells) को खत्म करने के साथ-साथ बॉडी के दूसरे ऑर्गेन में भी फैलने वाले कैंसर सेल्स को रोकने में सक्षम हो सकते हैं।
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कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी सिर्फ एक तरह के होते हैं या अलग-अलग तरह के? (Types of Radiation therapy for Colorectal cancer)
कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी अलग-अलग तरह के होते हैं जो इस प्रकार हैं-
- एक्स्टर्नल बीम रेडिएशन थेरिपी (External Beam Radiation Therapy [EBRT])
- इंटर्नल रेडिएशन थेरिपी (ब्रैकीथेरिपी) (Internal radiation therapy [Brachytherapy])
चलिए अब इन दोनों थेरिपी के बारे में एक-एक कर समझते हैं।
1. एक्स्टर्नल बीम रेडिएशन थेरिपी (External Beam Radiation Therapy [EBRT])
एक्स्टर्नल बीम रेडिएशन थेरिपी (EBRT) सामान्य है और इस थेरिपी की मदद से शरीर के बाहरी हिस्से पर रेडिएशन दी जाती है, जिससे कोलोरेक्टल कैंसर का इलाज किया जाता है। अगर कैंसर ज्यादा बढ़ चुका है, तो ऐसी स्थिति में ब्रैकीथेरिपी (Brachytherapy) की भी मदद ली जा सकती है। एक्स्टर्नल बीम रेडिएशन (External Beam Radiation) अंतर्गत 3 अलग-अलग तरह की टेक्निक बताई गई है। हैकेंसैक मेरिडियन हेल्थ (Hackensack Meridian Health) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy for Colorectal cancer) के दौरान अगर एक्स्टर्नल बीम रेडिएशन (External Beam Radiation) थेरिपी की मदद ली जाती है। एक्स्टर्नल बीम रेडिएशन थेरिपी कुछ दिनों या कुछ हफ्ते के लिए प्रिस्क्राइब की जाती है और यह पेशेंट की कंडिशन पर भी निर्भर होता है।
2. इंटर्नल रेडिएशन थेरिपी (ब्रैकीथेरिपी) (Internal radiation therapy [Brachytherapy])
इंटर्नल रेडिएशन थेरिपी (Internal radiation therapy) को ब्रैकीथेरिपी (Brachytherapy) भी कहा जाता है। कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy for Colorectal cancer) के दौरान ब्रैकीथेरिपी (Brachytherapy) की मदद तब ली जा जाती है, दरअसल जब कोलोरेक्टल कैंसर सबसे एडवांस्ड स्टेज में पहुंच जाए तो।
नोट: कोलोरेक्टल कैंसर के इलाज के दौरान रेडियोइंबोलाइजेशन (Radioembolization) की भी मदद ली जाती है।
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कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी पेनफुल हो सकती है? (Radiation therapy for Colorectal cancer is painful)
कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy for Colorectal cancer) हो या किसी अन्य बीमारी के इलाज में मदद ली जाने वाली रेडिएशन थेरिपी के दौरान किसी तरह का दर्द नहीं होता है। वैसे यह ध्यान रखना जरूरी है कि रेडिएशन थेरिपी की वजह से दर्द नहीं होता है, लेकिन पेशेंट में इसके थोड़े साइड इफेक्ट्स देखे जा सकते हैं।
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कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी लेने के बाद होने वाले साइड इफेक्ट्स क्या हो सकते हैं? (Side effects of Colorectal cancer Radiation therapy)
अमेरिकन कैंसर सोसायटी (American Cancer Society) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार कोलोरेक्टल कैंसर रेडिएशन थेरिपी (Colorectal cancer Radiation therapy) के बाद निम्नलिखित परेशानी देखी या महसूस की जा सकती है। जैसे:
- स्किन इरिटेशन होना। ऐसा खासकर उन हिस्सों में होता है जहां रेडिएशन बीम दी गई हो। कुछ केसेस में स्किन रेड हो जाती है या ब्लिस्टर या स्किन निकलने लगती है।
- सर्जरी से पहले अगर रेडिएशन थेरिपी दी गई है तो घाव भरने में वक्त लग सकता है।
- उल्टी आने की समस्या हो सकती है।
- रेक्टल से जुड़ी परेशानी महसूस होना और इसके कारण कुछ लोगों में डायरिया (Diarrhea), बाउल मूवमेंट (Bowel movement) में परेशानी या स्टूल से ब्लड आने की भी समस्या हो सकती है।
- कुछ पेशेंट्स में कोलोरेक्टल कैंसर रेडिएशन थेरिपी स्टूल लीकेज (Stool leakage) की भी समस्या हो सकती है।
- ब्लैडर से जुड़ी परेशानी महसूस होना और ऐसे में बार-बार टॉयलेट जाना या यूरिन से ब्लड आने की भी समस्या हो सकती है।
- अत्यधिक थकान (Fatigue) महसूस होना।
- सेक्शुअल प्रॉब्लेम (Sexual problems) महसूस होना।
रेडिएशन थेरिपी के बाद ऊपर बताई गई परेशानी हो सकती है। इसलिए आइए स्थिति होने पर रेडिएशन एक्सपर्ट एवं ऑन्कोलॉजिस्ट को इसकी जानकारी जरूर दें।
हैकेंसैक मेरिडियन हेल्थ (Hackensack Meridian Health) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार इन साइड इफेक्ट्स को मेडिकेशन से कम करने में मदद मिल सकती है।
नोट: कोलोरेक्टल कैंसर रेडिएशन थेरिपी (Colorectal cancer Radiation therapy) की वजह से अगर आपको कोई साइड इफेक्ट्स नजर आये या पेशेंट महसूस करते हैं, तो अपनी मर्जी से किसी भी दवाओं का सेवन ना करें। साइड इफेक्ट्स के बारे में अपने डॉक्टर से बात करें और उनके द्वारा प्रिस्क्राइब की गई दवा और सलाह का ही पालन करें।
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कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी के बाद किन-किन बातों का ध्यान रखें? (Tips to follow after Colorectal cancer Radiation therapy)
रेडिएशन थेरिपी के बाद निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना बेहद जरूरी है। जैसे:
- रेडिएशन थेरिपी के दौरान दर्द नहीं होता है, लेकिन इसका यह मतलब नहीं की आप आराम (Rest) ना करें। थेरिपी के बाद रेस्ट लें।
- पेशेंट के केयर टेकर को पेशेंट के हाइजीन का ध्यान रखते हुए उनके आसपास की जगहों में भी साफ सफाई का ध्यान रखें।
- पानी का सेवन करें। अगर पेशेंट कम पानी पिएंगे, तो डिहाइड्रेशन (Dehydration) का खतरा बढ़ सकता है।
- सेक्शुअल एक्टिविटी (Sexsual activity) से दूर रहें।
नोट: रेडिएशन थेरिपी के बाद डॉक्टर द्वारा दी गई सलाह का ध्यान पूर्वक पालन करें। ऐसा करने से बीमारी से लड़ना और उसे हराना ज्यादा आसान हो जाता है। अगर रेडिएशन थेरिपी के बाद पेशेंट को कोई परेशानी महसूस होती है, तो इसकी जानकारी डॉक्टर की जरूर दें।
अगर आप कोलोरेक्टल कैंसर (Colorectal cancer) या कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी (Radiation therapy for Colorectal cancer) से जुड़े किसी तरह के कोई सवाल का जवाब जानना चाहते हैं, तो आप हमें कमेंट बॉक्स में लिखकर पूछ सकते हैं। हमारे हेल्थ एक्सपर्ट आपके सवालों के जवाब देने की कोशिश करेंगे। हालांकि अगर आप कोलोरेक्टल कैंसर से पीड़ित है, तो डॉक्टर से कंसल्टेशन करें, क्योंकि ऐसी स्थिति में डॉक्टर आपके हेल्थ कंडिशन को ध्यान में रखकर इलाज शुरू करेंगे और प्रोस्टेट कोलोरेक्टल कैंसर के लिए रेडिएशन थेरिपी पर विचार करेंगे।
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