कैंसर, एक ऐसी बीमारी है, जिसका नाम सुनते ही मन में एक डर सा आ जाता है। इस गंभीर बीमारी से गुजर रहें पेशेंट्स की जिंदगी काफी चुनौती भरी होती है। कैंसर के उपचार में दी जानें वाली मेडिसिन और थेरिपी, कई मरीजों का शरीर झेल नहीं पाता है। कैंसर ट्रीटमेंट के दौरान दी जाने वाली सबसे कठिन थेरिपी, कीमोथेरिपी है। कैंसर के रोगियों का शरीर पहले से ही काफी कमजोर होता है और उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता भी उतनी अच्छी नहीं होती है। इसलिए कई बार कीमोथेरिपी के बाद कैंसर के मरीजों में कई तरह के साइड इफेक्ट्स देखने को मिलते हैं। लेकिन, अगर कैंसर पेशेंट अपने इलाज के दौरान या कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल का ध्यान रखते हैं, तो कीमोथेरिपी के हानिकारक प्रभावों से बचने में काफी आसानी होती है। इस बारे में अमेरिकन कैंसर सोसाइटी एंड अमेरिकन इंस्टीट्यूट फॉर कैंसर रिसर्च का मानना है कि अगर कैंसर के मरीजों की लाइफस्टाइल और डायट अच्छी है, तो कैंसर जैसी बीमारी से जल्दी रिकवरी किया जा सकता है। एक स्वस्थ जीवन शैली कैंसर जैसी बीमारी से ठीक होने में मदद कर सकती है। कैंसर पेशेंट्स का कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल के लिए इन बातों का ध्यान रखना चाहिए, जैसे कि
कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल के लिए योगासन (Healthy life style after Chemotherapy)
कीमोथेरिपी, कैंसर के इलाज के लिए की जाने वाली एक थेरिपी है। इसे कराने वाले पेशेंट्स में कई तरह के साइड इफेक्ट्स भी देखने को मिलते हैं। सबसे पहले, तो उनका शरीर कमजोर होने लगता है। इसी के साथ और भी कई दिक्कते होती हैं, जैसे कि कमजोरी के साथ हाथ-पैरों में झनझनाहट महसूस होना, बालों का झड़ना और चक्कर आना आदि। ऐसे में इन साइड इफेक्ट्स के प्रभावों को कम करने के लिए कुछ योगासनों का भी सहारा लिया जा सकता है। ऐसे में नियमित रूप से व्यायाम करना उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करता है।
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कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल 1. सुप्त बद्ध कोणासन (Reclining Butterfly Pose)
इस योगासन से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता अच्छी होती है और कीमोथेरिपी के साइडइफेक्ट्स को भी कम किया जा सकता है, जानें इसकी विधि-
- इस आसन को करने के लिए पहले योगा मैट पर बैठ जाएं और पीठ को सीधा रखें।
- पैरों को फैलाएं, पैर एक-दूसरे को टच करते हुए और पैर को ऊपर की ओर उठाएं।
- अपने घुटने और हाथों को चौड़ाई में फैलाएं।
- अब अपने घुटनों को मोड़ें और पैरों को श्रोणि की ओर लाएं। आपके पैरों के तलवे, एक-दूसरे को टच करने चाहिए, जैसा कि पैरों के साथ डायमंड शेप में आकृति बन जाए।
- फिर अपने पैरों से अपने हाथों को पकड़ें। आप हाथों को सहयोग के लिए पैरों के नीचे रख सकते हैं और एड़ी जांघों की तरफ ।
- गंभीर सांस ले और अपने बैक को सीध रखने का प्रयास करें।
- अब धीरे-धीरे इस मुद्रा में लेटने की कोशिश करें और पीठ को जमीन की तरफ टच करें।
- अपनी मांसपेशियों को आराम देते हुए, इस स्थिति में गहरी सांस लें।
- इस पोजिशन को करते हुए हाथों से ऊपर की तरफ उठने की कोशिश करें।
- इस पोजिशन को ब्रक ले-लेकर 4 से 5 बार करें।
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कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल 2.सेतु बंधासन (Bridge Pose)
यह योग कैंसर पेशेंट्स के लिए काफी अच्छा है। इम्यूनिटी और मेटाबॉलिज्म को काफी अच्छा बनाता है। जानें इसे करने की विधि-
- इस योगासन को करने के लिए मैट पर पीठ के बल लेट जाएं।
- अब एड़ियों को अपनी कमर की ओर लेकर आएं।
- फिर अपने हाथों के बल से अपनी एड़ियों को पकड़ने की कोशिश करें।
- इसी के साथ कमर को ऊपर की तरऊ उठाने की कोशिश करें।
- अब गर्दन और सिर को नीचे की ओर झुकाते हुएं, जमीन से टच करें। इस पोजिशन को 30 से 40 सेकेंड तक करें और फिर दाेहाराएं।
कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल 3. बिटिलासन-मार्जरासन (Cat-Cow Pose)
इस योगासन को कैट-काउ पोज के नाम से भी जाना जाता है। यह शरीर में होने वाले कई गंभीर रोगों के लिए प्रभावकारी है। जानें इसकी विधि-
- इसे करने के लिए योगा मैट पर घुटने और हथेलियों के बल पर कैट या काउ के पोजिशन में बैठें।
- अब पेट और बैक को नीचे की ओर ले जाने की कोशिश करें।
- अपने सिर को ऊपर की ओर उठाएं और ऊपर की तरफ देखने की कोशिश करें। अब गहरी सांस को भरते हुए छोड़ें।
- ऐसा 10 से 20 सेकेंड करें। फिर इसे दोहराएं।
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कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल में शामिल करें हेल्दी न्यूट्रिशन (Eating Well During Chemotherapy)
कैंसर जैसी बीमारी के कारण पहले ही शरीर कमजोर हो चुका होता है, लेकिन कीमोथेरिपी कैंसर के रोगियों के लिए परेशानी और भी बढ़ा देती है। इसलिए चाहें कैंसर हो या कोई अन्य बीमारी, उससे बचाव के लिए शरीर की इम्यूनिटी का स्ट्रॉन्ग होना बहुत जरूरी है। इसलिए कैंसर पेशेंट को अपने खानपान का विशेष ध्यान रखना चाहिए। इसलिए कैंसर पेशेंट्स, कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल के लिए क्या खाएं और क्या नहीं, जानें यहां-
कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल के लिए क्या खाएं?
आपके शरीर में कीमोथेरिपी का कम से कम साइड इफेक्ट्स हों, इसके लिए अपने डायट में शामिल करें, ये चीजें-
- प्रोटीन खाद्य पदार्थ: बीन्स, दाल, और सोया जैसे प्रोटीन, साथ ही चिकन, टर्की, मछली और अंडे ।
- फल और सब्जियां: विभिन्न प्रकार के रंगीन फल और सब्जियाें का सेवन है फायदेमंद।
- कम वसा वाले डेयरी प्रोडक्ट: दूध, पनीर, ग्रीक योगर्ट और पनीर आदि का सेवन करें। डेयरी खाद्य पदार्थों में प्रोटीन की अच्छी मात्रा पाई जाती है।
- साबुत अनाज और स्टार्च युक्त सब्जियां: आपओट्स, क्विनोआ, जौ, ब्राउन राइस, कॉर्न, मक्का, आलू और मटर आदि का सेवन करें।
- पौष्टिक वसा: पौष्टिक वास के लिए आप ऑलिव ऑयल, कैनोला ऑयल, पीनट बटर (जैसे मूंगफली का मक्खन या बादाम मक्खन), एवोकैडो, नट्स, और बीज।
कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल क्या न खाएं
कैंसर पेशेंट के लिए जरूरी है कि वो अपने डायट से किसी भी प्रकार का समझौता न करें। इसलिएआगे की हेल्दी लाइफ के लिए इन चीजों का सेवन न करें-
- कार्बोहाइड्रेट: मैदा, व्हाइट ब्रेड, व्हाइट राइस और व्हाइट पास्ते के सेवन से बचें।
- रेड मीट और प्रोसेस्ड मीट: बीफ, पोर्क, लैंब, लंच मीट, पेपरोनी, सॉसेज और हैम न खाएं।
- शराब से सेवन से दूर रहें।
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कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल के कुछ टिप्स
- वजन का कंट्रोल होना बहुत जरूरी है।
- कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल के लिए कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइलहर दिन कम से कम 30 मिनट के लिए फिजिकल वर्कआउट करें।
- अधिक शुगर वाले ड्रिंक से बचें और हाय एनर्जी एंड गुड फैट वाले फूड और ड्रिंक लें।
- फलियां, फल, साबुत अनाज और फलियां जैसे विभिन्न प्रकार के फल खाएं।
- रेड मीट का सेवन सीमित मात्रा में करें और प्रोसेस्ड मीट से बचें।
- खाने में अधिक सोडियम की मात्रा न लें।
- कैंसर से बचाव के लिए सप्लिमेंट पर निर्भर न रहें।
- हमेशा याद रखें – धूम्रपान न करें या तंबाकू न खाएं।
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कीमोथेरिपी के दौरान 5 फायदेमंद फूड्स
1- दलिया ( Oats)
दलिया में कई पोषक तत्व मौजूद होते हैं, जो कीमोथेरिपी के दौरान आपके शरीर में आवश्यक पोषक तत्वों की कमी को पूरा करने के साथ शरीर को बीमारी से लड़ने में मद्द करते हैं। इसमें कार्ब, प्रोटीन और एंटीऑक्सिडेंट की पर्याप्त मात्रा होती है, साथ ही अधिकांश अनाज की तुलना में अधिक हेल्दी काबर्स भी होते हैं। इसमें मौजूद बीटा ग्लूकन, एक प्रकार के घुलनशील फाइबर के कारण आपके आंत को नियंत्रित करने में भी मदद करता है। यह कीमो के साइड इफेक्ट्स जैसे ड्राय माउथ या सोर माउथ की प्रॉब्लम को दूर करता है।
2- ग्रीन टी ( Green Tea)
कैंसर पेशेंट को ग्रीन टी जरूर पीना चाहिए। इसमें कई शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट होते हैं, इसलिए इसे एंटी कैंसर डायट में जरूर लेने की सलाह दी जाती है। इसका सेवन लीवर और ब्रेस्ट कैंसर को रोकने में भी साहयक है। कैंसर पेशेंट के लिए दिन में 2 कप ग्रीन टी प्रभावकारी होती है।
3- ब्रॉकली ( Broccoli)
ब्रिटेन के बेडफोर्ड हॉस्पिटल द्वारा कुछ ऐसे लोगों पर स्टडी किया गया, जो कि ब्रॉकली, गोभी और पत्तागोभी का सेवन करते हैं। अन्य की तुलना में उनमें कैंसर का खतरा कम पाया गया। इसमें कई प्रकार के ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो कैंसर से बचाव में मदद करते हैं। इन सब्जियों में क्रूसीफेरस कहते हैं। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट एंजाइम, विटामिन और फाइबर शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को भी बढ़ाते हैं।
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4- हल्दी
हल्दी सूजन और संक्रमण को दूर करती है। कैंसर वालों के लिए यह रामबाण है, इसमें मौजूद करक्यूमिन कैंसर होने के खतरे को रोकता है। इसमें पाए जाने वाला फाइबर, विटामिंस और मिनिरल्स कीमोथेरिपी के दौरान शरीर को मजबूत बनाता है। कैंसर के इलाज के लिए कच्ची हल्दी का सेवन सबसे अच्छा माना जाता है। रात को सोते समय कच्ची हल्दी को दूध में उबालकर पिएं।
5- अंडे
इसमें प्रोटीन और वसा की उच्च मात्रा पाई जाती है। एक अंडे में लगभग 6 ग्राम प्रोटीन और 4 ग्राम वसा होता है। जबकि वसा आपके शरीर को ऊर्जा प्रदान करता है, प्रोटीन हेल्दी मांसपेशियों को बनाए रखने में मदद करता है, जो कि कीमोथेरेपी के दौरान विशेष रूप से महत्वपूर्ण है।
तो आपने जाना यहां कि कैंसर पेशेंट के ट्रीटमेंट के दौरान या कीमोथेरिपी के बाद हेल्दी लाइफस्टाइल कितना जरूरी है। अगर ऐसा है, तो उनको कैंसर से रिकवरी में काफी आसानी होगी।