ब्रेस्ट मिल्क उत्पादन (Breast Milk Production) में आती है कमी
एक रिसर्च के मुताबिक मां के द्वारा ब्रेस्टफीडिंग में शराब का सेवन करने से उसके ब्रेस्ट मिल्क फॉर्मेशन में कमी आती है। सामान्य महिला की तुलना में ब्रेस्टफीडिंग में शराब का सेवन करने वाली महिला के दुग्ध उत्पादन में 20 प्रतिशत की कमी आती है।
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एक्सपर्ट की राय
डॉ.पूनम राय का कहना है कि “ मां को ब्रेस्टफीडिंग में शराब का सेवन नहीं करना चाहिए। लेकिन अगर कभी मां ब्रेस्टफीडिंग में शराब का सेवन कर लेती है तो उसे कुछ सावधानियां बरतने की जरूरत है। बच्चे को दूध पिलाने के बाद ही मां को शराब का सेवन करना चाहिए। इसके अलावा ब्रेस्टफीडिंग में शराब का सेवन करने के बाद कम से कम दो-तीन घंटे का इंतज़ार करना चाहिए।”
विशेषज्ञों का मानना है कि शराब के बढ़ते सेवन से स्वास्थ्य के अलावा आर्थिक व सामाजिक पहलू भी हैं। इसे पीने वाले लोगों के खिलाफ घरेलू हिंसा की शिकायतें भी बढ़ रही हैं। इसके अलावा ज्यादातर कमाई शराब पर खर्च कर देने की वजह से परिवार का पेट पालने और बच्चों की पढ़ाई-लिखाई का खर्च उठाने में भी दिक्कतें आती है।
वहीं अर्थशास्त्रियों का कहना है कि शराब की बिक्री केंद्र व राज्य सरकारों के लिए कमाई का जरिया है। उनको इससे राजस्व के तौर पर मोटी कमाई होती है। यही वजह है कि देश में शराबबंदी वाले कुछ राज्यों को छोड़ दें तो तमाम राज्य सरकारें इसकी बिक्री पर अंकुश लगाने की बजाय इसे बढ़ावा देने में ही जुटी हैं।
समाजशास्त्रियों का मानना है कि जहां शराबबंदी है वहां भी तस्करी के जरिए भारी मात्रा में शराब पहुंचती है। यह पुलिस और संबंधित विभाग के लिए अवैध कमाई का जरिया बनता जा रहा है। मौजूदा हालात में इस समस्या पर काबू पाना मुश्किल ही नजर आता है।
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