किसी भी बीमारी के लिए दवाइयों के साथ-साथ पौष्टिक आहार की भी मुख्य भूमिका होती है जो बीमारी से लड़ने में सहायक होती है। ऐसे में हम आपको बता रहे हैं कि हाइपोथायरॉयडिज्म होने पर आहार कैसा होना चाहिए।
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जानें एक्सपर्ट की राय: हाइपोथायरॉयडडिज्म डायट
अगर किसी को हाइपोथायरॉयडडिज्म की समस्या है तो उसके लिए लखनऊ किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के एंडोक्राइनोलॉजिस्ट डॉ डी हिमांशू देते हैं कि ऐसे रोगी को अपने खानपान का विशेष ध्यान रखना चाहिए। डायट में हैल्दी फूड तो ले ही, साथ में इस बात का भी ध्यान रखें कि कम वसा वाले आहार का ही सेवन करें। इसके अलावा उच्च कैलोरी या फैट युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन कम से कम करना चाहिए। हाइपोथायरॉयडिज्म की समस्या आपके चयापचय की गति को भी धीमा कर देती है। जिसके कारण आप जो भी खाते हैं उसे पचाने में समय लग सकता है और जिसके कारण वजन बढ़ने की भी समस्या भी हो सकती है।
जानें हाइपोथायरॉयडिज्म डायट में क्या लें
नारियल का तेल उपयोग करें
नारियल के तेल में कैप्रिक एसिड, कैपिटेलिक एसिड और लॉरिक एसिड की उच्च मात्रा पाई जाती है। जिनकी मदद से शरीर एनर्जी को काफी आसानी से बढ़ाया जा सकता है। इसी के साथ ही, यह शरीर के मेटाबॉलिज्म को भी स्वस्थ रखने में मदद करता है। नारियल तेल की मदद से शरीर एंटी बैक्टीरियल, एंटीऑक्सिडेंट और रोगाणुरोधी गुणों की भी उच्च मात्रा प्राप्त करता है और इम्यून सिस्टम को भी मजबूत बनाने में मदद करता है। नारियल तेल के नियमित सेवन से शरीर में शुगर के बढ़े हुए लेवल को कम किया जा सकता है।
हाइपोथायरॉयडिज्म आहार में मछली का सेवन
मछली और मछली के तेल से बने खाद्य पदार्थों में DHA और EPA के साथ-साथ ओमेगा-3 फैटी एसिड की भी उच्च मात्रा पाई जाती है, जो शरीर के हॉर्मोन्स के लेवल को नियंत्रित करने में मदद और थायरॉइड ग्रंथि को उसका कार्य सुचारू रूप से करने में भी मदद करते हैं। इसी के साथ ही, जब शरीर में उचित मात्रा में ओमेगा-6 और ओमेगा-3 फैटी एसिड की मात्रा होती है, तो यह थायरॉइड ग्रंथि में हुए सूजन को कम करने में भी साहयक है। इसके अलावा इसके सेवन से न्यूरोलॉजिकल कार्यक्षमता को बढ़ाने में भी मदद मिलती है।
आयोडीन युक्त फूड प्रोडक्ट
आयोडीन एक आवश्यक खनिज तत्व है, जिसकी मदद से थायरॉइड हॉर्मोन का निमार्ण होता है। बॉडी में आयोडीन की कमी से भी हाइपोथायरायडिज्म होने का खतरा बढ़ जाता है। शरीर में आयोडीन की कमी होना बहुत आम है और दुनिया की लगभग एक तिहाई आबादी इससे प्रभावित है। लेकिन, खाद्य पदार्थों में आयोडीन युक्त नमक शामिल करें। इससे आप आयोडीन की कमी से बच सकते हैं। शरीर में आयोडीन की कमी को पूरा करने के लिए मछली, डेयरी और अंडे जैसे आयोडीन युक्त खाद्य पदार्थों के सेवन करने से फायदा मिल सकता है।