लंग ह्यूमन बॉडी का महत्वपूर्ण ऑर्गेन हैं, जो कि पर्यावरण से हवा लेकर उसमें से ऑक्सिजन अवशोषित करके शरीर के अन्य अंगों के उपयोग में मदद करते हैं। दूसरी तरफ, यह शरीर से हानिकारक कार्बनडाइऑक्साइड गैस को बाहर करता है। लेकिन लंग इंफेक्शन (Lung infection) होने की वजह से इनकी कार्यक्षमता नकारात्मक रूप से प्रभावित होने लगती है और शरीर को पर्याप्त मात्रा में ऑक्सिजन (Oxygen) नहीं मिल पाती। जिससे, अन्य शारीरिक अंगों के क्रियान्वयन में भी दिक्कत आने लगती है। लंग इंफेक्शन की समस्या कोविड 19 में अत्यधिक देखी गई। वहीं लंग्स से जुड़ी एक और समस्या जिसे मेडिकल टर्म में पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस (Pulmonary Actinomycosis) कहते हैं आज इसे से जुड़ी जानकारी शेयर करेंगे।
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस (Pulmonary Actinomycosis) रेयर लंग इंफेक्शन (Lung infection) है, जो बैक्टीरिया (Bacteria) की वजह से होता है। पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस की समस्या किसी भी उम्र में और किसी को भी हो सकती है। पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस के कारणों को आर्टिकल में आगे समझेंगे।
पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस के कारण क्या हैं? (Cause of Pulmonary Actinomycosis)
पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस एक खास तरह के बैक्टीरिया से होने वाली बीमारी है, जो मुंह (Mouth) और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल ट्रैक्ट (Gastrointestinal tract) में मौजूद होता है। हालांकि ये गुड बैक्टीरिया होते हैं, लेकिन अगर ओरल हाइजीन का ध्यान ठीक तरह से ना रखा जाए तो मुंह और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल ट्रैक्ट में मौजूद गुड बैक्टीरिया बैड बैक्टीरिया (Bad bacteria) में बदल जाते हैं। ऐसी स्थिति में लंग इंफेक्शन (Lung infection) का खतरा बढ़ जाता है या यूं कहें कि पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस (Pulmonary Actinomycosis) का खतरा बढ़ जाता है। पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस के अनहेल्दी ओरल हाइजीन के अलावा निम्नलिखित कारण भी हो सकते हैं। जैसे:
ऊपर बताये लक्षणों को इग्नोर ना करें, क्योंकि इंफेक्शन (Infection) ज्यादा फैलने की स्थिति में पेशेंट की स्थिति गंभीर हो सकती है। इसलिए अगर ऊपर बताये लक्षणों से एक भी लक्षण नजर आये या महसूस हो तो डॉक्टर से जल्द से जल्द कंसल्ट करें।
पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस का निदान कैसे किया जाता है? (Diagnosis of Pulmonary Actinomycosis)
पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस के निदान के दौरान सबसे पहले डॉक्टर पेशेंट्स से उनकी मेडिकल हिस्ट्री पूछते हैं और फिर तकलीफ या लक्षणों के बारे में पूछते हैं। इसके बाद निम्नलिखित टेस्ट करवाने की सलाह दी जाती है। जैसे:
ब्रोंकाइटिस और कल्चर (Bronchoscopy with culture) टेस्ट।
टिशू एवं स्पुटम ग्राम स्टेन (Tissue and sputum Gram stain) टेस्ट।
थोरैसेन्टेसिस और कल्चर (Thoracentesis with culture) टेस्ट।
टिशू कल्चर (Tissue culture) टेस्ट।
आवश्यकता पड़ने पर या पेशेंट के हेल्थ कंडिशन (Health condition) को ध्यान में रखते हुए इन ऊपर बताये टेस्ट के अलावा अन्य टेस्ट भी करवाने की सलाह दी जा सकती है।
पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस का इलाज कैसे किया जाता है? (Treatment for Pulmonary Actinomycosis)
पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस के इलाज के दौरान इंफेक्शन (Infection) को पूरी तरह से ठीक करना है। इसलिए इलाज में ज्यादा वक्त लग सकता है। इंफेक्शन ठीक करने के लिए पेनिसिलिन (Penicillin) एवं एंटीबायोटिक (Antibiotic) प्रिस्क्राइब की जा सकती है। अगर इंफेक्शन अत्यधिक फैल चूका है, तो ऐसी स्थिति में वेन से भी दवा दी जा सकती है।
नोट: अपनी मर्जी से या प्रिस्क्राइब्ड डोज से ज्यादा पेनिसिलिन (Penicillin) या एंटीबायोटिक (Antibiotic) का सेवन नुकसानदायक हो सकता है। इसलिए डॉक्टर से सलाह लेने के बाद ही इन दवाओं का सेवन करें।
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस से बचाव के लिए डेंटल हाइजीन (Dental hygiene) का विशेष ख्याल रखने की सलाह दी गई है।
लंग इंफेक्शन से बचाव कैसे संभव है? (Prevention from Lung infection)
रिसर्च रिपोर्ट्स के अनुसार इंटेस्टाइन में मौजूद माइक्रोबायोटा बैक्टीरियल इंफेक्शन (Bacterial infection) से बचाये रखने में मदद करती है। इसलिए हेल्दी डायट की लिस्ट में ब्लूबेरी, क्रैनबेरी, राजमा, स्ट्रॉबेरी, प्लम और ब्लैकबेरी जैसे खाद्य पदार्थों का नियमित रूप से सेवन करना चाहिए। दरअसल इनमें एंटीऑक्सिडेंट (Antioxidant) की मात्रा ज्यादा होती है, ऑक्सिजन लेवल (Oxygen level) को बेहतर बनाये रखने में सहायक हो सकते हैं। कोरोनो वायरस के दौरान या किसी भी बीमारी से लड़ने के लिए बॉडी में हीमोग्लोबिन (Haemoglobin) लेवल भी बेहतर होना चाहिए। इसलिए सोयाबीन, अखरोट (Walnut) और फ्लैक्ससीड्स जैसे अन्य खाद्य पदार्थों का भी सेवन करना जरूरी है।
अगर आप पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस (Pulmonary Actinomycosis) की समस्या से पीड़ित हैं, तो डॉक्टर से कंसल्टेशन जल्द से जल्द करें। ध्यान रखें कि पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस (Pulmonary Actinomycosis) या लंग इंफेक्शन होने पर लापरवाही ना बरतें। आपकी छोटी सी लापरवाही आपको गंभीर बीमारियों का शिकार भी बना सकती हैं। इसलिए अगर आपको पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस (Pulmonary Actinomycosis) की समस्या है, तो डॉक्टर से समय-समय पर कंसल्टेशन करें, वॉक (Walk) करें, योग (Yoga) करें और पौष्टिक आहार (Healthy diet) का सेवन। अगर आप पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस या पल्मोनरी एक्टीनोमायकॉसिस के लक्षण से जुड़े किसी सवाल का जवाब जानना चाहते हैं, तो हमें कमेंट बॉक्स में पूछ सकते हैं।
शरीर को स्वस्थ्य रखने के लिए हेल्दी डायट (Healthy diet) एवं साफ-सफाई (Hygiene) के साथ-साथ योग (Yoga) करना भी अनिवार्य बताया गया है। इसलिए नीचे दिए वीडियो लिंक पर क्लिक करें और योगा एक्सपर्ट से जानिए योग करने का सही तरीका और फायदे।
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