एक्सरसाइज (Exercises) को करें रूटीन में शामिल
मसल्स का यूज करके या कहें कि मसल्स पर काम करके मसल्स मास और स्ट्रेंथ को मैंटेन किया जा सकता है। जब मसल्स का उपयोग नहीं किया जाता तो ये सिकुड़ जाती हैं। स्ट्रेंथ ट्रेनिंग और रेजिस्टेंस ट्रेनिंग मसल्स साइज, स्ट्रेंथ को बढ़ाने के साथ ही उन्हें टोन करती है। इसके साथ ही यह हड्डियों, लिगामेंट्स और टेंडन को भी मजबूत करती हैं। Centers for Disease Control and Prevention सीडीसी के अनुसार उम्रदराज व्यस्कों को हफ्ते में दो बार मसल स्ट्रेथनिंग एक्टिविटीज में हिस्सा लेना चाहिए। जिसमें मुख्य मसल्स ग्रुप्स पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए जिसमें पैर, हाथ, सीना, कंथे, पीठ और पेट का नीचे का हिस्सा शामिल है। स्ट्रेंथ एक्सरसाइज मसल्स कॉन्ट्रेक्शन में मदद करती है। जिससे मसल्स का साइज बढ़ता है और स्ट्रेंथ आती है। स्ट्रेंथ ट्रेनिंग के लिए वेटर, रेजिस्टेंस बैंड्स, एक्सरसाइज मशीन आदि का उपयोग किया जाता है।
इसके साथ ही वॉकिंग भी मसल्स मास को बढ़ाने का काम करती है। वॉकिंग एक ऐसी एक्सरसाइज है जिसे कोई भी किसी भी उम्र में आसानी से कर सकता है। अगर आप किसी सीवियर कंडिशन से जूझ रहे हैं तो वॉक पर जाने से पहले इस बारे में डॉक्टर से सलाह जरूर लें।
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डायट में शामिल करें पोषक तत्व (Healthy diet)
ओल्ड एज में मसल्स लॉस को रोकने के लिए एक अच्छी डायट बेहद जरूरी है। यह सारकोपीनिया को रोकने के साथ ही इसके लक्षणों को डिले कर सकती है। डायट में प्रोटीन की पर्याप्त मात्रा को शामिल करें। आईओएफ (International Osteoporosis Foundation) के अनुसार एडल्ट्स को बॉडीवेट के प्रति किलोग्राम पर 1.0-1.2 ग्राम प्रोटीन लेना चाहिए। इसके लिए सीफूड्स जिसमें साल्मन शामिल है प्रोटीन का अच्छा सोर्स हैं। इसके अलावा जो लोग मीट नहीं खाते वे अपनी डायट में टोफू, दालें, बींस, क्विनवा आदि को शामिल कर सकते हैं। ये सभी प्रोटीन के अच्छे सोर्स हैं। इस बारे में डायटीशियन से भी सलाह ली जा सकती है।
ओल्ड एज में मसल्स लॉस को रोकने के लिए ले सकते हैं डायट्री सप्लिमेंट्स का सहारा (dietary supplements)
कुछ डायट्री सप्लिमेंट्स सारकोपेनिया में सुधार करने या स्थिति को रोकने में मदद करने का एक और तरीका हो सकता है। उदाहरण के लिए, क्रिएटिन की खुराक लेने से किसी भी उम्र के वयस्कों में ताकत और मांसपेशियों में वृद्धि हो सकती है। इसी तरह, विटामिन डी के पर्याप्त स्तर को बनाए रखना, चाहे वह डायट के माध्यम से हो या सप्लिमेंट्स के माध्यम से, वयस्कों और ओल्ड एज के लोगों को मांसपेशियों की ताकत बनाए रखने में मदद कर सकता है। किसी भी सप्लिमेंट्स का उपयोग करने से पहले, हमेशा डॉक्टर से विचार-विमर्श करना चाहिए।
इस तरह जीवनशैली के कुछ बदलाव इस बीमारी से लड़ने में मददगार साबित हो सकते हैं। उम्मीद करते हैं कि आपको यह आर्टिकल पसंद आया होगा और ओल्ड एज में मसल्स लॉस से संबंधित जरूरी जानकारियां मिल गई होंगी। अधिक जानकारी के लिए एक्सपर्ट से सलाह जरूर लें। अगर आपके मन में अन्य कोई सवाल हैं तो आप हमारे फेसबुक पेज पर पूछ सकते हैं। हम आपके सभी सवालों के जवाब आपको कमेंट बॉक्स में देने की पूरी कोशिश करेंगे। अपने करीबियों को इस जानकारी से अवगत कराने के लिए आप ये आर्टिकल जरूर शेयर करें।
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