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हर्पीस के साथ सेक्स संभव है या नहीं, जानने के लिए पढ़ें यह आर्टिकल

हर्पीस के साथ सेक्स संभव है या नहीं, जानने के लिए पढ़ें यह आर्टिकल

जेनिटल हर्पीस की बीमारी सेक्शुअल स्किन टू स्किन कॉन्टेक्ट से एक से दूसरे में फैलती है। यह बीमारी वजाइनल, ओरल और एनल सेक्स से फैलने वाली बीमारी की श्रेणी में आती है, तो ऐसे में हर्पीस और अन्य सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज से बचाव के लिए जरूरी है कि खुले तौर पर किसी के साथ स्किन टू स्किन, माउथ या जेनिटल संपर्क न स्थापित किया जाए।

यदि आप हाल ही में एचएसवी 1 और एचएसवी 2 (जेनिटल हर्पीस) की बीमारी से संक्रमित हुए हैं तो आप सेक्स संबंधी इच्छाओं को लेकर घबरा सकते हैं। यह वायरस काफी सामान्य है। औसतन 14 से 49 साल तक हर छह में एक व्यक्ति जेनिटल हर्पीस की बीमारी से संक्रमित होता है। हर्पीस के बाद सेक्स लाइफ उतनी सामान्य नहीं रहती है, जितना पहले हुआ करती थी। बीमारी का पता लगने के बाद और सतर्कता की आवश्यकता होती है। तो आइए इस आर्टिकल में हर्पीस के साथ सेक्स संभव है या नहीं इसको लेकर बात करते हैं।

हर्पीस (Herpes) के साथ सेक्स (Sex) को लेकर बरतें सावधानी

हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर लोगों को खास सावधानी बरतनी चाहिए। हर्पीस से ग्रसित व्यक्ति के जेनिटल में घाव या कट मार्क है या आपको लगे कि आप इस बीमारी से पीड़ित हो सकते हैं तो उस स्थिति में इन सेक्स से परहेज करना चाहिए और डॉक्टरी सलाह लेकर जांच करानी चाहिए, जैसे

  • वजायनल सेक्स (Vaginal Sex)
  • एनल सेक्स (Anal Sex)
  • रिसीविंग ओरल सेक्स (Receiving Oral Sex)

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हर्पीस की बीमारी होने पर क्या करें? (What I Should Do If I Have Herpes)

डॉक्टर से दिखाने के बाद हर्पीस की बीमारी का पता चलना आपके लिए शॉकिंग हो सकता है। उन मामलों में स्थिति गंभीर हो जाती है जब लोग इस बीमारी के बारे में डॉक्टरी सलाह नहीं लेते हैं। एक्सपर्ट बताते हैं कि यह बीमारी एचएसवी 1 (हर्पीस सिंपलेक्स वायरस) और एचएसवी 2 के कारण होती है। एचएसवी 1 ज्यादातर मामलों में मुंह के छालों के रूप में विकसित होता है, वहीं यह बीमारी अधिकतर लोगों में देखने को मिलती है। एसएसवी 1 वायरस के कारण भी जेनाइटल हर्पीस (ओरल सेक्स की वजह से) की बीमारी हो सकती है। एचएसवी 2 वायरस के कारण कोल्ड सोर की समस्या होती है। ऐसे में बेहतर यही है कि हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर डॉक्टरी सलाह लेनी चाहिए। क्या करना चाहिए और क्या नहीं उसके बारे में भी डॉक्टर से पूछताछ करनी चाहिए। हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर डॉक्टर उचित परामर्श दे सकते हैं।

हर्पीस के साथ सेक्स जोखिमों से भरा है। बीमारी से ग्रसित व्यक्ति का पार्टनर जोखिमों के बीच सेक्स करने के लिए राजी है तो आप इसे कर सकते हैं। उदाहरण के तौर पर यदि आपके मुंह में किसी प्रकार का घाव या कट नहीं है तो आप पार्टनर के साथ ओरल सेक्स कर सकते हैं। यदि आपको जेनिटल हर्पीस है उस स्थिति में भी आप संभोग कर सकते हैं। लेकिन काफी सावधानीपूर्वक, इसमें काफी जोखिम होते हैं। इसके लिए आपको एक्सपर्ट के सलाह की जरूरत होती है।

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इन स्थितियों में आपका पार्टनर हो सकता है इनफेक्टेड

आपका पार्टनर उस वक्त भी इनफेक्टेड हो सकता है जब किसी प्रकार घाव न हो। इस बीमारी से बचाव के लिए जरूरी है कि हमेशा लेटेक्स कॉन्डोम का इस्तेमाल करें। कॉन्डोम का इस्तेमाल कर वजाइनल, ओरल या एनल सेक्स कर सकते हैं। बता दें कि कॉन्डोम इंफेक्शन से बचाने की गारंटी नहीं लेता है। लेकिन शोध से पता चला है कि इसका इस्तेमाल कर काफी हद तक इंफेक्शन से बचा जा सकता है। इसके अलावा लोगों को डेंटल डैम का भी इस्तेमाल करना चाहिए। कुछ मामलों में सेक्स न कर पार्टनर से सिर्फ बात कर सेक्स कर सकते हैं। यदि आपको सेक्स संबंधी किसी प्रकार की समस्या है तो उसके लिए हेल्थ केयर प्रोफेशनल की मदद ले सकते हैं।

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मास्टरबेशन (Masturbation) कर रिस्क से कर सकते हैं बचाव

हर्पीस की बीमारी से ग्रसित व्यक्ति संक्रमण न फैले और वो सेक्स का आनंद उठा सकें, इसके लिए मास्टरबेशन कर सकते हैं। बता दें कि मास्टरबेशन में किसी भी प्रकार का रिस्क नहीं होता है। आप पार्टनर के साथ  मास्टरबेशन कर सेक्शुअल इच्छाओं को पूरा कर सकते हैं। लेकिन इस दौरान कुछ खास बातों का ख्याल रखना होता है, जैसे स्किन टू स्किन कॉन्टैक्ट में स्किन को चोट न पहुंचे, इस बात का ख्याल रखना होता है। मास्टरबेशन के बाद हाथों को गर्म पानी और साबुन से धोने की सलाह दी जाती है। इस बात का हमेशा ख्याल रखना होता है कि कभी भी हर्पिस के घाव को छूकर अपने पार्टनर को नहीं छूना है। इससे बीमारी एक से दूसरे में आसानी से फैल सकती है। वहीं कभी एक्सीडेंट हो जाए तो इस बात का भी ख्याल रखना है कि खून के संपर्क में आप न आए, इससे बीमारी हो सकती है। यदि आप और आपके पार्टनर वाइब्रेटर और डिलडो पसंद करते हैं तो सेक्स से जुड़ी संतुष्टि हासिल करने के लिए आप उसका इस्तेमाल कर सकते हैं। लेकिन इस्तेमाल के पहले और बाद में इन टॉय को धोना जरूरी होता है। यदि आप इसका इस्तेमाल कर रहे हैं तो सिर्फ आप ही इस्तेमाल करें, सेक्स टॉय को किसी दूसरे को देने से परहेज करें, किसी दूसरे का सेक्स टॉय भी इस्तेमाल न करें।

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बीमारी का पता चलने के बाद क्या करें? (What To Do After Finding Out The Herpes?) 

हर्पीस के साथ सेक्स

बीमारी का पता चलने के बाद सबसे पहले ट्रीटमेंट ऑप्शन की ओर रूख करें। बता दें कि मौजूदा समय में हर्पीस का कोई इलाज नहीं है। हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर सेक्शुअल एक्सपर्ट बताते हैं कि इस बीमारी को फैलने से रोकने के लिए बेहतर यही होगा कि ज्यादा से ज्यादा लोगों के साथ शारीरिक संबंध न बनाया जाए।

हर्पीस को फैलने से रोकने के लिए डॉक्टरी सलाह के अनुसार मरीज को रोजाना एक या दो एंटीवायरल दवा (Antiviral Medicines) का सेवन भी करना पड़ सकता है। एक्सपर्ट बताते हैं कि डॉक्टरी सलाह को मानते हुए सफलतापूर्वक हर्पीस को मैनेज कर इसे फैलने से रोका जा सकता है। भावनात्मक रूप से यह बीमारी काफी जटिल होती है, भावनाओं में बहकर सेक्स नहीं करना चाहिए, इससे संक्रमण फैल सकता है।

हर्पीस के साथ सेक्स (Sex With Herpes) को लेकर उठाने पड़ सकते हैं कड़े कदम

बीमारी से ग्रसित व्यक्तियों ने ट्रीटमेंट शुरू करा दिया है तो हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर उन्हें कड़े कदम उठाने पड़ सकते हैं। ताकि आपके पर्सनल लाइफ को किसी प्रकार की कोई परेशानी न हो। हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर एक्सपर्ट आपको पार्टनर के साथ बातचीत करने की सलाह देते हैं।

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जानें क्या करें

  • अपने सेक्शुअल पार्टनर के साथ बात करें, साथी पार्टनर को भी टेस्ट कराने की सलाह दें
  • हर्पीस के साथ सेक्स को लेकर बात करें, ऐसे कदम उठाए जिससे वायरस न फैले
  • एक बार अपने पार्टनर को बीमारी के बारे में बता दिया है तो उसके बाद वो क्या कह रहे हैं उसपर ध्यान दें

इस विषय पर अधिक जानकारी के लिए डाक्टरी सलाह लें। हैलो हेल्थ ग्रुप चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार प्रदान नहीं करता है।

हर्पीस (Herpes) होने का कतई अर्थ नहीं कि पार्टनर को डेट करना बंद कर दें

हर्पिस होने का कतई अर्थ नहीं होता है कि आपकी डेटिंग लाइफ खत्म हो गई हो। बीमारी से ग्रसित व्यक्ति डेटिंग कर सकते हैं। लेकिन अपने पार्टनर को ईमानदारी पूर्वक बीमारी के बारे में बताकर रिलेशनशिप में रह सकते हैं।

पार्टनर से करें खुलकर बात

हर्पीस के साथ सेक्स और डेटिंग की बात करें तो यदि आपको हर्पीस की बीमारी का पता चल जाता है तो इसका यह अर्थ नहीं हुआ कि आपकी सेक्स और डेटिंग लाइफ खत्म हो गई है। आपको अपने डॉक्टर से बात कर सेक्शुअल कम्युनिकेशन के साथ इंतजाम कर बीमारी को फैलने से रोक सकते हैं।

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सेफ इंटीमेसी के टिप्स (Tips For Safe Intimacy)

हर्पीस के साथ सेक्स की बात करें तो सही जानकारी और सही प्रोटेक्शन हासिल कर आप हेल्दी सेक्शुअल रिलेशनशिप में रह सकते हैं। बता दें कि सेक्स को लेकर  आप इन उपाय को आजमाकर खुद और अपने पार्टनर को सुरक्षित रख सकते हैं।

  • हर्पिस से साथ सेक्स में है रिस्क (Sex Is Risky With Herpes) : हर्पीस के साथ सेक्स में रिस्क जुड़ा हुआ है। ऐसे में एक्सपर्ट यह सलाह देते हैं कि किसी दूसरे के साथ शारिरिक संबंध बनाने हमेशा सौ फीसदी प्रोटेक्शन का इस्तेमाल करना चाहिए।
  • दवा का नियमित करें सेवन (Take Medicines Regularly) : रोजाना नियमित एंटीवायरल का सेवन कर बीमारी से बचा जा सकता है। एक शोध के अनुसार यह भी पाया गया कि नियमित तौर पर दवा का सेवन करने से ट्रांसमिशन के खतरे को रोका जा सकता है। हर इंसान का शरीर अलग-अलग है, ऐसे में यह हर किसी के साथ संभव नहीं है। लेकिन काफी हद तक दवा का सेवन कर बीमारी को फैलने से बचा सकते हैं।

हैलो स्वास्थ्य आपको किसी भी तरह की मेडिकल सलाह नहीं प्रदान करता है।  सेक्स से जुड़े किसी भी मुद्दे पर अगर आपका कोई सवाल है, तो कृपया इस बारे में अपने डॉक्टर से परामर्श करें।

  • जानें कॉन्डोम का सही इस्तेमाल करना (Use Condom Properly) : हर्पीस के साथ सेक्स की सोच रहे हैं तो जरूरी है कि कॉन्डोम का सही से इस्तेमाल करना सीखना होगा। प्रोटेक्शन का इस्तेमाल कर आप हर्पीस को एक से दूसरे में फैलने से रोक सकते हैं। वहीं आप यदि एक्टिव हर्पीस की बीमारी से ग्रसित हैं तो ऐसे में बीमारी के फैलने का खतरा ज्यादा रहता है। एक्टिव हर्पीस के साथ सेक्स नहीं करना चाहिए, इसमें काफी खतरा रहता है। कॉन्डोम का इस्तेमाल करना इसलिए भी जरूरी है क्योंकि सप्रेसिव थेरेपी सिर्फ 50 फीसदी ही इफेक्टिव होती है, ऐसा कर ट्रांसमेशन को फैलने से रोका जा सकता है।
  • स्ट्रेस को मैनेज कर (Stress Management) बीमारी से करें बचाव : तनाव के कारण हर्पीस की बीमारी और ज्यादा बढ़ सकती है। इसलिए बेहतर यही होगा कि स्ट्रेस मैनेजमेंट स्किल की मदद से और हेल्दी लाइफस्टाइल को अपनाकर बीमारी को एक से दूसरे में फैलने से रोका जा सकता है।
  • वाटर बेस्ड सेक्शुअल लूब्रिकेंट का इस्तेमाल (Use Water Based Sexual Lubricant) : सेक्स के दौरान फ्रिक्शन होने की वजह स्किन को चोट पहुँच सकता है। संक्रमण के फैलने का खतरा रहता है। यह आपके लिए परेशानी का सबब बन सकता है। इसलिए जरूरी है कि सेक्स के दौरान हमेशा वाटर बेस्ड लूब्रिकेंट का ही इस्तेमाल करें।

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हर्पीस के साथ सेक्स नहीं है आसान (Sex With Herpes), लें डॉक्टरी सलाह

इस पूरे आर्टिकल से इतनी बात तो समझ में आ ही गई है कि हर्पीस की बीमारी के साथ सेक्स करना आसान है। यदि किसी को यह बीमारी हो जाती है तो उसके लिए सेक्स जोखिमों से भरा है। मरीज बीमारी से बचाव को लेकर कदम नहीं उठाता है तो संभव है कि यह बीमारी एक से दूसरे व्यक्ति में फैल सकती है। इसलिए जरूरी है कि हर्पीस की बीमारी से ग्रसित व्यक्ति सेक्स के पहले डॉक्टरी सलाह लें। उनके बताए निर्देशों का ही पालन करें।

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डिस्क्लेमर

हैलो हेल्थ ग्रुप हेल्थ सलाह, निदान और इलाज इत्यादि सेवाएं नहीं देता।

Genital Herpes Treatment and Care/ https://www.cdc.gov/std/herpes/treatment.htm /Accessed on 28th August 2020

Genital HSV Infections/ https://www.cdc.gov/std/tg2015/herpes.htm / Accessed on 28th August 2020

Genital Herpes – CDC Fact Sheet/ https://www.cdc.gov/std/herpes/stdfact-herpes.htm / Accessed on 28th August 2020

Once-Daily Valacyclovir to Reduce the Risk of Transmission of Genital Herpes/ https://www.nejm.org/doi/full/10.1056/NEJMoa035144 / Accessed on 28th August 2020

Suppressive valacyclovir therapy to reduce genital herpes transmission: Good public health policy?/ https://www.ncbi.nlm.nih.gov/pmc/articles/PMC2687913/ / Accessed on 28th August 2020

Herpes: Fast Facts/ https://www.ashasexualhealth.org/herpes/404/ / Accessed on 28th August 2020

HPV/ http://www.ashasexualhealth.org/pdfs/HPVQRsp01.pdf / Accessed on 28th August 2020

Persistent Stress as a Predictor of Genital Herpes Recurrence/ https://jamanetwork.com/journals/jamainternalmedicine/fullarticle/485171 / Accessed on 28th August 2020

Herpes Resource Center/ http://herpes-foundation.org/herpes-resource-center/ / Accessed on 28th August 2020

Current Version

23/04/2021

Satish singh द्वारा लिखित

के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील

Updated by: Manjari Khare


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Satish singh द्वारा लिखित · अपडेटेड 23/04/2021

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