
स्टेंट मेटल से बनाया गया एक ट्यूब होता है। स्टेंट को स्टेंट ग्राफ्ट भी कहा जाता है। स्टेंट प्लेसमेंट हार्ट डिजीज जैसे हार्ट अटैक के पेशेंट्स के लिए की आवश्यकता पड़ती है। अगर इसे और ज्यादा आसान शब्दों में समझें, तो सिकुड़ी हुई आर्टरीज को खोलने के लिए स्टेंट लगाई जाती है। इस प्रक्रिया को एंजियोप्लास्टी (Angioplasty) भी कहा जाता है।
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हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट (Heart Angioplasty and Stent Placement) की जरूरत कब पड़ती है?
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार आर्टरीज के वॉल पर जब प्लाक (Plaque) जमा होने लगे, तो ऐसी स्थिति एथेरोस्क्लेरोसिस (Atherosclerosis) कहलाती है। एथेरोस्क्लेरोसिस की समस्या होने पर हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट (Heart Angioplasty and Stent Placement) की जरूरत पड़ सकती है। आर्टरीज के वॉल पर जब प्लाक जमने लगे, तो ऐसे में आर्टरीज सिकुड़ने लगती है, जिससे ब्लड फ्लो (Blood Flow) में बाधा पहुंचने लगता है।
आर्टरीज के वॉल पर जब प्लाक जमा होने लगता है, तो इस कंडिशन को कोरोनरी हार्ट डिजीज (Coronary heart disease) भी कहते हैं और इसे सीरियस हेल्थ कंडिशन माना जाता है। गंभीर स्थिति इसलिए भी माना जाता है, क्योंकि इससे हार्ट को फ्रेश ऑक्सिजिनेटेड ब्लड (Oxygenated blood) की पूर्ति नहीं हो पाती है।
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हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट (Heart Angioplasty and Stent Placement) की मदद से आर्टरीज में हुए ब्लॉकेज (Blockage) को दूर करने में मदद मिलती है। वहीं हार्ट अटैक (Heart attack) जैसे इमरजेंसी सिचुऐशन में भी हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट की प्रक्रिया अपनाई जाती है।
रिसर्च रिपोर्ट्स के अनुसार कोरोनरी आर्टरीज बायपास सर्जरी (Coronary artery bypass surgery) की स्थिति में हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट की जरूरत नहीं पड़ती है। वहीं अगर ब्लॉकेज (Multiple blockage) की समस्या एक से ज्यादा हो या पेशेंट डायबिटिक (Diabetic) हों, तो ऐसी स्थिति में भी कोरोनरी आर्टरीज बायपास सर्जरी का विकल्प अपनाते हैं।
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हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट के रिस्क फैक्टर क्या हो सकते हैं? (Risk factor of Heart Angioplasty and Stent Placement)
किसी भी सर्जिकल प्रोसेस में खतरा ज्यादा रहता है। हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट हार्ट के आर्टरीज में होने की वजह से यह प्रक्रिया ज्यादा रिस्की हो जाता है। इसलिए हार्ट एंजियोप्लास्टी और स्टेंट प्लेसमेंट (Heart Angioplasty and Stent Placement) के कारण निम्नलिखित शारीरिक परेशानियां हो सकती है। जैसे:
- दवाओं के सेवन से एलर्जी (Allergy) की समस्या हो सकती है।
- सांस लेने में कठिनाई (Breathing problems) महसूस होना।
- सर्जरी की वजह ब्लीडिंग (Bleeding) की संभावना बढ़ सकती है।
- स्टेनटेड आर्टरी (Stented artery) में ब्लॉकेज की समस्या होना।
- ब्लड क्लॉट (Blood clot) की भी संभावना हो सकती है।
- हार्ट अटैक (Heart attack) की संभावना हो सकती है।
- सर्जरी की वजह से इंफेक्शन (Infection) का खतरा बढ़ जाता है।
- आर्टरी (Artery) सिकुड़ सकती है।