नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड साल 2019 की पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार 7.6 प्रतिशत से 30 प्रतिशत भारतीय लोगों में जीईआरडी (गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज) की समस्या डायग्नोस की गई। वहीं रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि जीईआरडी यानी एसिड रिफ्लक्स की समस्या स्पाइसी और नॉन वेजिटेरियन खानपान की वजह से होती है। इसलिए अगर आप गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज की समस्या से पीड़ित हैं, तो ऐसे में हेल्दी खानपान की आदत डालें। एसिड रिफ्लक्स डायट (Acid Reflux Diet) में क्या शामिल है और क्या नहीं यह समझें और एसिड रिफ्लक्स डायट (Acid Reflux Diet) फॉलो करें। ऐसा करने से गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज के लक्षण कम हो सकते हैं। तो चलिए सबसे पहले गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज (GERD) क्या है और एसिड रिफ्लक्स से जुड़े सवालों के जवाब।
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गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज के लक्षण क्या हैं? (Symptoms of Gastroesophageal Reflux Disease)
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) एवं नैशनल इंस्टिट्यूट ऑफ हेल्थ (National Institutes of Health US) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज के लक्षण इस प्रकार हैं-
- चेस्ट में खाना अटका हुआ महसूस होना।
- सीने में जलन (Heart burning) महसूस होना।
- सीने में दर्द (Chest pain) होना।
- खाने की इच्छा नहीं होना।
- खाने के बाद मतली आना।
- उल्टी (Vomiting) होना।
- बार-बार खांसी आना।
- गले में घरघराहट होना।
- खाने या पीने के दौरान निगलने में कठिनाई होना।
- आवाज बैठना।
- गले में खराश होना।
- क्रोनिक कफ (Cough) की समस्या होना।
यू.एस डिपार्टमेंट ऑफ हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विसेस (U.S. Department of Health and Human Services) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार इन कारणों के साथ-साथ दमा (Asthma), डायबिटीज (Diabetes) एवं स्कलेरोडर्मा (Scleroderma) भी गैस्ट्रोइसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज की संभावनाओं को बढ़ाता है। ये लक्षण गर्ड के लक्षण की ओर इशारा करते हैं। ऐसे में एसिड रिफ्लक्स डायट (Acid Reflux Diet) फॉलो करना जरूरी है।
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एसिड रिफ्लक्स डायट में क्या खाएं और किन-किन चीजों से करें परहेज? (Food to eat and avoid for GERD)
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार एसिड रिफ्लक्स डायट में निम्नलिखित खाद्य पदार्थों को शामिल नहीं करना चाहिए। जैसे:
- खट्टे फल (Citrus fruit) और टमाटर (Tomato) जैसे अन्य एसिडिक खाद्य पदार्थ का सेवन ना करें।
- एल्कोहॉल (Alcohol) का सेवन ना करें।
- चॉकलेट (Chocolate) का सेवन ना करें।
- कॉफी (Coffee) या कैफीन (Caffeine) युक्त अन्य पेय पदर्थों के सेवन से बचें।
- हाई फैट (Fatty food) वाले खाना ना खाएं।
- पुदीने (Mint) का सेवन ना करें।
- चटपटा (Spicy) खाना ना खाएं।
- थिओफाइलिन (Theophylline) का सेवन ना करें।
एसिड रिफ्लक्स डायट में ऊपर बताये 8 अलग-अलग खाद्य या पेय पदार्थों को शामिल ना करें। वहीं नैशनल इंस्टिट्यूट ऑफ हेल्थ (National Institutes of Health US) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार एसिड रिफ्लक्स की समस्या (Acid Reflux Problem) से बचने के लिए रात को सोने से ढ़ाई से तीन घंटे पहले खाना चाहिए।
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एसिड रिफ्लक्स डायट में शामिल करने वाले खाद्य एवं पेय पदार्थ-
नारियल पानी (Coconut water)-
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार नारियल पानी शरीर से टॉक्सिन (Toxin) को निकालने में सहायक होता है। इसलिए अगर एसिडिटी की समस्या होने पर नारियल पानी का सेवन किया जा सकता है।
दूध (Milk)-
एसिड रिफ्लक्स डायट में ठंडे दूध को शामिल किया जा सकता है। जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी (Johns Hopkins University) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार दूध एसिडिटी की समस्या को कम करने में सहायक होता है। रिसर्च के अनुसार दूध में अच्छे बैक्टीरिया (Bacterial) होते हैं, जो एसिड रिफ्लक्स की तकलीफ को कम करने में मददगार होते हैं। हालांकि फैटी मिल्क की जगह नो फैट मिल्क का सेवन करना लाभकारी हो सकता है।
केला (Banana)-
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार केले में एंटी-ऑक्सिडेंट (Antioxidant) और पोटैशियम (Potassium) की मौजूदगी एसिड रिफ्लक्स की समस्या को कम करने में सहायक होते हैं वहीं केले में मौजूद फाइबर भी एसिडिटी से बचाव में मददगार माना गया है।
एप्पल साइडर विनेगर (Apple cider vinegar)-
नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार एप्पल साइडर विनेगर में मौजूद एंटी बैक्टीरियल गुण एसिड रिफ्लक्स की समस्या को कम करने में मददगार होते हैं। हालांकि यह काफी एसिडिक होता है इसलिए एप्पल साइडर विनेगर को हमेशा पानी में मिक्स करने के बाद ही सेवन करें।
तरबूज (Watermelon)-
जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी (Johns Hopkins University) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार एसिड रिफ्लक्स की समस्या से निजात पाने के लिए तरबूज का सेवन किया जा सकता है। क्योंकि इसमें मौजूद एंटी-ऑक्सिडेंट (Antioxidant) एवं फाइबर (Fiber) डायजेशन को बेहतर बनाने में सहायक होते हैं।
इन खाद्य एवं पेय पदार्थों को डायट में नियमित शामिल करें और लंच (Lunch) या डिनर (Dinner) कम मसाले वाले और हेल्दी फैट (Healthy Fat) वाले ही खाएं। एसिड रिफ्लक्स डायट के साथ-साथ गर्ड के लिए नियमित एक्सरसाइज करें। नैशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) में पब्लिश्ड रिपोर्ट के अनुसार गर्ड की तकलीफ को दूर करने में गर्ड डायट (GERD Diet) और गर्ड एक्सरसाइज (GERD Workout) बेहद महत्वपूर्ण हैं।
अगर एसिड रिफ्लक्स डायट और हेल्दी लाइफस्टाइल फॉलो करने के बाद भी तकलीफ बनी रहती है, तो डॉक्टर से संपर्क करना आवश्यक है। डॉक्टर से कंसल्टेशन के बाद डॉक्टर चेकअप की सलाह देंगे।
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एसिड रिफ्लक्स के लिए डायग्नोसिस क्या है? (Diagnosis for Acid Reflux)
GERD (एसिड रिफ्लक्स) टेस्ट के दौरान निम्नलिखित टेस्ट किये जा सकते हैं। जैसे:
- इसोफेगल इमपीडेंस टेस्ट (Esophageal impedance test)
- एंब्यूलेट्री एसिड टेस्ट (Ambulatory acid test)
- एंडोस्कोपी (Endoscopy)
- अपर डायजेस्टिव सिस्टम का एक्स-रे (X-Ray of Upper Digestive System)
इन टेस्ट रिपोर्ट्स को ध्यान में रखकर GERD की दवा या फिर आवश्यकता पड़ने पर GERD सर्जरी (GERD Surgery) की जा सकती है।
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एसिड रिफ्लक्स का इलाज क्या है? (Treatment for Gastroesophageal reflux disease)
गैस्ट्रोइसोफेगल रिफलेक्स के इलाज की शुरुआत में सबसे पहले मरीज के लक्षणों को समझने की कोशिश करते हैं। खानपान में बदलाव की सलाह देते हैं और हेल्थ कंडिशन को ध्यान में रखते हुए निम्नलिखित दवाओं को प्रिस्क्राइब कर सकते हैं। जैसे:
- एंटाएसिड्स (Antacids)
- एच2 रेसेप्टर ब्लॉकर्स (H2 receptor blockers)
- प्रोटोन पंप इंहीबिटर्स (Proton Pump Inhibitors [PPI])
- मेटोक्लोप्रोमाइड (Metoclopramide)
नोट: GERD के इलाज के दौरान प्रिस्क्राइब की गई दवाएं डॉक्टर द्वारा बताये अनुसार ही सेवन करें। प्रिस्क्राइब्ड डोज से ज्यादा कम सेवन से इसके साइड इफेक्ट्स भी हो सकते हैं। इसलिए डॉक्टर द्वारा दिए गए सलाह का पालन करें।
गैस्ट्रोइसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज (GERD) से जुड़ी कोई भी समस्या अगर आप महसूस करते हैं, तो इसे इग्नोर ना करें। क्योंकि ज्यादा दिनों तक गैस्ट्रोइसोफेगल रिफ्लक्स डिजीज को इग्नोर करने पर सर्जरी की भी आवश्यकता पड़ सकती है। इसलिए एसिड रिफ्लक्स के लक्षण समझ आने पार एसिड रिफ्लक्स डायट फॉलो करें और डॉक्टर से सलाह लें। डॉक्टर द्वारा प्रिस्क्राइब्ड दवाओं से इस तकलीफ को कम करने में मदद मिल सकती है।
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