- संबंध बनाने के दौरान दर्द (Pain during intercourse)
- मल या मूत्र त्याग के समय दर्द होना (Pain while having a bowel movement or urinating)
- ज्यादा देर तक बैठने पर दर्द (Pain when you sit for long periods of time)
ज्यादा देर तक खड़े रहने पर भी दर्द बढ़ सकता है, लेकिन लेट जाने पर आपको आराम मिलती है।
पेल्विक पेन के कारण (Causes of pelvic pain)
क्रॉनिक पेल्विक पेन या पेडू में दर्द किसी एक वजह से नहीं होता है, इसके पीछे कई कारण जिम्मेदार हो सकते हैं। कई बार यह किसी गंभीर स्वास्थ्य स्थिति के कारण हो सकता है जैसे एंडोमेट्रिओसिस (endometriosis) और इंटरस्टिटियल सिस्टिटिस (interstitial cystitis)। पेड़ू में दर्द के कुछ कारणों में शामिल है।
एंडोमेट्रिओसिस (Endometriosis)- इस स्थिति में आपके गर्भाशय की लाइनिंग के टिशू गर्भाशय (uterus) के बाहर विकसित होते हैं और यह मेन्स्ट्रुअल साइकल को प्रभावित करता है। क्योंकि इस स्थिति में ब्लड और टिशू वजाइना (vagina) के जरिए शरीर से बाहर नहीं निकल पाते है, इसलिए पेट में ही जमा होकर दर्दनाक सिस्ट का कारण बनते हैं जिससे पेल्विक पेन होने लगता है।
मस्कुलोस्केलेटल समस्याएं (musculoskeletal problems)- आपकी हड्डियों, जोड़ों और कनेक्टिंग टिशू (मस्कुलोस्केलेटल सिस्टम) पर असर डालता है जैसे- फाइब्रोमायल्जिया (fibromyalgia), पेल्विक फ्लोर मसल्स टेंशन (pelvic floor muscle tension), प्यूबिक जॉइंट में सूजन ((pubic symphysis) या हर्निया के कारण पेड़ू में दर्द हो सकता है।
क्रॉनिक पेल्विक इन्फ्लामेट्री डिसीज (Chronic pelvic inflammatory disease)- यह तब होता है जब आप लंबे समय से किसी तरह के इंफेक्शन का शिकार है, खासतौर पर सेक्सुअली ट्रांसमिटेड (sexually transmitted), इसके कारण पेल्विक अंग प्रभावित होते हैं और दर्द होता है।
ओवेरियन रेमनैंट (Ovarian remnant)- सर्जरी की मदद से गर्भाशय (uterus), अंडाशय (ovaries) और फैलोपियन ट्यूब (fallopian tubes) निकालने के बाद जब कभी गलती से ओवरी का छोटा हिस्सा अंदर ही छूट जाता है तो इसकी वजह से दर्दनाक सिस्ट विकसित हो जाते हैं और पेड़ू में दर्द का कारण बनते हैं।
फाइब्रॉएड (Fibroids)- यह नॉन कैंसरस होते हैं, लेकिन फाइब्रॉएड के विकसित होने से पेट के निचले हिस्से में दबाव या भारीपन महसूस होता है। वैसे तो इनकी वजह से कभी तेज दर्द नहीं होता है, लेकिन कभी ब्लड सप्लाई सही तरीके से न होने की वजह से पेल्विक में तेज दर्द हो सकता है।
इरिटेबल बॉवेल सिंड्रोम (Irritable bowel syndrome)- सूजन, कब्ज या दस्त के लक्षण भी पेड़ू में दर्द के कारण हो सकते हैं।
दर्दनाक ब्लैडर सिंड्रोम (Painful bladder syndrome)- इस स्थिति में मूत्राशय (bladder) में बार-बार दर्द होता है और बार-बार पेशाब जाने की इच्छा होती है। जब ब्लैडर भर जाता है तो आपको पेल्विक पेन हो सकता है, लेकिन ब्लैडर खाली करने के बाद आपको इससे राहत मिल जाती है।
मनोवैज्ञानिक कारण (Psychological factors)- डिप्रेशन (Depression), लगातार तनाव में रहना (chronic stress) या शारीरिक या यौन शोषण का शिकार होने वालों में भी क्रॉनिक पेल्विक पेन का खतरा बढ़ जाता है।